कागजों में निस्तारित हो रही ऑनलाइन कंप्लेन
- पिछले एक माह से कंप्लेन को सुलझाने में नगर निगम असफल
- किसी भी कंप्लेन का फीडबैक फॉर्म अप्लाई नहीं कर रहे कर्मचारी GORAKHPUR: केस 1- संत रविदास मंदिर अंधियारीबाग के पास रहने वाले राजेश कुमार ने एक माह पहले गंदगी को लेकर कंप्लेन की थी। उन्होंने जानकारी दी कि उनके यहां की नाली जाम है, जिससे नाली का पानी सड़क से होकर बह रहा है। इस कारण आवागमन में दिक्कत के साथ ही रोड टूट रही है। उनकी कंप्लेन के बाद मोबाइल पर कंप्लेन नंबर आ गया, लेकिन एक माह होने जा रहा है अभी तक उनकी प्रॉब्लम सॉल्व नहीं हुई है।केस 2- हड़हवा फाटक से तरंग क्रॉसिंग तक नाला पॉलीथिन और कूड़े से भरा हुआ था। यहां रहने वाले दुर्गेश मिश्रा ने नौ मार्च को ऑनलाइन कंप्लेन की। 10 मार्च को ही इसे ऑनलाइन निस्तारित दिखा दिया गया, जबकि नाला अभी भी जाम है। गंदा पानी ओवरफ्लो होकर सड़क पर बह रहा है।
नगर निगम के ऑनलाइन कंप्लेन सिस्टम की हवा निकालने में इसके अधिकारी ही जुटे हुए हैं। पब्लिक को ऑनलाइन कंप्लेन से उम्मीद थी कि उनकी समस्या का निस्तारण हो जाएगा, लेकिन वहां भी केवल वादे ही मिल रहे हैं। अप्रैल के पहले सात दिन का रिकार्ड देखें तो सौ से अधिक आई कंप्लेन्स में केवल दो मामलों का निस्तारण किया गया है। इसी से इस सिस्टम की हकीकत का अंदाजा लगाया जा सकता है। दिक्कत ये भी है कि जो मामले निस्तारित हो जा रहे हैं, उनका फीडबैक न तो लिया जा रहा है और न दिया जा रहा है।
एक अप्रैल से सात अप्रैल तक आईं कंप्लेन टोटल कंप्लेन निस्तारित 104 2 विभाग टोटल कंप्लेन निस्तारित स्वास्थ्य विभाग 38 1 निर्माण विभाग 9 00जलकल 27 00
पथ प्रकाश 30 1