सर्दी के दस्तक देते ही कोहरे का कोहराम भी शुरू हो गया है. कोहरे के चलते आए दिन हादसे हो रहे हैं लेकिन हैरानी वाली बात है कि अभी तक रोडवेज प्रशासन ने बसों में कोई भी इंतजाम नहीं किए हैं. संडे को दैनिक जागरण आईनेक्स्ट ने बसों का रियलिटी चेक किया तो पता चला कि अभी तक बसों में फॉग लाइट तक नहीं लगी है. इतना ही नहीं कई बसों के शीशे टूट पड़े हैं. वाइपर तक नहीं है. इसके अलावा हादसे रोकने में कारगर रेडियम लाइट तक नहीं है. ऐसे में अगर आप रोडवेज की बसों में सफर करने जा रहे हैं तो अलर्ट रहें नहीं तो हादसे का शिकार हो सकते हैं.

कानपुर (ब्यूरो)। सर्दी के दस्तक देते ही कोहरे का कोहराम भी शुरू हो गया है। कोहरे के चलते आए दिन हादसे हो रहे हैं लेकिन हैरानी वाली बात है कि अभी तक रोडवेज प्रशासन ने बसों में कोई भी इंतजाम नहीं किए हैं। संडे को दैनिक जागरण आईनेक्स्ट ने बसों का रियलिटी चेक किया तो पता चला कि अभी तक बसों में फॉग लाइट तक नहीं लगी है। इतना ही नहीं, कई बसों के शीशे टूट पड़े हैं। वाइपर तक नहीं है। इसके अलावा हादसे रोकने में कारगर रेडियम लाइट तक नहीं है। ऐसे में अगर आप रोडवेज की बसों में सफर करने जा रहे हैं तो अलर्ट रहें, नहीं तो हादसे का शिकार हो सकते हैं।

बीएस-4 की बसों में नहीं लगे साइन बोर्ड

रोडवेज की नई बीएस-6 बसों के पीछे रेडियम साइन बोर्ड लगे हुए है लेकिन वहीं पुरानी बीएस-4 बसों में रेडियम साइन बोर्ड तो दूर रेडियम युक्त टेप भी नहीं लगे हुए हैं। जिसकी वजह से कोहरे व रात में बस के पीछे चलने वाले वाहनों को दूर से स्पष्ट नहीं होगी कि आगे कोई वाहन चल रहा है। जिसकी वजह से एक्सीडेंट होने की आशंका बढ़ जाती है। कोहरे में कई बार वाहन के पीछे रेडियम साइन बोर्ड न लगे होने की वजह से एक्सीडेंट हो जाते हैं।


फ्रंट शीशे टूटे, वाइपर भी खराब पड़े

दैनिक जागरण आईनेक्स्ट की टीम ने झकरकटी बस अड्डे में कोहरे को देखते हुए बसों में किए गए इंतजाम का रियलिटी चेक करने के पहुंची। रायबरेली, हरदोई, किदवई नगर समेत कई डिपो की बसों के हालात खाफी खराब मिले। बस के फ्रंट शीशा की टूट था। इसके अलावा उसमें लगा वाइपर भी सुतली से बंधा हुआ था। सवाल यह उठता है कि कोहरे के दौरान फ्रंट बस में ओस पडऩे पर उसको ड्राइवर साफ कैसे करेगा। जब शीशे में वाइपर ही नहीं लगा हुआ है।

90 परसेंट बसों में फॉग लाइट नहीं

रियलिटी चेक करने के दौरान झकरकटी बस अड्डे में खड़ी दर्जनों बसों में फॉग लाइट चेक की गई। जिसमें 90 परसेंट बसों में फॉग लाइट लगी नहीं मिली। कुछ एसी बसों में फॉग लाइट लगी मिली। ट्रैफिक आफिसर्स के मुताबिक कोहरे में फॉग लाइट सेफ ड्राइव के लिए काफी महत्व रखती है। नवंबर में ट्रैफिक मंथ के दौरान पब्लिक पैसेंजर्स व गुड्स व्हीकल पर रेडियम साइन बोर्ड के साथ फॉग लाइट भी लगाने को कहां जाता है। इस पर कार्रवाई भी की जाती है।

Posted By: Inextlive