BAREILLY: 35 पुलिसवालों को लाइन हाजिर करने की कार्रवाई कुछ-कुछ असर दिखा रही है. बारादरी पुलिस ने ट्यूजडे को गैंग लीडर समेत चार चोरों को गिरफ्तार किया है. गिरोह के पास से तीन तमंचे 6 जिंदा कारतूस चाकू व चोरी की गई लाखों की ज्वैलरी बरामद हुई है. पुलिस ज्वैलरी खरीदने वाले ज्वैलर व अन्य गैंग मेंबर्स की तलाश कर रही है. पुलिस गिरफ्त में आए आरोपियों के नाम नन्हें उर्फ नबी हसन शराफत अली नसीम व रीनू शेख है. नबी हसन गैंग का लीडर है. एसपी सिटी ने गिरोह का भंडाफोड़ करने वाली पुलिस टीम को पांच हजार का नगद पुरस्कार देने की घोषणा की है.


गोदाम के पास पकड़ाएसपी सिटी शिव सागर सिंह ने बताया कि लगातार बढ़ रही चोरियों को देखते हुए सभी थाना प्रमुखों को इन्हें रोकने के सख्त निर्देश दिए गए थे। मंडे रात बारादरी इंस्पेक्टर एसपी शर्मा को सूचना मिली कि बदमाशों का एक गिरोह रेलवे के खंडहर माल गोदाम के पास बैठा है और किसी वारदात को अंजाम देने की फिराक में है। इंस्पेक्टर ने तुरंत एसआई नजीर अली खान, एसआई प्रवेश सिंह, एचसी राजेंद्र सिंह, कांस्टेबल राकेश कुमार, अरुण कुमार पांडे व ओमवीर सिंह की एक टीम मौके पर भेजी। बदमाशों ने की firing
पुलिस की टीम ने बदमाशों को वहां जाकर घेर लिया। इस पर बदमाशों ने पुलिस पर ही फायरिंग कर दी। जवाब में पुलिस ने भी फायरिंग की और बदमाशों को धर दबोचा। मौके से पुलिस ने नन्हें के पास से 12 बोर का तमंचा व तीन जिंदा कारतूस, शराफत के पास से 315 बोर का तमंचा, नसीम के पास से 12 बोर का तमंचा व 3 जिंदा कारतूस तथा रीनू के पास से एक चाकू बरामद किया। पुलिस ने गिरोह की निशानदेही पर चोरी की गई लाखों की ज्वैलरी भी बरामद की। पुलिस पूछताछ में गिरोह ने बताया कि नन्हें गैंग का लीडर है। वह ही चोरी करने के लिए नए-नए लोगों को गैंग में शामिल करता था।गांव में भी करते थे चोरीगैंग के मेंबर्स ने बताया कि वह शहर के साथ-साथ गांवों में भी चोरी की वारदातों को अंजाम देते थे। पुलिस बदमाशों को लेकर सामान खरीदने वाले ज्वैलर के ठिकाने पर सेंथल गई लेकिन वह नहीं मिला। पुलिस ने गैंग की अरेस्टिंग से 10 नवंबर को एजाज नगर गौटिया (बारादरी), 22 नवंबर को मोहल्ला सिद्धार्थ नगर (इज्जतनगर) , 7 दिसंबर को शास्त्री नगर (प्रेमनगर) और 12 अक्टूबर को अवध धाम कॉलोनी (इज्जतनगर) में हुई चोरी का खुलासा करने का दावा किया है।Modus operandiगैंग के मेंबर रात में पैदल ही अलग-अलग जगह घूमकर देखते थे कि कौन से घर पर ताला लगा है। घरों को आइडेंटिफाइ करके पूरा गैंग उन पर धावा बोलता था। गैंग लीडर रुपए देकर चोरी के लिए नए-नए लोगों को हायर करता था। वह एक चोरी करने के लिए 1,500 से 2,500 रुपए पे करता था। जरा सी बात बिगडऩे पर गैंग गोली मारने से भी परहेज नहीं करता था।

Posted By: Inextlive