हावड़ा ब्रिज की तरह मजबूत होगा मंच
-सेना का भैंसासुर घाट पर तैयार किया मंच पहुंचा राजेंद्र प्रसाद घाट
-कई टन वजन सहने की है मंच की क्षमता, सुरक्षा के रहेंगे पुख्ता इंतजाम 1ड्डह्मड्डठ्ठड्डह्यद्ब@द्बठ्ठद्ग3ह्ल.ष्श्र.द्बठ्ठ ङ्कन्क्त्रन्हृन्स्ढ्ढ दशाश्वमेध घाट पर होने वाली गंगा आरती में पीएम नरेंद्र मोदी अकेले नहीं बल्कि जापान के प्रधानमंत्री शिंजो अबे के साथ शामिल होंगे। गंगा आरती का मनमोहक दृश्य देखने के लिए गंगा में मंच बनाया जा रहा है। यह मंच सेना के जवान तैयार कर रहे हैं, जो न सिर्फ मजबूत होगा बल्कि उसके चारों ओर सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम होंगे। यह मंच हावड़ा ब्रिज की तरह मजबूत होगा मतलब इस पर से कई टन भार लदा ट्रक आसानी से गुजर सकता है। पीपा से तैयार किया गया है मंचपीएम नरेंद्र मोदी और जापान के प्रधानमंत्री शिंजो अबे 12 दिसंबर को बनारस आ रहे हैं। उनके आगमन को लेकर पूरे शहर में जोर-शोर से तैयारियां चल रही हैं। मोदी और शिंजो को गंगा आरती दिखाने के लिए गंगा में तैरता मंच बनाया जा रहा है। सेना की एक टीम ने पांटून (पीपा) का मंच भैंसासुर घाट पर तैयार किया है। इस मंच को 19 जवानों की एक टीम मंगलवार सुबह भैंसासुर घाट से राजेंद्र प्रसाद घाट लेकर पहुंची। इस मंच को चार दर्जन जवानों के साथ इंजीनियर्स की टीम ने तैयार किया है। यह मंच करीब 40 फीट चौड़ा और 50 फीट लंबा है। इस पर करीब 80 से 100 लोग आसानी से बैठ सकेंगे। इस मंच को सेना के जवान पांटून ब्रिज कहते हैं। इसे आपातकाल की स्थिति में सेना के जवान तैयार करते हैं। इससे कई टन सामान से भरा ट्रक भी आसानी से गुजर सकता है। मंच को फूलों से सजाया जाएगा। हालांकि दशाश्वमेध घाट पर एक और मंच तैयार किया जा रहा है। जहां पिछली बार नरेंद्र मोदी ने गंगा आरती देखी थी। अभी यह तय नहीं है कि दोनों प्रधानमंत्री किस मंच पर बैठेंगे। हालांकि सेना के बनाए मंच पर ही दोनों प्रधानमंत्री के बैठने की उम्मीद है।