Lucknow News: शहीद पथ किसान पथ व ग्रीन कॉरिडोर के समानांतर मार्ग के दोनों ओर 500-500 मीटर की परिधि में बहुमंजिला इमारतें बनायी जा सकेंगी। इसके लिए इन तीनों मुख्य मार्ग के प्रभाव क्षेत्र को टीओडी ट्रांजिट ओरिएंटेड डेवलपमेंट जोन घोषित किया गया है।


लखनऊ (ब्यूरो)। शहीद पथ, किसान पथ व ग्रीन कॉरिडोर के समानांतर मार्ग के दोनों ओर 500-500 मीटर की परिधि में बहुमंजिला इमारतें बनायी जा सकेंगी। इसके लिए इन तीनों मुख्य मार्ग के प्रभाव क्षेत्र को टीओडी (ट्रांजिट ओरिएंटेड डेवलपमेंट) जोन घोषित किया गया है। इससे इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट को रफ्तार मिलेगी साथ ही रोजगार के मौके भी सामने आएंगे। एलडीए की अध्यक्ष एवं मंडलायुक्त डॉ। रोशन जैकब की अध्यक्षता में शुक्रवार को हुई प्राधिकरण बोर्ड की 182वीं बैठक में इस प्रस्ताव को मंजूरी मिल गयी है। गोमती नगर स्थित एलडीए भवन के पारिजात सभागार में हुई बैठक में जनहित से जुड़े कई प्रस्ताव पास किये गये हैं। बैठक में एलडीए वीसी प्रथमेश कुमार, सचिव विवेक श्रीवास्तव, अपर सचिव ज्ञानेंद्र वर्मा आदि मौजूद रहे।दोनों तरफ 500-500 मीटर का दायरा


एलडीए वीसी प्रथमेश कुमार ने बताया कि अभी तक इन मार्गों पर बहुमंजिला भवन के निर्माण में 2.5 का एफएआर ही मिलता है। बोर्ड द्वारा टीओडी क्षेत्र का प्रस्ताव पारित किये जाने से अब इन तीनों मार्ग की 500-500 मीटर परिधि में विकसित क्षेत्र में 4.0 और अविकसित क्षेत्र में 5.0 एफएआर लागू किया जाएगा। इसमें बेसिक एफएआर से बढ़े हुये एफएआर शुल्क देना होगा। इससे प्राधिकरण को अतिरिक्त आय होगी और कॉरिडोर के दोनों ओर नियोजित विकास हो सकेगा।

कंसल्टेंट का होगा चयनइसके अलावा लखनऊ महायोजना-2031 में चिन्हांकित टीओडी क्षेत्र का जोनल डेवेलपमेंट प्लान व प्राधिकरण का जोनल प्लान तैयार करने के लिए कंसल्टेंट का चयन किया जाएगा। जिसके लिए आरएफपी जारी करने के प्रस्ताव को बोर्ड ने स्वीकृति प्रदान कर दी है।छावनी क्षेत्र से हटेगा अतिक्रमण वीसी ने बताया कि छावनी क्षेत्र में रानी लक्ष्मी बाई मार्ग पर 18 परिवार अवैध रूप से कब्जा करके निवास कर रहे हैं। छावनी परिषद के मुख्य अधिशासी अधिकारी ने रक्षा भूमि से अवैध अतिक्रमण हटाकर यहां के अध्यासियों के पुनर्विस्थापन के संबंध में पत्र भेजा है। उक्त प्रकरण में बोर्ड ने निर्णय लिया है कि बटलर पैलेस के अवैध अध्यासियों की तरह छावनी क्षेत्र के इन 18 अवैध अतिक्रमणकर्ताओं को विस्थापन नीति के अंतर्गत बसंतकुंज व शारदा नगर विस्तार में निर्मित प्रधानमंत्री आवास आवंटित करते हुए इन्हें विस्थापित किया जाएगा। डॉ। भीमराव अंबेडकर सभागार लीज पर दिया जाएगा

कानपुर रोड योजना में स्थित डॉ। भीमराव अंबेडकर सभागार को आउटसोर्स के माध्यम से संचालन व अनुरक्षण के लिए निजी कंपनी को लीज पर दिया जाएगा। बोर्ड द्वारा लिये गये निर्णय के अनुसार इस कार्य के लिए वीसी की स्वीकृति से आरएफपी आमंत्रित की जाएगी। सचिव विवेक श्रीवास्तव ने बताया कि सभागार में 2650 सिटिंग क्षमता व 350 सिटिंग क्षमता वाले दो ऑडिटोरियम, दो कैंटीन व बड़ी पार्किंग है। प्राधिकरण ने मई 2024 में लगभग दो करोड़ रुपये की लागत से सभागार में रिपेयरिंग व रेनोवेशन का कार्य कराया है। भविष्य में इसके मेंटीनेंस व बिजली बिल आदि का अत्यधिक व्यय भार प्राधिकरण पर न पड़े, इसके लिए सभागार को लीज पर देकर संचालित कराया जाएगा।गोमती नगर में विद्युत उपकेंद्रसचिव विवेक श्रीवास्तव ने बताया कि गोमती नगर में 33/11 केवी विद्युत उपकेंद्र के निर्माण के लिए लेसा द्वारा जमीन की मांग की जा रही थी। इस क्रम में बोर्ड ने विशेष खंड में 764 वर्गमीटर तथा विनम्र खंड में 1674.38 वर्गमीटर भूखंड विद्युत विभाग को हैैंडओवर करने का प्रस्ताव पारित किया है। उक्त दोनों भूखंड 90 वर्ष की लीज पर आवंटित किये जाएंगे।सोलर एनर्जी अनिवार्य
अपर सचिव ज्ञानेंद्र वर्मा ने बताया कि 200 वर्गमीटर व इससे अधिक क्षेत्रफल के भूखंड पर भवन निर्माण के लिए सोलर एनर्जी संयत्र, रेन वॉटर हार्वेस्टिंग व पौधरोपण का कार्य अनिवार्य किया गया था। व्यवस्था प्रभावी रूप से लागू हो सके, इसके लिए प्राधिकरण द्वारा भवन का मानचित्र स्वीकृत करते समय आवेदक से निर्धारित प्रतिभूति राशि जमा करवायी जा रही है। इससे मानचित्र स्वीकृति की प्रक्रिया में अधिक समय लग रहा है साथ ही जन सामान्य को भी कठिनाई का सामना करना पड़ रहा है। इस संबंध में बोर्ड द्वारा प्रस्ताव पास किया गया है कि प्रतिभूति राशि मानचित्र स्वीकृति-शमनित के समय अन्य शुल्कों के साथ प्राधिकरण कोष में जमा करवायी जा सकेगी। संबंधित कार्य पूरा होने पर उक्त प्रतिभूति धनराशि अवमुक्त कर दी जाएगी।इंप्रूवमेंट ट्रस्ट के भूखंडों का हो सकेगा नामांतरणअपर सचिव ने बताया कि वर्तमान में प्राधिकरण द्वारा लखनऊ इंप्रूवमेंट ट्रस्ट की संपत्ति का नामांतरण नहीं किया जा रहा था। जिसमें अब नामांतरण की कार्यवाही की जा सकेगी। इसमेें ट्रस्ट द्वारा पट्टे पर आवंटित ऐसे भूखंड, जिनमें निर्धारित वार्षिक किराये में 50 प्रतिशत की बढ़ोत्तरी करते हुए 30 वर्षों की अवधि के उपरांत 30-30 वर्षीय दो नवीनीकरण किये जाने के अधिकार पट्टाधारक को प्रदान किये गये हैं। ऐसे भूखंडों में पट्टा अवधि प्रभावी होने की दशा में नामांतरण की कार्रवाई की जाएगी।15 मीटर ऊंची इमारतों का सेफ्टी ऑडिट
वेलनेस सिटी और आइटी सिटी योजना के लिए भूमि जुटाने के साथ ही 15 मीटर से ऊंची इमारतों का स्ट्रक्चरल सेफ्टी आडिट कराने का भी प्रस्ताव पास हो गया है। वेलनेस सिटी योजना के लिए अब एलडीए आठ निजी बिल्डरों की जमीन नहीं लेगा, जिसे पहले चिह्नित किया गया था। वेलनेस सिटी किसानों की जमीन पर बसाई जाएगी। 15 मीटर या उससे ऊंची बहुमंजिला इमारतों के लिए अब स्ट्रक्चरल सेफ्टी आडिट अनिवार्य कर दिया गया है। सचिव विवेक श्रीवास्तव ने बताया कि हर पांच वर्ष में आडिट एलडीए कराएगा। इसका खर्च भवन मालिक या फिर आरडब्ल्यूए वहन करेगा। अगर ये आडिट के लिए धनराशि अदा नहीं करते हैं तो आरसी जारी करवाकर राशि वसूली जाएगी। यह कार्य एलडीए किसी अधिकृत कंपनी से करवाएगा।

Posted By: Inextlive