सिंगल यूज कैरीबैग पर एक जुलाई से पूर्ण प्रतिबंध को पांच महीने पूरे होने जा रहे हैं लेकिन इसके बावजूद इनका इस्तेमाल धड़ल्ले से चल रहा है. क्योंकि फैक्ट्रियों में प्रोडक्शन और सप्लाई जारी है. इन फैक्ट्रियों पर न छापेमारी हो रही है न कोई कार्रवाई. रास्तों में नगर निगम की टीम जरूर चेकिंग कर धरपकड़ कर रही है. सैटरडे को टाटमिल चौराहे पर चेकिंग के दौरान एक लोडर में 1020 किलो बैन कैरीबैग पकड़ा गया. पूछताछ में सामने आया कि यह कैरीबैग लखनऊ सप्लाई होने जा रहा था. कैरीबैग को जब्त कर पनकी प्लांट में निस्तारण के लिए भेज दिया गया है.


कानपुर (ब्यूरो) नगर निगम प्रवर्तन अधिकारी कर्नल आलोक नारायण ने बताया कि सूचना के आधार पर टाटमिल में नाका लगाया गया। एक टाटा एस लोडर नंबर (यूपी 77 टी9792) पकड़ा जिसमें 34 बोरियों में 1,020 किलो बैन कैरीबैग लदी हुई थी। यह माल लखनऊ के राज प्लास्टिक एजेंसी को सप्लाई होने जा रहा था। माल गुजरात के हलोल से कानपुर आया था। यहां गंगा कार्गो ट्रांसपोर्ट द्वारा लखनऊ भेजा जा रहा था।

50 हजार का जुर्मानाकर्नल आलोक नारायण ने बताया कि राजस्व निरीक्षक अरविंद मिश्रा द्वारा ट्रांसपोर्टर से पचास हजार रुपए जुर्माना वसूला गया है। इस दौरान प्रवर्तन दल के सूबेदार अवधेश सिंह, लक्ष्मण सिंह, वीरेंद्र स्वरूप, रामेंद्र सिंह, हवलदार धनंजय, जितेंद्र सिंह, रामनरेश, इंद्रजीत, भूपेंद्र, राजेश, राज नारायण, जितेंद्र बहादुर आदि शमिल रहे। कर्नल आलोक ने बताया कि इस तरह की चेकिंग आगे भी चलती रहेगी, ताकि बैन प्लास्टिक पर अंकुश लगाया जा सके।

Posted By: Inextlive