734 करोड़ से बनेंगे मेट्रो स्टेशन
-- टेंडर हासिल करने वाली कंपनी ने एलाइनमेंट व मेट्रो स्टेशन के लिए सर्वे शुरू किया
-- लखनऊ मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन ने एफकांस को सौंपी कई जगहों की स्वॉयल टेस्टिंग रिपोर्ट KANPUR: कानपुर मेट्रो के प्रॉयोरिटी सेक्शन का टेंडर अवॉर्ड होने के बाद काम शुरू करने की तैयारी तेज हो गई हैं। आईआईटी से मोतीझील तक एलीवेटेड वायाडक्ट व 9 मेट्रो स्टेशन 734.56 करोड़ से बनाए जाएंगे। यह अमाउंट टेंडर कॉस्ट से 58 करोड़ से भी ज्यादा है। इधर टेंडर हासिल करने वाली कंपनी की टीम भी सिटी आ गई है। उसने आईआईटी से मोतीझील के बीच एलाइनमेंट और मेट्रो स्टेशंस का सर्वे भी शुरू कर दिया है। टेस्टिंग रिपोर्ट सौंपीआईआईटी से मोतीझील तक करीब 8.3 किलोमीटर का एलीवेटेड वायाडक्ट बनना है। इसके साथ प्रॉयोरिटी सेक्शन में 9 मेट्रो स्टेशन बनाए जाने हैं। इसके लिए लखनऊ मेट्रो रेल कार्पोरेशन 40 स्थानों पर स्वॉयल टेस्टिंग करा रहा है। थर्सडे को स्वॉयल टेस्टिंग के लिए हैलट रोड पर मोतीझील आदि जगहों पर खुदाई शुरू कर दी गई। इससे पहले आईआईटी से गोल चौराहा तक स्वॉयल टेस्टिंग कराई जा चुकी है। इनमें से कई स्थानों पर स्वॉयल टेस्टिंग की रिपोर्ट एलएमआरसी को मिल चुकी है। जिसे लखनऊ मेट्रो रेल कार्पोरेशन ने मेट्रो स्टेशन बनाने की जिम्मेदारी हासिल करने वाली कंपनी एफकांस इंफ्रास्ट्रक्चर को सौंप दी है। जिससे कि प्रॉयोरिटी सेक्शन का काम कम्पनी शुरू कर सके। इधर कम्पनी की टीम भी सिटी पहुंच चुकी है, उसने मेट्रो ट्रैक एलॉइनमेंट को लेकर सर्वे भी शुरू कर दिया है। एलएमआरसी ऑफिसर्स के मुताबिक स्वॉयल टेस्टिंग की रिपोर्ट के मुताबिक मेट्रो ट्रैक व स्टेशंस के पिलर्स के फाउंडेशंस की डिजायन की जाएगी।
पहले से ज्यादा टेंडर कॉस्ट कानपुर मेट्रो प्रोजेक्ट की डिटेल प्रोजेक्ट रिपोर्ट तीन बार रिवाइज की जा चुकी है। तब कहीं जाकर सेंट्रल गवर्नमेंट ने 11076 करोड़ का यह प्रोजेक्ट पास किया है। इससे पहले प्रोजेक्ट कॉस्ट 17092 करोड़ रुपए थी। प्रोजेक्ट कॉस्ट कम करने के लिए एक मेट्रो स्टेशन कम किया गया। अन्य स्टेशन का साइज कम किया गया। यही नहीं जीटी रोड पर रेलवे लाइन पर बनने वाले फुटओवर ब्रिज आदि कम किए गए। बावजूद इसके एलीवेटेड वायाडक्ट, 9 मेट्रो स्टेशंस बनाने की टेंडर कॉस्ट घटने की बजाए बढ़ गई। रिवाइज की गई डीपीआर से पहले फरवरी, 2018 में 734 करोड़ से इस काम के लिए टेंडर कॉल किए गए थे। जबकि डीपीआर रिवाइज करने के बाद एस्टीमेट घटाकर 676 करोड़ किया गया। पर टेंडर सबसे कम रेट 734.56 करोड़ पर अवार्ड किया गया है।