क्लाइमेट चेंज बढ़ा न दे प्रॉब्लम
(बरेली ब्यूरो)। बदलते मौसम के साथ बढऩे वाली सांस की समस्या से पीडि़त लोगों के लिए यह खबर बहुत जरूरी है। बदलता मौसम बहुत से लोगों के लिए राहत देता है वहीं सांंस संबंधी समस्या से जूझ रहे लोगों की तकलीफ और बढ़ जाता है। शहर के महाराणा प्रताप डिस्ट्रिक्ट हॉस्पिटल में सांस के पेशेंट्स की संख्या सर्दी के मौसम में बढ़ गई है। चेस्ट फिजीशियन के बाहर ज्यादातर मरीज संास संबंधी समस्या से ग्रसित थे। बदलते मौसम और प्रदूषण इसका एक कारण हो सकता है।
सर्दी में बढ़े पेशंट
डिस्ट्रिक्ट हॉस्पिटल में ओपीडी में मरीजों को देखने के लिए मात्र एक ही डॉक्टर मौजूद हैैं। जिससे मरीजों के अपनी बारी के लिए लंबा इंतजार करना पड़ रहा है। यहां पर डेली सांस संबंधी करीब 20 से 25 मरीज आ रहे हैैं। वहीं सर्दी और बारिश से सांस के पेशेंट्स की संख्या बढ़ गई है। सर्दी के साथ सांस के पेशंट्स की संख्या में 15 से 20 प्रतिशत बढ़त हो जाती है।
-सांस में सीटी की आवाज आना
-सीने में जकडऩ
-सांस फूलना
-रात और सुबह समस्या गंभीर हो जाना
-सांस लेने में तकलीफ
ये बरतें सावधानी
जिन लोगों को सांस संबंधी समस्या है उन लोगों को केमिकल प्रोडक्ट्स से दूरी बनाकर रखनी चाहिए। बॉडी पूरी तरह से कवर्ड होनी चाहिए जिससे सांस लेने की समस्या न हो पाए। डॉक्टर की सलाह पर एलर्जी रोधी दवा लें, जो दमा के कारणों के खिलाफ बॉडी की सेफ्टी कर सके।
संास संबंधी समस्या का कारण
जेनेटिक, दमा से ग्रसित माता-पिता के बच्चों में दमा होने की संभावना भी बढ़ जाती हैै। मौसमी इंफेक्शन, जिन लोगों को बचपन में वायरल संक्रमण का खतरा होता है, उन्हें दमा होने का खतरा अधिक होता है। कमजोर प्रतिरोधक क्षमता।
कैसे करेंं बचाव
मौसम बदलने से सांस की तकलीफ बढ़ती है। इसलिए मौसम बदलने के पहले ही सजग हो जाना चाहिए और डॉक्टर से कंसल्ट करें। इनहेलर व मेडिसिन एक्सपर्ट डॉक्टर की सलाह के अनुसार ही लेनी चाहिए.कॉटन से बने बिस्तरों का प्रयोग नहीं करना चाहिए। कारपेट, बिस्तर व चादरों की रेगुलर व सोने से पूर्व अवश्य सफाई करनी चाहिए। ऐसे कारक जिनकी वजह से सांस की तकलीफ बढ़ती है या जो सांस के दौरे को पैदा करते हैं उनसे बचें। जैसे धूल, धुंआ, स्मोकिंग, धूल, केमिकल, नमी आदि। ऐसा फूड बिल्कुल नहीं खाने चाहिए जिससे सांस संबंधी तकलीफ बढ़ती हो और पेशेंट्स को नुकसान पहुचाएं। उससे परहेज करेें। पेशेंट्स को लंबे रोएंदार कपड़े न पहनाएं। घर की नियमित साफ सफाई करते रहें, घर की सफाई, पेंट के समय पेशंट को घर से बाहर निकाल दें जिससे सांस की समस्या न बढ़े।
सांस संबंधी पेशेंट्स को बदलते मौसम के साथ सावधानी बरतनी चाहिए। साफ सफाई का विशेष ख्याल रखना चाहिए। रेगुलर चेकअप कराएं।
-डॉ। मुरली लाल शर्मा, वरिष्ठ चैस्ट फिजीशिएन, डिस्ट्रिक्ट हॉस्पिचल