सर ! यहां पर सिग्नल आते ही नहीं हैं...कुछ तो करिए
मेरठ (ब्यूरो)। कैंट में मोबाइल कनेक्टिविटी की समस्या बहुत पुरानी है। इस कारण लोगों को परेशानी से जूझना पड़ता है। हालांकि, कैंट बोर्ड ने कनेक्टिवटी को दुरुस्त करने के लिए मोबाइल टॉवर लगाने की पहल की थी, लेकिन वह योजना परवान नहीं चढ़ सकी। कैंट क्षेत्र में करीब 8 ऐसी जगहें हैं, जहां पर नेटवर्क न होने से लोगों को परेशानी आती है। दैनिक जागरण आई नेक्स्ट ने कैंटवासियों की इसी समस्या को प्रमुखता से उठाया। इसके साथ ही सोशल मीडिया पर सर्वे के जरिए भी कैंटवासियों ने अपनी राय रखी। सोशल मीडिया के विभिन्न माध्यमों फेसबुक, ट्विटर, व्हाट्सऐप आदि पर लोगों ने अपनी राय रखी। इस सर्वे में 150 से ज्यादा लोगों ने पार्टिसिपेट किया।
आठ जगहों पर दिक्कत
कैंट में 8 जगहों पर मोबाइल कनेक्टिविटी की सबसे ज्यादा समस्या रहती है। कैंट निवासियों व व्यापारियों के अनुसार सदर बाजार, बॉम्बे बाजार, वेस्ट एंड रोड, चौक बाजार, जामुन मोहल्ला, रंजीतपुरी, रजबन में दो टॉवर और लगने चाहिए, यहां कुल 31 हजार लोग रहते हैं। साथ ही इन जगहों पर कुल 2200 व्यापारी हैं।
कई बार लिखा पत्र
कैंट में मोबाइल कनेक्टिविटी को दूर करने के लिए व्यापारियों और कैंट वासियेां ने कई बार कैंट बोर्ड को पत्र लिखा है। बावजूद इसके, इस पर कोई सुनवाई नहीं हो सकी।
गौरतलब है कि कैंट में 10 साइटों पर काउ और छह साइट पर लीज पर टावर लगाने की प्रक्रिया पूरी की जानी थी। दो माह पहले मध्य कमान लखनऊ से अनुमति मिलने के बाद काम में तेजी आई थी।इन टावर के लगने से मोबाइल उपभोक्तओं की को सिग्नल की दिक्कत खत्म करना ही मकसद था। इन 11 में से चार टॉवर जमीन की तलाश में कैंट लगने से रह गए। अभी ये चार ही टॉवर नहीं लग पाए है, कैंटवासी अन्य स्थान भी कैंट को बता रहे हैं जहां समस्याएं आ रही हैं। जल्द शुरू होगी प्रक्रिया
इस बाबत कैंट बोर्ड के सीईओ ज्योति कुमार ने बताया कि कैंट में जगह चिंहित की गई है, जल्द ही टॉवर लगेंगे, इसकी प्रक्रिया को दोबारा शुरू किया गया है, जल्द ही इस संबंध में मीटिंग की जाएगी। बाकी जहां की अन्य जगह की समस्याएं आ रही है उनका निरीक्षण किया जाएगा। क्या कैंट बोर्ड के अधिकारियों की हीलाहवाली के कारण मोबाइल टॉवर नहीं लग पा रहे हैं
हां- 83 फीसदी
नहीं- 15 फीसदी
पता नहीं- 2 फीसदी
क्या कैंट में मोबाइल टॉवर लगाने के लिए प्रॉपर प्लानिंग नहीं बनाई गई।
हां- 79 फीसदी
नहीं- 10 फीसदी
पता नहीं- 11 फीसदी
हां- 77 फीसदी
नहीं- 11 फीसदी
पता नहीं- 12 फीसदी क्या कैंट में सुरक्षा के कारणों के कारण भी मोबाइल टॉवर लगाने में दिक्कत आ रही है
हां- 90 फीसदी
नहीं- 7 फीसदी
पता नहीं- 3 फीसदी कैंट में मोबाइल कनेक्टिविटी बहुत पुरानी समस्या है। अधिकारी कुछ नया करने से घबराते हैं। कोई कुछ करना नहीं चाहता है। इसलिए दिक्कत है।
रीना सिंघल कैंट बोर्ड में सभी काम लेटलतीफी से होते हैं। लोगों की असुविधा का इन्हें कोई ख्याल नहीं है। काफी समय से मोबाइल टॉवर लगाने की बात हो रही है।
विपिन कुमार सुरक्षा की दृष्टि के कारण भी कैंट में मोबाइल टॉवर लगाने की प्रक्रिया पूरी नहीं हो पा रही है। उम्मीद है कि जल्द यह समस्या भी दूर हो जाएगी।
डॉ। राजीव अग्रवाल
आर्मी एरिया होने के कारण भी मोबाइल टॉवर लगाने में दिक्कत आ रही है। इसलिए हो सकता है कि कोई टेक्निकल समस्या हो, लेकिन इस पर विचार होना चाहिए।
ऋषभ गुप्ता
गिरजेश कुमार कैंट बोर्ड के अधिकारियों को इस बारे में कई बार पत्र दिए जा चुके हैं। मोबाइल टॉवर लगाने की मांग भी की जा चुकी है, लेकिन आज तक यह प्रक्रिया पूरी नहीं हो सकी है।
राहुल भारद्वाज कैंट बोर्ड में कनेक्टिविटी न होने से व्यापार भी प्रभावित होता है। कई बार कॉल्स ड्रॉप होने से परेशानी होती है।
राजीव कुमार मोबाइल कनेक्टिविटी न होने से अक्सर दिक्कत होती है। कैंट बोर्ड के अधिकारियों को कई बार लेटर दिया गया है, लेकिन कुछ सुधार नहीं हुआ है।
जितेंद्र राठी