-एनएसएस छात्राओं के साथ हुई छेड़खानी के बाद जागा डीडीयूजीयू

-अब बिना आई कार्ड या फीस रसीद के कैंपस में स्टूडेंट्स को नहीं मिलेगी एंट्री

GORAKHPUR: एनएसएस छात्राओं के साथ हुई छेड़खानी से सबक लेते हुए यूनिवर्सिटी प्रशासन ने सख्त रूख अपना लिया है। अब बिना आई कार्ड या फीस रसीद के किसी भी स्टूडेंट को यूनिवर्सिटी में एंट्री नहीं मिल सकेगी। इसके अलावा डीडीयूजीयू अराजक तत्वों पर रोक लगाने के लिए कई और भी अहम कदम उठाने जा रहा है। साथ ही जिन स्टूडेंट्स के आई कार्ड नहीं बन सके हैं वह फ्0 नवंबर तक हर हाल में अपने आई कार्ड बनवा लें। वरना उनपर यूनिवर्सिटी प्रशासन सख्त कार्रवाई करेगा।

9,800 में महज ब्,ब्00 स्टूडेंट्स के पास है आई कार्ड

डीडीयूजीयू वीसी प्रो। अशोक कुमार ने बताया कि इस सेशन में कैंपस में कुल 9,800 रजिस्टर्ड स्टूडेंट्स हैं। इनमें से महज भ्,ब्00 स्टूडेंट्स ने ही एडमिशन फार्म सबमिट की है। इसके चलते इन स्टूडेंट्स के आई कार्ड नहीं बन सके हैं। इसलिए जिन स्टूडेंट्स ने अभी तक फार्म सबमिट नहीं किए हैं वह सबमिट कर दें। ताकि उनके आई कार्ड बन सके और एंट्री में प्रॉब्लम न हो।

शाम म् बजे के बाद बंद हो जाएगा मेन गेट

वीसी ने आई नेक्स्ट को बताया कि यूनिवर्सिटी कैंपस में अराजक तत्वों की रोकथाम के लिए शाम के म् बजे के बाद मेन गेट बंद कर दिया जाएगा। केवल सुबह मार्निग वॉक पर आने वालों के लिए ही खोला जाएगा। इसके बाद सुबह के 9 से क्क् बजे के बीच एंट्री की व्यवस्था बनाई जा रही है। जो इन नियमों का पालन नहीं करेगा, उसके विरुद्ध अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाएगी।

सख्त हुआ यूनिवर्सिटी प्रशासन

- नियंता मंडल अराजक तत्वों पर रखेंगे नजर

- सुरक्षा व्यवस्था बढ़ाए जाने के लिए निकाला गया टेंडर

- कैंपस के अंदर आने वाले व्हीकल के स्पीड को स्लो करने के लिए जगह-जगह लगाए जाएंगे बैरियर

- मेन गेट से क्क् बजे के बाद नहीं होगा किसी का एंट्री

- बिना पास वाले कर्मचारी, टीचर्स और ऑफिसर्स को नहीं मिलेगी एंट्री

इनके नहीं बने हैं आई कार्ड

- यूजी फाइनल इयर स्टूडेंट्स

- पीजी फाइनल के इयर के स्टूडेंट्स

कैंपस में हुई छेड़छाड़ की घटना से यूनिवर्सिटी की छवि धूमिल हुई है। ऐसी गलती दोबारा न हो और अराजक तत्वों से निपटने के लिए कठोर नियम बना दिए गए हैं। जिनके आई कार्ड नहीं बने हैं वह अपने आई कार्ड बनवा लें।

प्रो। अशोक कुमार, वीसी, डीडीयूजीयू

Posted By: Inextlive