LUCKNOW NEWS: हेपेटाइटिस ए और ई से संक्रमित होने पर लोग मरीज के खान-पान में परहेज करवाने लगते हैं। उनको उबला और बिना हल्दी व मसाला आदि वाला भोजन देते हैं। संक्रमण के चलते पहले ही शरीर कमजोर होता है। ऐसे में उबला खाना मिलने पर मरीज खाना और कम कर देता है जिससे कुपोषण का खतरा बढ़ जाता है।

लखनऊ (ब्यूरो)। संक्रमण हो तो चिकन और अंडा खाना सबसे ज्यादा बेहतर होता है। अगर चिकन नहीं खा सकते तो अंडा लें या फिर हाई प्रोटीन युक्त आहार शामिल करें। यह जानकारी वल्र्ड हेपेटाइटिस डे की पूर्व संध्या पर शनिवार को केजीएमयू के गेस्ट्रोएंटेरोलॉजिस्ट विभाग के हेड डा। सुमिट रुंगटा ने दी।

घर का पौष्टिक खाना बंद न करें
डा रुंगटा ने बताया कि हेपेटाइटिस ए व ई दूषित भोजन व पानी से होता है। यह संक्रमण 7 से 15 दिन में खुद ठीक होने लगता है। लोगों के मन में यह मिथ है कि संक्रमण होने पर खाने में परहेज करना चाहिए जबकि, ऐसा नहीं है। घर का बना पौष्टिक भोजन लें। लेकिन परिवारीजन सबसे पहले मरीज को परहेज वाला खाना देना शुरू कर देते हैं। लिवर की कार्यक्षमता पहले ही कम होती है और ऊपर से लोग हल्दी, तेल, घी, गरम मसाला और नॉन-वेज आदि देना बंद कर देते हंै। ऐसे में मरीज का वजन तेजी से कम होने लगता है।

झाड़-फूंक बेहद घातक
विभाग के डा श्रीकांत ने बताया कि हेपेटाइटिस मरीजों को इलाज पर ध्यान देने की जरूरत है। झोलाछाप या झाड़-फूंक करने वालों से बचना चाहिए। इलाज में देरी से मरीज की हालत गंभीर हो सकती है। इलाज के अभाव में वायरस दूसरे अंगों को भी चपेट में ले सकता है।

फ्री इलाज से हेपेटाइटिस को हराना आसान
यूपी के सरकारी मेडिकल कालेज व संस्थानों में 2018 से नेशनल हेपेटाइटिस प्रोग्राम चल रहा है। केजीएमयू में 2021 से यह कार्यक्रम शुरू हुआ है। जांच व इलाज फ्री है। डा सुमित ने बताया कि अब तक 25 हजार से अधिक संक्रमितों को मुफ्त इलाज दिया गया है। जिसमें 10 हजार हेपेटाइटिस सी और 15 हजार हेपेटाइटिस बी के मरीज हैं। मौजूदा समय में केजीएमयू में 2000 हेपेटाइटिस संक्रमितों का इलाज चल रहा है। हेपेटाइटिस 30-45 वर्ष की उम्र के लोगों में अधिक देखने को मिल रहा है। यह संक्रमण महिलाओं के मुकाबले पुरुषोंं में ज्यादा होता है। हेपेटाइटिस बी का कोई इलाज नहीं है।

लिवर को पहुंचता है नुकसान
डा मयंक राजपूत ने बताया कि निजी अस्पताल में हर छह माह पर कम से कम 40 से 50 हजार का खर्च आता है। हेपेटाइटिस सी का इलाज तीन से छह माह चलता है। डा। प्रीतम दास ने बताया कि हेपेटाइिस बी व सी लिवर को नुकसान पहुंचाता है। लिवर सिरोसिस तक हो सकता है। हेपेइाटिस का इलाज तय समय में बंद हो जाता है लेकिन सिरोसिस का चलता रहता है।

इन लक्षणों का रखें ध्यान
- बुखार
- थकान
- जोड़ों में दर्द
- सिरदर्द
- शरीर में चक्कते पडऩा
- भूख में कमी

हेपेटाइटिस ए व ई संक्रमित होने पर बाहर के खाने से परहेज करना है नाकि घर के बने पौष्टिक खाने से। खाने में नॉनवेज, अंडा, मसाला आदि का सेवन कर सकते हैं।
- डा सुमिट रुंगटा, केजीएमयू

Posted By: Inextlive