-मोबाइल नंबर वेरीफिकेशन के बाद ही ऑनलाइन बुक होगा टिकट

- बड़ी संख्या में टिकट बुक कर मनमाने दाम पर नहीं बेच पाएंगे दलाल, लाखों पैसेंजर्स को मिलेगी राहत

KANPUR। बड़ी संख्या में एडवांस टिकट बुक कर पैसेंजर्स को मुंहमांग दामों पर बेचने वाले दलालों परर अंकुश लगाने के लिए रेलवे ने एक और बड़ा कदम उठाया है। अब ऑनलाइन टिकट बुक करने के लिए पैसेंजर को अपना मोबाइल नंबर व ई मेल आईडी का वैरीफिकेशन कराना होगा। इसके बाद ही वह टिकट बुक कर पाएंगे। इसका सीधा फायदा लाखों पैसेंजर्स को मिलेगा। उन्हें अब टिकट के लिए दलालों की शरण में जाने के लिए मजबूर नहीं होना पड़ेगा।

आसानी से मिलेगी टिकट

रेलवे अधिकारियों के मुताबिक रेल टिकट दलाल फेस्टिव सीजन में फर्जी ईमेल आईडी व आधार कार्ड के माध्यम से थोक के भाव में ट्रेनों में टिकट बुकिंग करा लेते हैं। इसकी वजह से पैसेंजर्स को ट्रेनों में कंफर्म टिकट आसानी से नहीं मिल पाता है। उन्हें मजबूर होकर दलालों से दो से तीन गुने दाम पर टिकट खरीदने के लिए मजबूर होना पड़ता है। नई व्यवस्था में दलाल ऐसा नहीं कर पाएंगे। ऐसा करने की कोशिश करते ही वह पकड़ में आ जाएंगे।

एक महीने में सिर्फ छह टिकट

रेलवे नियमों के मुताबिक, एक आम यात्री एक महीने में एक आईडी से सिर्फ छह रेल टिकट की बुकिंग करा सकता हैं। ऑनलाइन टिकट बुकिंग शुरू करते ही अब रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर पर ओटीपी आएगा। ओटीपी डालने के बाद आगे का प्रोसेस होगा। ओटीपी डालते ही रेलवे के रिकॉर्ड में संबंधित फोन नंबर और आईडी से बुक कराए गए टिकट का डिटेल आ जाएगा। यानि दलालों के खेल पर काफी हद तक अंकुश लग जाएगा।

नए नियम देंगे राहत

एनसीआर सीपीआरओ डॉ। शिवम शर्मा ने बताया कि रेलवे के टिकट बुकिंग नियमों में किए गए बदलाव से पैसेंजर्स को काफी राहत मिलेगी। पैसेंजर्स को ट्रेनों में आसानी से कंफर्म टिकट मिल सकेगी। उनको दलालों से मंहगे दामों में टिकट खरीदने की मजबूरी नहीं रहेगी।

आंकड़े

150 ट्रेनों का आवागमन डेली कानपुर सेंट्रल स्टेशन पर

2 लाख पैसेंजर्स का डेली आवागमन कानपुर स्टेशन पर

3 लाख से अधिक ऑनलाइन टिकट बुकिंग करने वाले यूजर्स

30 से अधिक आईआरसीटीसी के ऑथराइज्ड एजेंट कानपुर में

6 टिकट एक महीने में नार्मल पैसेंजर कर सकता है बुक

पैसेंजर्स की मुश्किलों को देखते हुए रेलवे ने ऑनलाइन टिकट बुकिंग प्रक्रिया में मोबाइल व ईमेल आईडी वैरीफिकेशन जरूरी किया है। इससे टिकट दलालों पर पूरी तरह से अंकुश लग जाएगा।

डॉ। शिवम शर्मा, सीपीआरओ, एनसीआर

Posted By: Inextlive