हायर एजुकेशन के हर स्टूडेंट को अब एकेडमिक बैंक क्रेडिट एबीसी आईडी बनानी होगी. यूनिवर्सिटी और इंस्टीट्यूट्स को इस काम को इसी सेशन से कराना होगा. हर स्टूडेंट की एबीसी आईडी बने इसके लिए यूजीसी के सेक्रेटरी प्रो. मनीष आर जोशी ने सभी यूनिवर्सिटीज के वीसी और इंस्टीट्यूट्स के डायरेक्टर्स को नोटिस जारी कर दिया है. जारी नोटिस में कहा गया है कि एबीसी आईडी के बेनीफिट और उसको बनाने में हेल्प करने का का काम एनईपी सारथी करेंगे

कानपुर (ब्यूरो)। हायर एजुकेशन के हर स्टूडेंट को अब एकेडमिक बैंक क्रेडिट (एबीसी) आईडी बनानी होगी। यूनिवर्सिटी और इंस्टीट्यूट्स को इस काम को इसी सेशन से कराना होगा। हर स्टूडेंट की एबीसी आईडी बने इसके लिए यूजीसी के सेक्रेटरी प्रो। मनीष आर जोशी ने सभी यूनिवर्सिटीज के वीसी और इंस्टीट्यूट्स के डायरेक्टर्स को नोटिस जारी कर दिया है। जारी नोटिस में कहा गया है कि एबीसी आईडी के बेनीफिट और उसको बनाने में हेल्प करने का का काम एनईपी सारथी करेंगे। वह न्यू एडमिशन और न्यू एबीसी आईडी बनाने वाले स्टूडेंट्स को आईडी बनाने का प्रोसेस आदि बताएंगे। हालांकि सीएसजेएमयू समेत सिटी के कई संस्थानों में स्टूडेंट्स की एबीसी आईडी को बनवाया जा रहा है।

ये फैसिलिटी मिलेंगी एबीसी से
एकेडमिक बैंक क्रेडिट (एबीसी) को न्यू एजुकेशन पॉलिसी के तहत शुरू किया गया है। एबीसी आईडी को बनाने के बाद स्टूडेंट की स्टडी के हर साल के क्रेडिट ऑनलाइन आईडी पर अपलोड और शो होने लगते हैैं। इसके बाद अगर स्टूडेंट बीच मेें पूरे कोर्स के दौरान बीच में पढ़ाई को छोड़ता है तो तय समय के भीतर दोबारा आगे की क्लास में एडमिशन मिल जाएगा। इसको मल्टी एंट्री एग्जिट कहा जाता है। इसके अलावा पढ़ाई के बीच में अगर आप इंस्टीट्यूट को चेंज करना चाहते हैैं तो एबीसी आईडी के जरिए इंस्टीट्यूट ट्रांसफर फैसिलिटी का प्रोसेस आसान हो जाता है। यह सभी फैसिलिटी एनईपी के तहत स्टूडेंट्स को दी गई हैैं।

संस्थान को कराना होगा रजिस्टर्ड
यूजीसी की ओर से जारी लेटर में कहा गया है कि एबीसी आईडी के लिए हर स्टूडेंट की बननी है। ऐसे में सबसे पहले एजुकेशनल इंस्टीट्यूट्स को एनएडी या एबीसी पोर्टल पर रजिस्ट्रेशन कराना होगा। चूंकि एबीसी आईडी बनाते समय कालेज या यूनिवर्सिटी का सिलेक्शन करना होता है ऐसे में संस्थानों का भी रजिस्ट्रेशन होना कंपलसरी है। इतना ही नहीं एबीसी आईडी बनवाने को लेकर संस्थानों को एक नोडल आफिसर भी नॉमिनेट करना होगा। नोडल आफिसर का नाम, पोस्ट, मोबाइल नंबर और ईमेल आईडी को संस्थान की वेबसाइट पर दिखाना होगा।

स्टूडेंट के लिए बेहतर है एबीसी आईडी
सीएसजेएमयू के वीसी प्रो। विनय पाठक ने बताया कि सीएसजेएमयू और एफिलिएटेड कालेजों में स्टूडेंट्स की एबीसी आईडी को बनवाया जा रहा है। यहां पढऩे वाले अधिकतर स्टूडेंट्स की एबीसी आईडी बन चुकी है, जिन स्टूडेंट्स की नहीं बनी है। उनकी बनवाई जा रही है। यूनिवर्सिटी और कालेजों में एबीसी आईडी बनाने के लिए स्टूडेंट्स की हेल्प के लिए फैकल्टी है। एबीसी आईडी स्टूडेंट्स के लिए बेहतर है।

एडमिशन के समय ही कंपलसरी
यूजीसी का कहना है कि हर स्टूडेंट की एबीसी आईडी को बनवाने के लिए एडमिशन फार्म में ही इसको कंपलसरी करना होगा। इतना ही नहीं इसके प्रचार प्रसार के लिए कैंटीन, लाइब्रेरी, स्पोट्र्स ग्राउंड और नोटिस बोर्ड में पोस्टर और टैैंपलेट को लगाना होगा। यूजीसी ने लेटर में लिखा कि प्रचार प्रसार ऐसी जगह पर किया जाए जहां पर स्टूडेंट की आवाजाही ज्यादा हो। इतना ही नहीं प्रचार प्रसार के लिए सेमिनार और वर्कशॉप के आयोजन की भी बात कही गई है।

Posted By: Inextlive