किडनी पेशेंट्स को मिलेगी राउंड ओ क्लॉक डायलिसिस
- हैलट के इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिसिन,एमआईसीयू और कोविड आईसीयू तीन जगहों पर क्रिटिकल किडनी पेशेंट्स की डायलिसिस
KANPUR: शहर के सबसे बड़े रेफरल सेंटर एलएलआर हॉस्पिटल में किडनी के क्रिटिकल पेशेंट्स को अस्पताल में ही तीन जगहों पर डायलिसिस की सुविधा मिलेगी। इसके साथ की केपीएस इंस्टीटयूट ऑफ मेडिसिन में नई नेफ्रोलॉजी यूनिट में किडनी पेशेंट्स के इलाज का पूरा इंतजाम भी होगा। अस्पताल में अब 9 डायलिसिस मशीनें हैं। जिससे अब 24 घंटे डायलिसिस की सुविधा भी क्रिटिकल पेशेंट्स को मिल सकेगी। इसके लिए मेडिसिन आईसीयू और न्यूरो कोविड आईसीयू में भी एक- एक बेड की डायलिसिस यूनिट काम करने लगी है। इसके साथ ही 10 बेड के एचडीयू में भी क्रिटिकल किडनी पेशेंट्स का इलाज हो सकेगा। दिवंगत यदुपति सिंहानिया की याद में जेके गु्रप की ओर से किए गए दान से इसे तैयार किया गया है। इस एयरकंडीशंड एचडीयू में सेंट्रलाइज्ड ऑक्सीजन लाइन से लेकर वेंटीलेटर और मल्टी पैरा मॉनीटर जैसी सुविधाएं भी हैं।
कहां कितनी डायलिसिस मशीनें- 6- इंस्टीटयूट ऑफ मेडिसिन 2- एमआईसीयू,एनेस्थीसिया आईसीयू 1- न्यूरो कोविड आईसीयू ------------------ डायलिसिस नहीं अब नेफ्रोलॉजी यूनिटएलएलआर अस्पताल के केपीएम इंस्टीटयूट ऑफ मेडिसिन में पहले 4 बेड की डायलिसिस यूनिट थी। जेके ग्रुप से मिली मदद के बाद यहां अब 6 मशीनें हैं। इसमें से हेपेटाइटिस पेशेंट्स के डायलिसिस के लिए भी एक मशीन को अलग रखा गया है। नए उपकरण, सुविधाएं और विशेषज्ञ मिलने के बाद नई नेफ्रोलॉजी यूनिट तैयार हो गई है। जिसमें दो सुपरस्पेशलिस्ट भी हैं। इंस्टीटयूट ऑफ मेडिसिन की डायरेक्टर प्रो। रिचा गिरि ने जानकारी दी कि डायलिसिस यूनिट के लिए ज्यादा क्षमता के नए आरओ प्लांट को लगाए गए हैं। इसी तरह मेडिसिन आईसीयू व न्यूरो कोविड आईसीयू में भी डायलिसिस के लिए आरओ प्लांट लग चुका है। ऐसे में किडनी पेशेंट्स के ट्रीटमेंट के लिए अब काफी बेहतर सुविधाएं है। नेफ्रोलॉजी यूनिट के लिए 10 बेड का एचडीयू भी तैयार है। जिसमें फाउलर बेड के साथ वेंटीलेटर, मल्टी पैरा मॉनीटर और सेंट्रल ऑक्सीजन लाइन जैसी सुविधाएं हैं। इसका फायदा किडनी पेशेंट्स को मिलेगा। उन्हें सरकारी दरों पर ही डायलिसिस की सुविधा मिलेगी।
नहीं जाना पड़ेगा कार्डियोलॉजीडायलिसिस के दौरान किडनी पेशेंट्स में फिश्चुला भी बनता है। जिसके इलाज के लिए कई बार पेशेंट्स को कार्डियोलॉजी भेजना पड़ता है। वहीं जल्द ही नेफ्रोलॉजी यूनिट के साथ एक माइनर ओटी भी तैयार किया जाएगा। जिससे फिश्चुला की प्रॉब्लम होने पर पेशेंट्स को कार्डियोलॉजी नहीं भेजना पड़ेगा। माइनर ओटी में ही इलाज हो जाएगा।
आईसीयू में डायलिसिस
एलएलआर हॉस्पिटल में मेडिसिन आईसीयू, एनेस्थीसिया आईसीयू और न्यूरो कोविड आईसीयू में भी एक-एक डायलिसिस मशीनें हैं। जिसके साथ ही आरओ सिस्टम भी इंस्टॉल किया जा चुका है। न्यूरो कोविड आईसीयू में तो पीजीआई सैफई से भी क्रिटिकल कोविड पेशेंट्स को डायलिसिस के लिए भेजा जा रहा है। अस्पताल में किडनी पेशेंट्स के ट्रीटमेंट के लिए अब पहले से बेहतर सुविधाएं हैं। साथ ही मेडिसिन विभाग में नई नेफ्रोलॉजी यूनिट भी तैयार हो गई है। जिसमें किडनी पेशेंट्स को राउंड ओ क्लॉक ट्रीटमेंट मिल सकेगा। - डॉ। रिचा गिरि, वाइस प्रिंसिपल, जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज