बदले मौसम और आतिशबाजी के चलते दिवाली की रात शहर का पॉल्यूशन का स्तर मानक से करीब चार गुना रहा. सेंट्रल पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड के अनुसार शहर का एक्यूआई दिवाली की रात 391 दर्ज किया गया जो वेरी पुअर कैटेगरी में हैं. लेकिन राहत वाली बात ये हे कि पिछले तीन साल के मुकाबले 44 प्रतिशत तक कम है. इसका प्रमुख कारण ग्रीन क्रैकर्स का यूज और पॉल्यूशन करने वाले क्रैकर्स पर सख्ती होना है. पर्याप्त ग्रीन क्रैकर्स न होने से पटाखों की बिक्री भी कम हुई और लोगों में अवेयरनेस भी दिखी. सैटरडे शाम 4 बजे तक एक्यूआई ाटकर 270 पहुंच गया.

कानपुर (ब्यूरो) सुप्रीम कोर्ट की गाइडलाइन थी कि पिछली दीपावली की तरह इस बार भी सिर्फ ग्रीन क्रैकर्स की ब्रिकी की जाएगी। जिसके बाद से कानपुर प्रशासन हरकत में आया और सिर्फ ग्रीन क्रैकर्स को ही बेचने की परमिशन दी थी। हालांकि देर रात तक लोगों ने तेज आवाज वाले क्रैकर्स को जलाकर नियमों की धज्जियां उड़ाते दिखे। लेकिन पिछले सालों की तुलना में यह ग्राफ काफी कम रहा।

कम आतिशबाजी से घटा एक्यूआई
दीपावली पर मार्केट में भीड़ उमडऩे से जगह जगह जाम लगने और टूटी फूटी रोड से उड़ती धूल के कारण मंडे को एक्यूआई इस सीजन में सबसे ज्यादा 408 पहुंच गया था। जिसकी वजह से डैनजर्स जोन की स्थिति बन गई थी, लेकिन अगले चार दिन तक हालत औसत बना रहा और दिवाली की रात 18 प्वाइंट एक्यूआई घटकर 391 पहुंच गया।


रात दस बजे पहुंचा 391 एक्यूआई
शाम को एक्यूआई नेहरूनगर पॉल्यूशन मीटर पर वेडनेस की शाम 304 था, जोकि थर्सडे डे बढ़कर 379 पहुंच गया। इसके बाद किदवईनगर इलाके का एक्युआई 227, आईआईटी का 203 और नेशनल शुगर इंस्टीट्यूट का 205 रहा। वहीं, देरशाम आतिशबाजी शुरू होने के बाद एक्यूआई में बढ़ोतरी तो हुई पर उस अनुपात में नहीं, जितनी पिछले वर्षों में हुई थी। रात 10 बजे यह 391 तक गया, लेकिन अगले एक घंटे में 11 बजे फिर 386 पर आ गया।

Posted By: Inextlive