रहें होशियार, सोशल मीडिया पर फर्जी जानकार
- सोशल मीडिया पर कोरोना को लेकर चल रही हैं कई गलत जानकारियां
- आने वाले मैसेज की सत्यता को पहले जांचें, फिर करें फारवर्ड LUCKNOW:इन दिनों सोशल मीडिया पर कोरोना संक्रमण क्यों फैल रहा है और इससे किस तरह बचा जा सकता है। इसे लेकर कई तरह के मैसेज वायरल हो रहे हैं। बहुत से लोग इन संदेशों की सत्यता जांचे बिना इसे फारवर्ड भी कर रहे हैं। जबकि इनमें से अधिकतर मैसेज फेक हैं और ये दूसरों के लिए हानिकारक भी हो सकते हैं। आइए जानते हैं, ऐसे ही कुछ वायरल हो रहे मैसेजों और उनकी सत्यता के बारे में नाक में नींबू डालने से खत्म होगा कोरोना मैसेज सोशल मीडिया पर एक वीडियो शेयर किया जा रहा है जिसमें दावा किया गया है कि नाक में नींबू का रस डालने से कोरोना वायरस तुरंत खत्म हो जाता है। सत्यतापत्र सूचना कार्यालय पीआईबी नेकेंद्र सरकार के मंत्रालयों और विभागों के बारे में खबरों का सत्यापन करने के लिए तथ्य जांच इकाई का गठन किया है। इस फैक्ट चेक टीम ने नींबू का रस नाक में डालने को लेकर अपने ट्विटर हैंडल पर कहा है कि यह पूरी तरह से फर्जी दावा है और इसका कोई वैज्ञानिक प्रमाण नहीं है।
अल्कोहल करता है इम्युनिटी कमजोर मैसेजसोशल मीडिया पर इन दिनों संदेश वायरल हो रहा है कि शराब पीने से कोरोना वायरस खत्म हो जाता है। इसके पीछे लॉजिक दिया जा रहा है कि सेनेटाइजर में अल्कोहल होता है जो सतह पर वायरस को खत्म कर देता है ऐसे में बॉडी के अंदर जाकर भी अल्कोहल वायरस को खत्म कर देगा।
सत्यता लखनऊ के लोकबंधु अस्पताल के डॉ। रूपेंद्र का कहना है कि यह पूरी तरह गलत है। अल्कोहल हमारे इम्यून सिस्टम को कमजोर करता है और लिवर के लिए खतरनाक है। कोरोना संक्रमित व्यक्ति के लिए इसका सेवन से और भी खतरनाक हो जाता है क्योंकि उनके लिवर और फेफड़े इससे प्रभावित होते हैं। 5जी की टेस्टिंग से सांस लेने में दिक्कत मैसेज5जी की टेस्टिंग बंद करो, इंसानों को बचाओ शीर्षक से सोशल मीडिया पर एक पोस्ट वायरल हो रहा है। इसमें लिखा है कि यह जो महामारी दूसरी बार आई है जिसे सब लोग कोरोना नाम दे रहे हैं यह बीमारी कोरोना नहीं है बल्कि 5जी टावर की टेस्टिंग की वजह से है। टावर से जो रेडिएशन निकलता है वह हवा में मिलकर हवा को जहरीला बना रहा है इसलिए लोगों को सांस लेने में दिक्कत हो रही है और लोग मर रहे हैं।
सच्चाई विज्ञान के जानकारों के साथ-साथ डब्ल्यूएचओ ने भी इससे इंकार किया है। डब्ल्यूएचओ की आधिकारिक वेबसाइट पर ऐसी अफवाहों को लेकर एक सेक्शन है, जहां कोरोना को लेकर की जा रही ऐसी बातों को चेक किया जा सकता है। इसमें साफ लिखा है कि विकिरण, रेडियो वेब, मोबाइल नेटवर्क के कारण कोई वायरस नहीं फैल सकता है। बॉक्स फ्रॉड से रहें सावधान इन दिनों एंटी सोशल एलिमेंट्स ने लोगों को ठगने के लिए वैक्सीन के नाम पर फर्र्जी वेबसाइट तैयार की है। इस वेबसाइट के माध्यम से लोगों को झांसा दिया जा रहा है कि वैक्सीनेशन के लिए अपनी डिटेल इस वेबसाइट पर दर्ज करें। ऐसा करते ही साइबर क्रिमिनल आपको आर्थिक नुकसान पहुंचा सकते हैं। इसे लेकर भी पीआईबी की फैक्ट चेक टीम ने लोगों को सुझाव दिया है कि वैक्सीनेशन के लिए वे आरोग्य सेतु या उमंग एप का प्रयोग करें इसके अलावा सरकार के कोविन डाट गांव डाट इन पर भी लॉगिन कर सकते हैं। बॉक्स पहले जांचें फिर फारवर्ड करें मैसेजसोशल मीडिया या अन्य किसी माध्यम से यदि कोई कोरोना को लेकर जानकारी देता है तो उसको आंख मूंदकर यकीन करने के बजाए पहले उसकी जांच करें और अगर वह सही हो तभी उसे आगे फारवर्ड करें। वहीं इम्युनिटी बढ़ाने के लिए किसी भी जानकारी का यूज बिना डॉक्टर की सलाह से न करें।