Varanasi news: स्टूडेंट्स को स्टडी के साथ सेहत की भी क्लास
वाराणसी (ब्यूरो)। अगर आप कॉलेज गोइंग हैं तो लाइफ में सक्सेस पाने के लिए सिर्फ एजुकेटेड होना ही काफी नहीं, बल्कि मेंटली और फिजिकली फिट होना भी जरूरी है। मगर जंक फूड और बिगड़ी हुई लाइफ स्टाइल के इस दौर में गल्र्स अपनी सेहत को लेकर फिक्रमंद नहीं हैं। इस वजह से वे एनीमिया, बीपी, थॉयराइड जैसी बीमारियों की चपेट में आ रही हैं। पर अब ऐसा नहीं होगा, महिला महाविद्यालय (एमएमवी), वसंता कॉलेज फॉर वीमेन (वीसीएम), वीकेएम और आर्य महिला पीजी कॉलेज की छात्राओं की सेहत और मेंटल स्थिति को बेहतर बनाने पर काम शुरू हो गया है। यहां छात्राओं को सेहतमंद बनाने के लिए स्टडी के साथ सेहत की क्लास भी कराई जा रही है। इन सभी कॉलेजेज में तरह-तरह के हेल्थ अवेयरनेस कार्यक्रम कर न सिर्फ हेल्थ रिलेटेड टिप्स दिए जा रहे हैं, बल्कि काउंसलिंग भी कराई जा रही है। इसके लिए बाकायदा डॉक्टर से लेकर डायटीशियन तक की तैनाती की गई है।
तीन डॉक्टर तैनात
आर्य महिला पीजी कॉलेज में छात्राओं की सेहत और मनोस्थिति को बनाए रखने की जिम्मेदारी सिर्फ पेरेंट्स ही नहीं बल्कि टीचर्स की भी है। यही वजह कि अब कॉलेज ने इनिसेटिव लिया है। करीब तीन हजार छात्राओं के साथ टीचर्स और अन्य वर्कर्स के मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के निदान के लिए बाकायदा एक फीमेल समेत तीन डॉक्टर अप्वाइंट किए गए हैं, जो सप्ताह में दो दिन अपनी सेवाएं देते हैं। वहीं छात्राओं में तनाव एवं इससे संबंधित अन्य मानसिक समस्याओं के छुटकारा दिलाने के लिए योगा टीचर गीता राजपूत द्वारा छात्राओं को स्ट्रेस मैनेजमेंट व मेंटल पीस के लिए योग की ट्रेनिंग भी दी जा रही है।
पियर एजुकेटर के तौर पर काम
आर्य महिला पीजी कॉलेज में इनोवेशन इन फैमिली प्लानिंग प्रोजेक्ट एजेंसी (सिफ्सा) द्वारा क्यू क्लब के माध्यम से मानसिक स्वास्थ एवं शारीरिक स्वास्थ्य को लेकर भी जागरूक किया जा रहा है। कॉलेज स्तर पर वालंटियर का चयन कर उन्हें सेहत के प्रति प्रशिक्षित किया जा रहा है। इसके साथ ही छात्राओं की हाईजीन के लिए सेनेटरी पैड, आयरन की टैबलेट भी दी जाती है। कॉलेज में जागृति गाइडेंस एंड काउंसलिंग सेल है।
दो कॉलेजेज में जिम भी
छात्राओं को मेंटली और फिजिकली स्ट्रांग बनाने के लिए वसंता कॉलेज फॉर वीमेन और आर्य महिला पीजी कॉलेज में बाकायदा जिम भी बनवाए गए हैं। जहां छात्राएं क्लास खत्म होने और उससे पहले व बीच में टाइम निकालकर अपनी सेहत बना रही हैं। जिम में एक्सपर्ट स्पोट्र्स व योग टीचर की सानिध्य में योग के विभिन्न आसन व जिम कर खुद को फिट रख रही हंै।
स्पोट्र्स से भी सेहत
स्पोट््र्स को लेकर तीनों कॉलेजज में तमाम वे व्यवस्थाएं हैं, जिससे उनकी सेहत बनी रहे। वसंता कैंपस में एक विशाल बास्केटबॉल कोर्ट है। इसके साथ ही वालीबॉल, बैडमिंटन व टेबल टेनिस व लॉन टेनिस के लिए भी कोर्ट है। आर्य महिला में बास्केटबॉल, वॉलीबॉल, कबड्डी, खो- खो, क्रिकेट, रस्सा -कसी, बैडमिंटन जैसे खेल होते रहते हैं।
यह उठाए कदम
- मांसपेशियां, लिगामेंट्स, ज्वाइंट्स प्रॉपर शेप में रखने के लिए जिम में स्ट्रेंथ ट्रेनिंग और एरोबिक एक्सरसाइज कराना।
- आत्मविश्वास और खुद के प्रति पॉजिटिव इमेज को बूस्ट करना।
- जिम में ट्रेडमिल के जरिए तनाव, एंग्जायटी कम करना।
- छात्राओं को सेहत से रिलेटेड डाइट की जानकारी देना।
- हाईजीन मेंटेन करने के लिए समय-समय पर अवेयरनेस क्लास।
डाइटीशियन की सलाह
हेल्थ डिपार्टमेंट की रिपोर्ट के अनुसार बनारस की अधिकतर महिलाएं और गल्र्स में खून की कमी यानि एनीमिया है। गल्र्स की डाइट कैसी हो, जिससे वे एनीमिया मुक्त रहें। इसके लिए डाइटीशियन अनीता अग्रवाल इन कॉलेजेज में छात्राओं को समय-समय पर सेहत बनाने वाले आहार की जानकारी भी देती रहती हैं।
ऐसे भी बन रहीं सेहतमंद
- डाइट में फोलिक एसिड और आयरन को जरूर शामिल करना चाहिए।
- हरी सब्जियां, अंजीर, चुकंदर, अनार, सेब, गाजर, साबुत अनाज और अंडे का सेवन।
- चुकंदर आयरन से भरपूर होता है। यह आयरन की कमी को दूर करता है।
- चुकंदर के साथ हरी सब्जी एनीमिया से बचाती हंै।
- अनार ब्लड काउंट को बढ़ाने के लिए सबसे अच्छे फलों में से एक है।
- आयरन, विटामिन ए, सी व ई का स्रोत है, छात्राओं को इसे खाने की सलाह दी जाती है।
मेंटली हेल्दी रहने के लिए फिजिकल फिटनेस जरूरी है। इसलिए विविध कार्यक्रम चलाए जा रहे हैं। योग या जिम करने से बच्चों में एक पॉजिटिव सोच आती है। इसके बाद जब वो स्टडी करती हैं तो वे स्ट्रेस फ्री रहती है। इससे दिमाग की ग्रोथ होती है। इन चीजों को बढ़ावा देना हमारी जिम्मेदारी भी है।
प्रो। रचना दूबे, प्राचार्या, आर्य महिला पीजी कॉलेज
स्टूडेंट्स की सेहत पर फोकस है। न सिर्फ फिजिकली बल्कि मेंटली भी छात्राओं को सेेहतमंद बनाने को लेकर हर वो प्रयास हो रहा है, जिससे उनके मन, मस्तिष्क का विकास हो। गल्र्स में कई सारी शारीरिक समस्याएं भी देखी जाती हैं। जिसे दूर करने के लिए एक्सपर्ट साथ दे रहे हैं।
प्रो। रीता सिंह, प्रिंसिपल, एमएमवी-बीएचयू
कॉलेज में तीन हजार से ज्यादा छात्राएं हंै। करीब-करीब हर छात्रा जिम करती है। इसके अलावा उन्हें योगा की भी सुविधा दी गई है। इन्हें कहीं कोई दिक्कत न हो। इसके लिए स्पोट्र्स टीचर डॉ। श्वेता ट्रेनिंग के साथ टिप्स भी देती हंै। समय-समय पर हेल्थ व एनीमिया चेकअप कैंप लगाए जाते हैं।
प्रो। अल्का सिंह, बसंता कॉलेज फॉर वीमेन