सिटी में आवारा जानवरों का आतंक, इन्हें नहीं पकड़ता सरकारी अमला
गोरखपुर (ब्यूरो).दैनिक जागरण आईनेक्स्ट के सर्वे में चार सवाल पूछे गए। इसमें सबसे पहला सवाल ही यह था कि उनके मोहल्लों या वर्किंग एरिया में आवारा पशु या स्ट्रीट डॉग हैं। सर्वे में पार्टिसिपेट करने वाले 92.5 परसेंट लोगों ने माना कि उनके घर के आसपास या वर्किंग एरिया में आवारा जानवरों का आतंक है। वहीं, 4.5 परसेंट को इस बात की जानकारी नहीं थी। जबकि 3 परसेंट लोगों का कहना था कि उनके एरिया में आवारा पशु और कुत्ते नहीं हैं। आवारा जानवरों के बने शिकार
सर्वे में पूछे गए एक और सवाल के जवाब में लोगों ने बताया कि उनके घर या आसपास में नजर आने वाले आवारा पशुओं ने उन्हें काफी नुकसान पहुंचाया है। करीब 65.7 परसेंट लोगों का कहना है कि आवारा पशुओं ने उन्हें या उनके जानने वालों को अपना शिकार बनाया है। जानवरों को पकडऩे की बात करें तो इसके लिए 77.6 परसेंट लोगों ने जवाब दिया है कि न तो कोई टीम इन्हें पकडऩे आती है और न ही निजात दिलाने के लिए कोई कदम उठाए गए हैं। 87.7 परसेंट लोगों ने माना है कि इन्हें पकडऩे के लिए अमला गंभीर भी नहीं है। सवाल: क्या आपके आवास या वर्किंग एरिया में भी आवारा पशु या स्ट्रीट डॉग हैं?
हां - 92.5 त्न
नहीं - 4.5 त्नपता नहीं - 3.0 त्नसवाल: क्या आपके एरिया में आवारा पशु या स्ट्रीट डॉग को पकडऩे सरकारी अमला आता है?हां - 9.0 त्ननहीं - 77.6 त्नपता नहीं - 13.4 त्नसवाल: क्या कभी आवारा पशु या स्ट्रीट डॉग ने आपका या आपके किसी जानकार को शिकार बनाया है?हां - 65.7 त्ननहीं - 34.3 त्नसवाल: क्या आवारा पशु या स्ट्रीट डॉग को पकडऩे में सरकारी अमला गंभीर है?हां - 1.5 त्ननहीं - 87.7 त्नपता नहीं - 10.8 त्न