कल्याणपुर सीएचसी से शुक्रवार सुबह 6 बजे एक महिला नवजात बच्ची को चोरी कर भाग निकली. महिला ने पहले जान-पहचान बढ़ाई. इसके बाद बच्ची को खिलाते हुए बाहर निकल गई. वापस न आने पर परिजनों ने कल्याणपुर थाने में बच्ची चोरी करने की रिपोर्ट दर्ज कराई. ये घटना सीएचसी के सीसीटीवी कैमरे कैद हो गई है. फिलहाल पुलिस की दो टीमें महिला की पहचान और नवजात बच्ची की बरामदगी के लिए लगाई गई हैं.

कानपुर (ब्यूरो) कानपुर भौती के सीतेपुर गांव के रहने वाले महेश कुमार की पत्नी सुषमा देवी की 6 अप्रैल को कल्याणपुर सीएचसी में डिलीवरी हुई थी। महेश ने बताया कि इस दौरान पत्नी से एक महिला ने पहले दोस्ती की। उसने बताया कि उनका भी पेशेंट अस्पताल में भर्ती है। इसके बाद बच्ची को खिलाने के बहाने लिया और भाग निकली। काफी देर तक जब वह नहीं लौटी, तो इस बात की जानकारी सीएचसी प्रभारी को दी गई। सीएचसी के सीसीटीवी कैमरे की जांच की गई। इसमें एक फुटेज में महिला बच्ची को गोद में लेकर जाते दिख रही है। इसके बाद कल्याणपुर थाने में रिपोर्ट दर्ज करवाई। बेटी चोरी होने के बाद परिवार के लोगों ने अस्पताल में हंगामा भी किया। कल्याणपुर थाना प्रभारी पर जांच में लापरवाही करने का आरोप लगाया है।
पहले भी अस्पतालों से बच्चे चोरी
सनसनी फैलाने वाली इस वारदात ने अस्पतालों की सुरक्षा पर प्रश्नचिन्ह लगा दिया है। इसके पहले भी शहर के बीचोबीच स्थित सरकारी अस्पतालों से बच्चों की चोरी हो चुकी है। हैलट अस्पताल में इसी तरह की वारदातों से बचने के लिए पुलिस चौकी भी बनाई गई। वहीं अस्पतालों में बिना रोक-टोक के अराजक तत्वों आना-जाना लगा रहता है, जिसकी वजह से इस तरह की वारदातें होती हैैं।
&& एफआईआर दर्ज की जा रही है। नवजात बच्चे को चोरी करने वाली महिला की पहचान करने और बच्चा बरामद करने के लिए दो टीमों को लगाया गया है.&य&य
देवेंद्र दुबे, थाना प्रभारी कल्याणपुर

7 साल में लापता बच्चों में नहीं मिले 108
कानपुर में मिसिंग बच्चों के आंकड़े ह्यूमन ट्रैफिकिंग के बड़े रैकेट की ओर इशारा कर रहे हैं। स्पेशल जूविनाइल पुलिस यूनिट के आंकड़ों पर गौर करें तो कानपुर में बीते 7 सालों में 18 साल से कम आयु के 108 बच्चे अब तक मिसिंग हैं। पुलिस भी इनका कोई पता नहीं लगा सकी है। इन बच्चों का क्या हुआ, किसी को भी कुछ नहीं मालूम है। यूनिट के इंचार्ज के मुताबिक, 2022 तक 1014 लोगों की मिसिंग रिपोर्ट दर्ज की गई है। इसमें 46 बच्चे घर से नाराज होकर गए थे और बाद में लौट आए। 111 बच्चों को पुलिस ने बरामद किया है। 108 बच्चे अभी भी लापता हैैं।

साल कुल दर्ज मामले अब तक नहीं चला पता
2016 112 4 बच्चे 8 बच्चियां
2017 084 3 बच्चे 3 बच्चियां
2018 131 3 बच्चे 7 बच्चियां
2019 160 8 बच्चे 12 बच्चियां
2020 180 10 बच्चे 11बच्चियां
2021 152 5 बच्चे 6बच्चियां
2022 195 13 बच्चे 15 बच्चियां
कुल 1014 46 बच्चे 62 बच्चियां

Posted By: Inextlive