- बीआरडी में डॉक्टर की लापरवाही से महिला की मौत के बाद हंगामा

- परिजनों ने प्रिंसिपल से डॉक्टर की लिखित शिकायत की

- 3 तारीख को ही ऑपरेशन से हुआ था जुड़वा बच्चा

GORAKHPUR: बीआरडी में मंगलवार की रात बेदर्दी की कहानी फिर दोहराई गई। आरोप है कि परिजन डॉक्टर से गुहार लगाते रहे लेकिन पेशेंट को नहीं देखने के कारण उसकी मौत हो गई। इसके बाद गुस्साए परिजनों ने गायनी विभाग में जमकर हंगामा किया। डॉक्टर के खिलाफ प्रिंसिपल से लिखित कंप्लेन की। तीन तारीख को ही प्रेग्नेंट महिला को एडमिट कराया गया था। जिसने ऑपरेशन से जुड़वा बच्चे को जन्म दिया था।

स्थानीय अस्पताल से रेफर

कुशीनगर जिले के कसया की रहने वाली रुकसाना को प्रसव पीड़ा हुई। बड़ी बहन रइसुनीनिशा उसे लेकर पास के सरकारी अस्पताल पहुंची लेकिन डॉक्टर्स ने उसकी हालत नाजुक बताते हुए बीआरडी के लिए रेफर कर दिया। 3 जनवरी को प्रेग्नेंट महिला को बीआरडी में एडमिट कराया गया। जहां ऑपरेशन से उसने दो बच्चों को जन्म दिया। बच्चों को एनएनयू में एडमिट कराया गया। वहीं महिला को गायनी वार्ड नंबर 7 बेड संख्या 11 पर भर्ती किया गया था।

अचानक बिगड़ी तबियत

बीती रात अचानक महिला की तबियत बिगड़ने लगी। परेशानी की हालत में डॉक्टर के पास पहुंची और मरीज की स्थिति के बारे में जानकारी दी। लेकिन कोई डॉक्टर मरीज को देखने नहीं आए। इसी बीच अचानक उसकी मौत हो गई। मृतक महिला की बड़ी बहन रइसुन निशा ने प्रिंसिपल को लिखित पत्र देकर डॉक्टर पर गंभीर आरोप लगाया है। पत्र में लिखा है कि डॉक्टर की लापरवाही की वजह से मेरी बहन की मौत हुई है। इतना ही नहीं ऑपरेशन के नाम पर बाहर के मेडिकल स्टोर्स से 20 हजार की दवाएं व 2500 रुपये की जांच करवाए गए। आधे से अधिक दवाएं डॉक्टर्स ने चुरा ली। आरोप लगाया कि शिकायत करने पर डॉक्टर्स ने परिजनों के साथ दु‌र्व्यवहार किया। आपत्ति जताने पर उन्हें मारापीटा। पूरे प्रकरण की प्रार्थना पत्र देकर रइसुन निशा ने डॉक्टर पर लापरवाही की आरोप लगाते हुए कार्रवाई की मांग की।

वर्जन

मरीज को झटका आ रहा था। उसकी हालत ज्यादा गंभीर थी। उसे बचाने की कोशिश की गई लेकिन बचाया नहीं जा सका। परिजनों द्वारा जो आरोप लगाए गए हैं वह गलत है। मामले की जांच की जाएगी।

डॉ। एके श्रीवास्तव, एसआईसी

Posted By: Inextlive