चेहरे पर निराशा, दिल में गुस्सा
कानपुर(ब्यूरो)। टीईटी देने के लिए शहर के 76 परीक्षा केंद्रों पर संडे सुबह से ही कैडिडेट्स की भीड़ पहुंचने लगी थी। दूसरे शहरों के कई कैंडिडेट तो शनिवार रात ही शहर पहुंच गए थे। टीचर बनने की उम्मीदों के साथ कैंडिडेट् ने परीक्षा देनी शुरू ही की थी कि सभी से कॉपियां वापस ले ली गईं। ओएमआर शीट अचानक वापस ली गई तो कैंडिडेट्स को समझ नहीं आया कि क्या हो रहा है। कॉपियां लेने के बाद उन्हें बताया गया कि पेपर लीक होने के कारण परीक्षा रद कर दी गई है। ये सुनते ही परीक्षार्थियों के चेहरे लटक गए। कई सेंटर पर परीक्षार्थी आक्रोशित हो उठे। हंगामे की स्थिति बन गई। लेकिन, उन्हें निराश होकर वापस लौटना ही पड़ा। पुलिस ने आक्रोशित परीक्षार्थियों को शांत कराकर घर लौटने को कहा।
डीआईओएस को दी सूचना
गोविंद नगर स्थित चाचा नेहरू इंटर कालेज के प्रधानाचार्य डॉ.अनवेश सिंह ने बताया कि उनके केंद्र पर परीक्षार्थियों को पेपर दे दिए गए थे, लेकिन परीक्षा रद होने के चलते पेपर वापस लिए गए। रघुनाथ प्रसाद मिश्र इंटर कालेज के प्रधानाचार्य डॉ.अभयजीत मिश्रा ने बताया कि पेपर कम आए थे, इसकी सूचना डीआईओएस को दे दी थी। मामले में डीआईओएस सतीश तिवारी ने कहा कि शासन से आदेश मिलते ही सभी केंद्रों पर दोनों पालियों की परीक्षाएं निरस्त करा दीं।
दो साल से तैयारी कर रही थी, ऐसे कैसे रद कर दी?
आवास विकास में रहने वाली छाया पांडे ने बताया कि दो साल से तैयारी कर रही थी। परीक्षा रद्द होने से बहुत निराश हूं। वहीं बांगरमऊ निवासी कामिनी मिश्रा ने बताया कि मुझे लगता है, धांधली हुई है। अगर ऐसा ही होना था, तो सरकार की क्या तैयारी रहती है? झींझक में रहने वाली हर्षी ने बताया कि एक साल से तैयारी कर रही थी। पूरी उम्मीद थी, कि सफलता मिल जाएगी। सीढ़ी इटारा में रहने वाली मधू साहू ने बताया कि बहुत अधिक गुस्सा आ रहा है। सरकार को ठोस तैयारी करनी चाहिए थी।
सीएम बोले, लगेगा गैैंगस्टर
शनिवार रात से ही कई जिलों में वाट््सएप पर टीईटी का सॉल्व पेपर पेपर वायरल होना शुरू हो गया था। गाजियाबाद, मथुरा, बुलंदशहर, प्रयागराज आदि जिलों से पेपर लीक होने की बात सामने आने पर कार्रवाई शुरू हुई। एडीजी प्रशांत कुमार ने बताया कि मामले में अब तक 33 लोगों को विभिन्न जिलों में गिरफ्तार किया जा चुका है। इनमें से 8 बिहार के हैं। बिहार सहित अन्य राज्यों के सॉल्वर भी पकड़े गए हैं। मामले की जांच एसटीएफ को सौंपी गई है। वहीं मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने ट््वीट करके कहा कि पेपर लीक करने वालों के खिलाफ गैंगस्टर लगेगा और संपत्ति भी जब्त होगी। एक माह के अंदर परीक्षा दोबारा से आयोजित कराई जाएगी। जल्द ही नई डेट घोषित होगी।
प्रमुख सचिव (बेसिक शिक्षा) दीपक कुमार ने कहा कि परीक्षार्थियों को दोबारा आवेदन करने की जरूरत नहीं होगी और न ही किसी तरह का शुल्क देना होगा। वहीं एडीजी लॉ एंड ऑर्डर प्रशांत कुमार ने बताया कि परीक्षा रद हुई है, इसलिए सरकार ने परीक्षार्थियों को उनके गंतव्य तक पहुंचाने के लिए रोडवेज बसें लगाईं हैं। एडमिट कार्ड दिखाने पर किराए का कोई पैसा नहीं लिया गया।