मेहनत का कोई विकल्प नहीं
हम चाहे कितनी ही तरकीबें क्यों न लगा लें, लेकिन सही मायने में टॉपर केवल मेहनत करने वाले ही होते हैं। यह कहना है जीआरएम कॉलेज से टेन सीजीपीए हासिल करने वाली श्रुति चावला का। मॉडल टाउन की रहने वाली श्रुति इंजीनियरिंग में कॅरियर बनाना चाहती हैं। उन्होंने बताया कि प्री बोर्ड एग्जाम में तबियत खराब हुई तो डर लगा था कि कहीं पीछे न रह जाऊं । ऐसे में दिन में पढ़ने के साथ ही देर रात तक जगकर पढ़ना पड़ा। अच्छे मार्क्स गेन करने के लिए खुद पर विश्वास होना पहली शर्त है। मुसीबतें हमारे हौंसलों को परखने के लिए आती हैं। ऐसे में घबराने के जगह डटकर मुकाबला करें तो सफलता मिलनी तय है।
श्रुति चावला, जीआरएम पेरेंट्स को दिया खुशी का तोहफाएग्जाम के लिए सबसे पहले मैथ्स और इंग्लिश सब्जेक्ट्स की प्रिपरेशन शुरू की। क्योंकि सबसे ज्यादा हार्ड मुझे यही सब्जेक्ट्स लगते थे। क्योंकि पेरेंट्स कहते हैं कि जो हार्ड हो पहले उसे मात दो। ऐसे में हार्ड अगर इजी हो जाएगा तो इजी को प्रिपेयर करना और भी आसान हो जाएगा। इंजीनियरिंग करनी है तो मैथ्स और इंग्लिश पर पकड़ जरूरी है। फिर हिचकना कैसा। सक्सेस का क्रेडिट पेरेंट्स को देते हुए जीआरएम स्टूडेंट देवेश ने बताया कि 10 सीजीपीए हासिल करने में इन दोनों सब्जेक्ट्स के मार्क्स का अहम रोल है। करियर बनाना है और कॉम्पिटीशन में उतरना है तो हार्ड वर्क से डरना कैसा।
देवेश जोशी, बीबीएल