सीबीएसई के पास बीते साल पहुंची कई शिकायतें काउंसलिंग में आ रहे केस बच्चों पर दबाव बना रहे पेरेंट्स। 15 शिकायतें बीते एक साल में मेरठ और आसपास के क्षेत्रों से आईं हैं।

मेरठ (ब्यूरो)। प्राइवेट स्कूलों में शिक्षक ट्यूशन के लिए बच्चों को परेशान कर रहे हैं। स्कूलों में टीचर्स द्वारा बच्चों को अपने पास ट्यूशन लगाने के लिए दबाव बनाया जा रहा है। यह शिकायतें सीबीएसई काउंसलर के पास पहुंच रही हैं। काउंसलर की रिपोर्ट के अनुसार बीते एक साल में देशभर 368 और यूपी से 98 शिकायतें सामने आई है, इनमें मेरठ से करीब 15 शिकायतें आई है। जिनमें सामने आया है कि पेरेंट्स द्वारा शिकायत की गई है बच्चे को टीचर्स अपने यहां ट्यूशन पढ़ाने का दबाव बनाते हैं। ऐसा न करने पर माक्र्स कम देने, क्लास में उन पर कमेंट भी करते हैं। बच्चों को कई तरह से प्रताडि़त करते हैं। ऐसे में बच्चे परेशान होकर गुमसुम हो रहे है या फिर पेरेंट्स से टीचर्स के यहां टयूशन लगाने की जिद्द करते हैं।

आते है ऐसे केस सामने
पेरेंट्स टीचर एसोसिएशन के अध्यक्ष कपिल राज शर्मा ने बताया शहर के प्राइवेट स्कूलों के शिक्षक बच्चों पर ट्यूशन के लिए दबाव डालते हैं। ऐसा न करने पर उनके साथ गलत बर्ताव भी करते हैं। यहां तक की उन्हें फेल कर दिया जाता है। उन्होंने बताया कि एक दो निजी स्कूलों के टीचर्स के केस मेरे पास भी आए थे, जिनमें बच्चों को टीचर्स द्वारा ट्यूशन न लगाने पर फेल कर दिया गया था। इतना सब होने के बाद भी आज तक कोई कार्रवाई नहीं हुई है। यदि शिक्षक ट्यूशन लेना बंद नहीं कर सकते तो यह नियम लागू करें कि जिस स्कूल में वह पढ़ाते हैं वहां के बच्चों की ट्यूशन नहीं लेंगे।

काउंसलर्स के पास जा रहे पेरेंट्स
बता दें कि सीबीएसई काउंसलर डॉ। पूनम देवदत्त ने बताया कि सीबीएसई के काउंसिलिंग नम्बरों पर इस तरह कॉल्स काफी आ रहे हैं, इनमें पेरेंट्स बच्चों के गुमसुम होने की बात बताते हैं वो ये बताते हैं, बच्चे से बात करके सामने आता है कि वो टीचर्स दवाब बना रहे हैं ट्यूशन लगाने के लिए। वहीं कुछ पेरेंट्स भी अपने बच्चों को टीचर्स द्वारा नम्बर कम देने पर व परेशान करने पर तनाव के केस सामने आते हैं। वहीं, मनोवैज्ञानिक डॉ। अनीता मोरल ने बताया इस तरह के कुछ केस सामने आ रहे हैं। टीचर्स अपने पास ट्यूशन पढ़ाने के लिए बच्चों को जोर देते हैं, जो गलत है।

अगर कोई बच्चा पढऩे में कमजोर है तो उसको एक्स्ट्रा क्लास देकर पढ़ाना चाहिए, ऐसा नहीं होना चाहिए, अगर ऐसा कोई भी स्कूल का टीचर कर रहा है तो यह गलत है, किसी भी टीचर को ट्यूशन के लिए बच्चों पर दवाब नहीं बनाना चाहिए।
राहुल केसरवानी, सहोदय सचिव

इस तरह के केस आ रहे हैं, जिनमें टीचर्स द्वारा ट्यूशन लगाने के लिए दवाब बनाया जाता है या बच्चे को फेल कर दिया जाता है। ऐसे में बच्चे के मन में डर बैठ जाता है वो पेरेंट्स से जिद्द करने लगता है।
डॉ। पूनम देवदत्त, सीबीएसई काउंसलर

हमारे स्कूल में तो ऐसा नहीं हुआ है, हमारे टीचर्स तो अगर कोई बच्चा पढ़ाई में कमजोर है तो स्कूल में ही निशुल्क एक्स्ट्रा क्लासेज देकर पढ़ा देते हैं।
एके दुबे, प्रिंसिपल, दीवान पब्लिक स्कूल

ऐसा हमारे स्कूल में नहीं है, किसी अन्य स्कूल के बारे में कुछ नहीं कह सकते। लेकिन हां अगर कोई टीचर ऐसा करता है तो ये गलत है।
संजीव अग्रवाल, प्रिंसिपल, बीएनजी इंटरनेशनल

Posted By: Inextlive