शिकायतें बहुत तो हैं, लेकिन कोई सुने तो सही
मेरठ (ब्यूरो)। कैंट बोर्ड में हीलाहवाली का असर ऐसा है कि ऑनलाइन आने वाली समस्याओं का समाधान नहीं हो पा रहा है। इस कारण शिकायतकर्ताओं में असंतुष्टि है। एक ओर कैंट बोर्ड सुविधाओं को ऑनलाइन करने का दावा कर रहा है। वहीं, दूसरी ओर समस्याओं का समाधान न होने पर कैंटवासी परेशान है। हालत यह है कैंट बोर्ड के ऑनलाइन पोर्टल पर लोगों की समस्याओं का हल नहीं हो पा रहा है।
दूर नहीं हो रहीं समस्याएंकैंटवासियों का कहना है कि एक से दो महीने का समय बीतने के बावजूद भी ऑनलाइन शिकायतों का निस्तारण नहीं होता है। बीते तीन महीने में करीब 176 शिकायतें आ चुकी हैं। इनका अभी तक निस्तारण नहीं हो पाया है।
कैंट बोर्ड पहुंच रहे लोग
ऑनलाइन पोर्टल से शिकायतों का निस्तारण न होने के कारण परेशान लोग अब कैंट बोर्ड ऑफिस पहुंच रहे हैं। अब वे कैंट बोर्ड के अधिकारियों से मिलकर शिकायतें कर रहे हैं। तीन महीने में करीब 176 शिकायतें आ चुकी हैं। इनमें सबसे ज्यादा कंप्लेन खराब सड़कें और पानी की समस्या को लेकर हैं।
व्यापारी कर रहे शिकायतें
खास बात यह है कि कैंट बोर्ड में सबसे ज्यादा शिकायतें व्यापारियों ने कराई हैं। व्यापारियों ने कहा कि कैंट बोर्ड की ओर से ऑनलाइन दर्ज कराई गईं शिकायतों का समाधान नहीं हो रहा है। इसलिए अब कैंट बोर्ड जाकर खुद शिकायतें कर रहे हैं।
गौरतलब है कि दो महीने पहले करीब 70 शिकायतें ऑनलाइन दर्ज कराईं गईं थीं। बावजूद इसके, उनका निस्तारण नहीं हो सका है। इनमें अधिकतर हाउस टैक्स अधिक आना, पानी व कूड़े का बिल अधिक आना, मृत्यु प्रमाण पत्र न बनने से संबंधित है। वहीं 106 शिकायतें कूड़ा, सड़क, पानी आदि विभिन्न तरह की हैं। इस तरह की आईं शिकायतें
हाउस टैक्स अधिक आना
वाटर टैक्स अधिक आना
कूड़े के बिल में गड़बड़ी
डेथ सर्टिफिकेट बनने में दिक्कत अधिकतर ऑनलाइन समस्याओं का निस्तारण कराया जाता है। अगर कोई समस्या ऐसी है जिनका हल समय पर नहीं हुआ है तो उसकी जांच की जाएगी। ऑनलाइन पोर्टल को चेक किया जाएगा। कितनी समस्याएं आई है उनका क्या स्टेटस है।
सीईओ ज्योति कुमार, कैंट बोर्ड