आतिशबाजी ने गोरखपुर की आबोहवा खराब कर दी. बुधवार को 250 के करीब पहुंचे एक्युआई ने सांस और हार्ट पेशेंट्स के लिए परेशानी बढ़ा दी थी. जहरीली हुई आबोहवा की असलियत जब सार्वजनिक हुई तो पॉल्युशन डिपार्टमेंट हरकत में आया. नगर निगम समेत अन्य विभागों के साथ मिलकर एक्यूआई कंट्रोल करने में जुट गए. सड़कों पार्कों में छिड़काव के चलते गुरुवार रात को काफी हद तक कम हो गया. पॉल्युशन डिपार्टमेंट के अनुसार राहत जरूर मिली है पर चिंता अभी बरकरार है.


गोरखपुर (ब्यूरो).एक्यूआई के बढऩे पर पॉल्युशन डिपार्टमेंट ने नगर निगम समेत अन्य विभागों से मदद ली। नगर निगम की गाडिय़ों से सड़कों और कंस्ट्रक्शन एरिया में छिड़काव कराना शुरू करा दिया। सुबह से लेकर देर रात तक सिलसिला चलता रहा। यही नहीं यातायात विभाग ने भी भीड़ और जाम नहीं लगने दिया, जिससे एक्यूआई को बढऩे में मदद नहीं मिली। इसी का नतीजा रहा है कि सुबह एक्युआई 205 फिर 150, 125 और रात 10 बजे 119 हो गया। छठ पर्व के बाद होगा पूर्ण सुधार
पॉल्युशन डिपार्टमेंट की मानें तो छठ के बाद एक्यूआई पूरी तरह से कंट्रोल में होगा। दिवाली में आतिशबाजी के बाद एक्यूआई बढ़ जाता है। इसके बाद समय रहते काबू कर लिया गया, लेकिन अभी छठ तक इसके बढऩे के आसार हैं। छठ तक अगर लोगों ने भी जागरुकता दिखाई तो पॉल्युशन नहीं होगा। हालांकि डिपार्टमेंट पॉल्युशन को रोकने के लिए कोशिशों में जुटा हुआ है। ये किए गए प्रयासवायु प्रदूषण कम करने के लिए नगर निगम की ओर से सड़कों और कंस्ट्रक्शन एरिया में पानी का छिड़काव कराया गया।सिटी एरिया में चलने वाले उद्योगों की जांच कर उन्हें उद्योग में लगे वायु प्रदूषण नियंत्रण व्यवस्था को सतत् संचालन के लिए निर्देशित किया।


ट्रैफिक पुलिस ने जाम नहीं लगने दिया और धुआं करने वाले वाहनों की धरपकड़ की गई। दिवाली के पहले व बाद का एक्यूआई 23 अक्टूबर : 8324 अक्टूबर : 116 (दिवाली)25 अक्टूबर : 21326 अक्टूबर : 25327 अक्टूबर 119 एक्यूआई रेंज हवा का हाल स्वास्थ्य पर संभावित असर 0-50 अच्छी है बहुत कम असर51-100 ठीक है संवेदनशील लोगों को सांस की हल्की दिक्कत101-200 अच्छी नहीं है फेफड़ा, दिल और अस्थमा मरीजों को सांस में दिक्कत201-300 खराब है लंबे समय तक ऐसे वातावरण में रहने पर किसी को भी सांस में दिक्कत

301-400 बहुत खराब है लंबे समय तक ऐसे वातावरण में रहने पर सांस की बीमारी का खतरा401-500 खतरनाक है स्वस्थ आदमी पर भी असर, पहले से बीमार हैं तो ज्यादा खतरापॉल्युशन बढऩे का मुख्य कारण आतिशबाजी रही। इसे काफी हद तक काबू किया जा चुका है। जल्द ही एक्यूआई पूरी तरह से कंट्रोल होगा। इसके लिए अन्य विभागों से भी मदद ली जा रही है।पंकज यादव, क्षेत्रीय प्रदूषण अधिकारी, गोरखपुर

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