जिले में डेेंगू के केस लगातार बढ़ते जा रहे हैं. अब तक 13 डेंंगू पेशेंट सामने आ चुके हैं जिन पेशेंट्स की तबीयत बिगड़ी है. उन्हें जिला अस्पताल के डेंगू वार्ड में भर्ती किया जा रहा है.


गोरखपुर (ब्यूरो)। पर डेंगू से निपटने स्वास्थ्य विभाग की तैयारियों का आलम यह है कि मरीजों को मच्छरदानी तक नहीं उपलब्ध करा पा रहे। उन्हें घर से मच्छरदानी लानी पड़ रही है। दैनिक जागरण आईनेक्स्ट ने सोमवार को जिला अस्पताल के 12 बेड वाले डेंगू वार्ड का रियलिटी चेक किया। वार्ड में डेंगू के तीन मरीज भर्ती मिले। इसमें से दो मरीज बाहर जिले के थे। जब इन मरीजों के परिजनों से वार्ड में व्यवस्था की बात की गई तो उनका कहना था कि इलाज तो हो रहा है लेकिन मच्छरदानी नहीं मिल रही है। मच्छरदानी घर से मंगवानी पड़ रही है। कैसे होता है डेंगू


एक्सपर्ट के अनुसार मादा एडीज मच्छर के काटने की वजह से डेंगू होता है। यह मच्छर गंदगी में नहीं बल्कि साफ जगहों पर भी पनपते हैं, जो लोग सिटी में साफ सुथरी जगहों पर रहते हैं। उन्हेें डेंगू का खतरा ज्यादा होता है। ये रात के बजाय दिन के समय में काटते हैं। ये हैं सिम्प्टंस तेज पेट दर्द, उल्टी सांस लेने में दिक्कत सिर चकराना बुखार आना नाक और मसूड़ों में ब्लड निकलना थकान, बेचैनी, लिवर में सूजन उल्टी या मल में ब्लड आना आंखों में दर्द, सिर दर्द और स्किन एलर्जी आदि। ऐसे करें बचाव

घरों के आसपास पानी एकत्रित ना होने दें।घर के आसपास बड़ी झाडिय़ां या घास हो तो उसे कटवा दें।सप्ताह में कूलर, फूलदान, पशु व पक्षियों के बर्तन को साफ करें।पुराने टायर, डिस्पोजल कप, कबाड़ में पानी जमा न होने दें।पानी के बर्तन व टंकी की पूरी तरह ढक कर रखें। नाली व गमलों में पानी जमा न होने दें। खिड़की पर जाली लगाएं व मच्छरदानी का प्रयोग करें। मच्छर के काटने से बचें, पूरे बाजू के कपड़े पहनें। एक नजर में डेंगू केस वर्ष केस 2017 112018 252019 1142020 092021 672022 3182023 13(नोट: आंकड़े मलेरिया विभाग के अनुसार 28 अगस्त 2023 तक के हैं.)केस 1

दिलेजाकपुर निवासी 49 वर्षीय व्यक्ति को कई दिनों से तेज बुखार था। 26 अगस्त को उन्हें जिला अस्पताल के डेंगू वार्ड में भर्ती कराया गया। जांच में डेंगू की पुष्टि हुई। उनका कहना है कि अस्पताल की ओर से मच्छरदानी नहीं मिली है। घर से मंगवाई है। केस 2बरेली निवासी 26 वर्षीय व्यक्ति शासकीय सेवक है। बिछिया में रहते हैं। उन्हें कई दिनों से बुखार है। जांच के दौरान डेंगू की पुष्टि होने पर जिला अस्पताल के डेंगू वार्ड में भर्ती करवाया गया। उन्हें मच्छरदानी की खुद व्यवस्था करनी पड़ी।केस 3बलिया की 42 वर्षीय महिला तेज बुखार से परेशान थी। दामाद के कहने पर गोरखपुर आईं। जांच में डेंगू की पुष्टि हुई। वर्तमान में उनका डेंगू वार्ड में इलाज चल रहा है। मच्छरदानी तो मिली है कि वह छोटी है। आधा शरीर बाहर निकल जाता है। इसलिए मच्छरदानी मंगवाई है।डेंगू वार्ड में सभी बेडों पर मच्छरदानी की व्यवस्था है। भर्ती मरीजों को मच्छरदानी दी जाती है। यदि उन्हें उपलब्ध नहीं कराई जा रही है तो गलत है। इसकी जांच कराई जाएगी। लापरवाही बरतने वाले स्टाफ पर कार्रवाई की जाएगी। डॉ। राजेंद्र ठाकुर, एसआईसी जिला अस्पताल

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