बीआरडी मेडिकल बना नवजात के शव का अड्डा
-तीमारदार पीजी हॉस्टल के सामने फेंक रहा था शव
-गार्डो के सुपरवाइजर ने प्रिंसिपल को दी सूचना - प्रिंसिपल ने एनएनयू में पहुंच कराई जांच GORAKHPUR: बीआरडी मेडिकल कॉलेज नवजात शिशु की डेड बॉडी का अड्डा बनता जा रहा है। आए दिन डेड बॉडी फेंक कर कोई न कोई फरार हो जा रहा है। बीती रात एक ऐसा ही मामला प्रकाश में आया है। तीमारदार नवजात की डेड बॉडी पीजी हॉस्टल के सामने फेंक रहा था। इसी बीच गार्ड की नजर उस पर पड़ी और उन्होंने इसकी जानकारी मेडिकल कॉलेज प्रिंसिपल को दी।कुशीनगर की रहने वाले संतोष ने बुधवार को नवजात को एनएनयू में एडमिट कराया। बच्चे की हालत खराब थी। बीती रात इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। रात करीब 11.50 बजे तीमारदार नवजात का शव लेकर पीजी हॉस्टल स्थित एक झाड़ी में फेंक रहा था। सुपरवाइजर श्रीकांत की नजर उस पर पड़ गई। गार्ड ने उसे दौड़ाकर पकड़ लिया। उन्होंने सूचना प्रिंसिपल को दी। प्रिंसिपल डॉ। राजीव मिश्रा तत्काल नवजात शिशु गहन कक्ष पहुंचे और जांच कराई तो संतोष की पत्नी की नाम मीना क्लीयर हुआ। हालांकि पांच रोज पहले उसी हॉस्टल की झाड़ी में एक नवजात का शव मिला था। उसे कुत्ते नोच रहे थे। मौके पर लोगों की भीड़ जुट गई। इसकी जानकारी मिलने पर गार्डो ने कुत्ते को दौड़ाया तो व वार्ड की गैलरी में पहुंच गए और शव को छोड़ भाग निकले। इस मामले को शासन ने गंभीरता से लेते हुए जांच के आदेश भी दिए हैं। हालांकि अभी जांच पूरी नहीं हो पाई कि एक और मामला सामने आ गया। प्रिंसिपल डॉ। राजीव मिश्रा ने बताया कि इस संबंध में तीमारदारों से पूछताछ की जा रही है।