जापानी प्रधानमंत्री का इस्तीफ़ा
कान के इस्तीफ़े के बाद सत्ताधारी डेमोक्रेटिक पार्टी अब सोमवार को पार्टी के नए नेता का चुनाव करेगी। ताज़ा घटनाक्रम के बाद पिछले पाँच सालों में पार्टी का छठा नेता चुना जाएगा।
नाओतो कान की लगातार इस बात को लेकर आलोचना हो रही थी कि उन्होंने भूकंप पीड़ितों और उससे हुए नुक़सान से निपटने के लिए सही क़दम नहीं उठाए।जापान में इसी साल 11 मार्च को भूकंप के बाद आई सुनामी से काफ़ी नुक़सान हुआ था। जून के महीने में कान ने ये शपथ ली थी कि अगर संसद तीन मुख्य क़ानूनी बिंदुओं को पारित कर देता है तो वह इस्तीफ़ा दे देंगे।वादाशुक्रवार को संसद ने ये विधेयक पारित कर दिया। राष्ट्रीय प्रसारक एनएचके ने नाओतो कान के हवाले से कहा था, "जैसा की मैंने दो जून को वादा किया था, मैं पार्टी के नेतृत्व से इस्तीफ़ा दे रहा हूँ.'' इस चैनल पर कान के हवाले से प्रसारित किया गया, "जब नए नेता का चुनाव हो जाएगा, मैं प्रधानमंत्री के पद से भी इस्तीफ़ा दे दूँगा."
बीबीसी संवाददाता के मुताबिक जापान का जो भी नया प्रधानमंत्री बनेगा उसे भूकंप के बाद हुए नुक़सान से निपटने और राष्ट्र निर्माण को तवोज्जो देनी होगी, साथ ही फुकूशिमा परमाणु संयंत्र से हो रहे विकिरण के रिसाव पर नज़र रखनी होगी।
संवाददाता का ये भी कहना है कि नए प्रधानमंत्री की दूसरी प्राथमिकता आर्थिक मंदी के दौर से गुजर रहे देश को इस संकंट से कैसे निकाला जाए, दुनिया में सबसे ज़्यादा कर्ज़ के बोझ तले दबे और मंहगाई को कम कैसे किया जाए इन चुनौतियों से भी निपटना होगा।