Bareilly: खगोलीय घटनाओं में दिलचस्पी रखने वालों के लिए ट्यूजडे काफी एक्साइटिंग रहेगा. शाम से ही आकाश में अद्भुत नजारा देखने को मिलेगा. बृहस्पति और चांद एक-दूसरे के बहुत करीब नजर आएंगे. शाम के बाद से इसे आसानी से देखा जा सकेगा.
By: Inextlive
Updated Date: Tue, 03 Jan 2012 12:19 AM (IST)
चमकते तारे की तरह दिखेगा
नए वर्ष की शुरुआत के साथ आकाश में भी उत्सव का माहौल है। ट्यूजडे को ऐसा लगेगा कि बृहस्पति और चांद का मिलन हो गया है। चांद के करीब बृहस्पति एक चमकदार तारे की तरह नजर आएगा। इस बारे में नोएडा स्थित विज्ञान प्रसार केन्द्र के खगोल वैज्ञानिक डॉ। अरविन्द राणाडे ने बताया कि बृहस्पति और चांद दोनों अपनी कक्षाओं में घूमते रहते हैं। एक समय ऐसा आता है जब दोनों एक-दूसरे के बिल्कुल करीब नजर आते हैं। इस खगोलीय संयोग को 'एपुल्सÓ के नाम से जाना जाता है। इस दुर्लभ नजारे को शाम ढलने के बाद देखा जा सकता है। इसमें बृहस्पति और चांद दोनों ही पृथ्वी से काफी नजदीक नजर आएंगे।
शुभ संकेत है
ज्योतिषाचार्य डॉ। संजय सिंह ने बताया कि ट्यूजडे को होने वाली खगोलीय घटना का प्रभाव 15 मई तक रहेगा। चांद और बृहस्पति का नजदीक आना लोगों के लिए शुभ सूचक है।
शेयर मार्केट में उछाल आने की संभावना है। उपभोक्ताओं को फायदा होने का प्रबल योग बन रहा है। अमन शांति रहेगी कायम.लोगों का स्वास्थ्य ठीक रहेगा.
और भी नजारे दिखेंगे
इसके अलावा इस वर्ष और भी कई दुर्लभ नजारे देखे जा सकेंगे।
21 मई को वलयाकार सूर्यग्रहण होगा। वर्ष का यह पहला ग्रहण पूर्वोत्तर भारत में दिखेगा. 4 जून को आंशिक चंद्रग्रहण होगा लेकिन भारत में उस वक्त दिन होने की वजह से लोग इसे नहीं देख पाएंगे। 6 जून को शुक्र पारगमन की दुर्लभ खगोलीय घटना को देखा जा सकेगा। इस घटना के वक्त पृथ्वी से देखने पर शुक्र सूर्य के सामने से धीमी रफ्तार में क्रिकेट की गेंद के आकार में गुजरता दिखाई देगा। शुक्र पारगमन की घटना करीब छह घंटे तक चलेगी और यह नजारा पूरे भारत में देखा जा सकेगा.14 नवंबर को साल का पहला पूर्ण सूर्यग्रहण होगा लेकिन रात होने के कारण भारत में इसे देख पाना संभव नहीं होगा। उपच्छाया चंद्रग्रहण तब होता है, जब चंद्रमा पेनुम्ब्रा से होकर गुजरता है.
यादगार घटनाएं21 जुलाई 2009 को सदी का सबसे बड़ा सूर्य ग्रहण.2011 में चांद आया था पृथ्वी के करीब.
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