'फिंगर प्रिंटÓ ने खोल दी 'फ्रॉडÓ की पोल.
प्रयागराज ब्यूरो । उत्तर प्रदेश अधीनस्थ सेवा चयन आयोग की ओर से सम्मिलित ग्राम विकास अधिकारी, ग्राम पंचायत अधिकारी व समाज कल्याण पर्यवेक्षक (सामान्य चयन) प्रतियोगितात्मक परीक्षा-2018 की पुनर्परीक्षा में सोमवार को दूसरी पाली में दूसरे के स्थान पर परीक्षा देते एक शख्स को पकड़ लिया गया। उसने आयोग के फुल प्रूफ प्लान में सेंध लगाने की कोशिश की थी। सिविल लाइंस स्थित केपी गर्ल्स इंटर कालेज में दूसरी पाली की परीक्षा में इस परीक्षार्थी का जब बायोमीट्रिक अटेंडेंस लिया गया तो उसका रेटिना स्कैन मैच नहीं किया। इस पर लखनऊ से मैसेज आ गया, जिस पर परीक्षार्थी को पुलिस ने हिरासत में ले लिया। उसने फर्जी तरीके से एडमिट कार्ड स्कैन कराया था और आधार भी फर्जी बनवा लिया। पुलिस ने देर रात अभ्यर्थी और उसके स्थान पर परीक्षा देने वाले साल्वर के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया।
आधी परीक्षा दे चुका था
दूसरी पाली की परीक्षा लगभग आधी हो चुकी थी, तभी अनुक्रमांक संख्या 00189629 अभ्यर्थी श्यामसुंदर बाबू पुत्र बेनी प्रसाद निवासी विकास प्राधिकरण कालोनी कोनिया, वाराणसी का बायोमीट्रिक अटेंडेंस मैच नहीं हुआ। उसकी रेटिना स्कैन हुई तो वह कत्तई मैच नहीं कर रही थी। उसी समय लखनऊ से मैसेज आया तो स्टेटिक मजिस्ट्रेट के तौर पर तैनात चकबंदी अधिकारी विजय कुमार वहां पहुंच गए। उन्होंने कक्ष निरीक्षकों जमील अहमद व प्रेमलता के साथ उससे पूछताछ की। संदेह बढऩे पर प्रिंसिपल अमिता सक्सेना को बुला लिया गया। उनकी सूचना पर कोतवाली पुलिस भी आ गई। पुलिस ने उससे कड़ाई से पूछताछ की तो उसने जुर्म कबूल कर लिया। बताया कि वह श्यामसुंदर के स्थान पर परीक्षा दे रहा था। अपना नाम अनुज कुमार पुत्र मथुरानंद मंडल अररिया, बिहार बताया। पुलिस उसे कोतवाली ले गई। उसने पुलिस को बताया कि परीक्षा में बैठने के लिए उसने पैसे लिए थे। प्रकरण की जानकारी होने पर सिटी मजिस्ट्रेट सत्यप्रिय सिंह पहुंचे। उन्होंने बताया कि गड़बड़ी रोकने वाली एजेंसी के प्रतिनिधियों ने अनुज से पूछताछ की। अनुज ने बताया कि वाराणसी में ही उसने एडिमट कार्ड को स्कैन कराया था, जबकि बिहार में फर्जी आधार बनवाया था।
काफी संख्या में अभ्यर्थियों ने छोड़ी परीक्षा
इस परीक्षा में काफी संख्या में अभ्यर्थी अनुपस्थित रहे। परीक्षा के लिए जिले में कुल 30 परीक्षा केंद्र बनाए गए थे, जिसमें 50016 अभ्यर्थी को बैठना है। पहले दिन पहली पाली में 12504 अभ्यर्थियों में मात्र 4361 तो दूसरी पाली में 12504 अभ्यर्थियों में 4264 अभ्यर्थी ही उपस्थित हुए। सिटी मजिस्ट्रेट का कहना है कि पांच वर्ष बाद यह पुनर्परीक्षा हो रही है, इस दौरान काफी संख्या में अभ्यर्थी दूसरे पदों पर चयनित हो गए होंगे।
बायोमीट्रिक उपस्थिति को लगाई थी एजेंसी
इस परीक्षा में नकल, पर्चा आउट कराने से लेकर मुन्ना भाई को पकडऩे के लिए आयोग ने एजेंसी की मदद ली थी। इसी एजेंसी ने हर अभ्यर्थी की फेस, रेटिना का स्कैन किया था, जिसका मिलान परीक्षा के दौरान किया गया। यही नहीं इसी एजेंसी ने सीसीटीवी कैमरे की व्यवस्था से लेकर डिवाइस आदि पर नजर रखी थी।
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बरेली में साल्वर गिरोह के 12 सदस्य, तीन अभ्यर्थी गिरफ्तार
परीक्षा उत्तीर्ण कराने से नियुक्ति पत्र दिलाने तक 15-15 लाख रुपये में तय हुआ सौदा
दूसरी पाली में परीक्षा देने पहुंचे थे बिहार, उत्तराखंड, मथुरा, बागपत, हाथरस के साल्वर
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क्च्रक्रश्वढ्ढरुरुङ्घ (२६ छ्वह्वठ्ठद्ग): ग्राम पंचायत अधिकारी (वीडीओ) परीक्षा-2018 में साल्वर गिरोह ने बड़ी सेंधमारी का प्रयास किया। सोमवार को तीन बजे से दूसरी पाली की परीक्षा में शामिल होने जा रहे गिरोह के 12 सदस्यों एवं उन्हें बुलाने वाले तीन वास्तविक अभ्यर्थियों को गिरफ्तार कर लिया गया। चार अन्य अभ्यर्थियों को भी प्राथमिकी में नामजद किया गया है। एसटीएफ को मिले सुराग के आधार पर बरेली और मुरादाबाद में यह कार्रवाई की गई।
नाजिम निकला सरगना
बरेली में पकड़े गए गिरोह का सरगना नाजिम है। उसने अपने भाई मोनिश के साथ मिलकर अभ्यर्थियों से संपर्क किया। परीक्षा उत्तीर्ण से लेकर नियुक्ति पत्र दिलाने का सौदा 15-15 लाख रुपये में तय करने के बाद बिहार में रहने वाले साल्वर संदीप व नीरज को बुलाया। दोनों को अभ्यर्थी मुकेश व जाबिर के स्थान पर परीक्षा में बैठना था। एसटीएफ के अनुसार, नाजिम 2018 में टीईटी में भी गिरफ्तार किया जा चुका, इसलिए निगरानी की जा रही थी। सर्विलांस टीम की सहायता से सुराग लगने पर पूरे गिरोह को पकड़ लिया गया। आरोपितों ने वास्तविक अभ्यर्थियों से 30-30 हजार रुपये एडवांस लिए थे। शेष धनराशि परीक्षा उत्तीर्ण होने के बाद देनी थी। सोमवार को बरेली में परीक्षा के बाद साल्वरों को लखनऊ भेजने की तैयारी थी। गिरोह ने वहां भी कुछ अभ्यर्थियों से सौदा कर लिया था। एसपी सिटी राहुल भाटी ने बताया कि सभी केंद्रों पर बायोमीट्रिक मशीनें लगाई गईं थीं। बायोमीट्रिक पहचान में साल्वर पकड़ लिए गए। पकड़े गए अभ्यर्थियों का नाम भी प्राथमिकी में शामिल होगा।
इंटर पास साल्वर, कीमत 10 हजार
इंटर पास साल्वर रतन कुमार ने स्वीकारा कि 10 हजार रुपये देकर उसे बुलाया गया था। खुद इंटर पास तो वीडीओ परीक्षा कैसे उत्तीर्ण कर लेता? इस सवाल पर कहा कि मैंने पहले ही कहा था कि परीक्षा उत्तीर्ण नहीं कर सकूंगा। इसके बावजूद दबाव बनाकर मुझे बुला लिया गया। कहा गया कि तुम सिर्फ परीक्षा में बैठ जाना, बाकी मैं देख लूंगा। एसपी सिटी ने बताया कि रतन को बुलाने वाले गिरोह के अन्य सदस्यों की जानकारी जुटाई जा रही है। बरेली में पकड़ा गया आरोपित नाजिम हुसैन व उसका भाई मोनिश मुरादाबाद के ठाकुरद्वारा, कार चालक कुलदीप उत्तराखंड के ऊधमसिंह नगर, साल्वर संदीप कुमार बिहार के बधानी, नीरज कुमार व सचिन पांडेय नालंदा, केशव कुमार समस्तीपुर, रतन कुमार वैशाली और दानिश अली मुरादाबाद का रहने वाला है। पकड़ा गया अभ्यर्थी मुकेश और जाबिर मुरादाबाद का रहने वाला है। वहीं, मुरादाबाद में साल्वर हाथरस के सिथरापुर निवासी संतोष कुमार, मथुरा के नोमली निवासी कप्तान सिंह, बिहार के त्रिवेणीगंज के परसाई निवासी प्रणव कुमार और वास्तविक अभ्यर्थी बागपत के दोघट निवासी बसंत राठी को पकड़ा गया।
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छह जिलों में पकड़े गए फर्जी अभ्यर्थी
गड़बड़ी के कारण वर्ष 2018 में रद की गई उत्तर प्रदेश अधीनस्थ सेवा चयन आयोग की सम्मिलित ग्राम विकास अधिकारी, ग्राम पंचायत अधिकारी व समाज कल्याण पर्यवेक्षक सामान्य चयन परीक्षा-2018 की पुनर्परीक्षा में पहले दिन ही नकलची पकड़े गए हैं। सोमवार को पुनर्परीक्षा के पहले दिन मीरजापुर, अलीगढ़, बांदा, गोंडा, प्रयागराज और गौतमबुद्ध नगर में अभ्यर्थियों के साथ मुन्नाभाई को पकड़ा गया। इनके खिलाफ केस भी दर्ज कराया गया है। दो दिवसीय परीक्षा में दो लाख से अधिक अभ्यर्थी शामिल होंगे। मंगलवार को दो पालियों में परीक्षा का आयोजित कराई जाएगी।
मीरजापुर में ग्राम विकास अधिकारी, ग्राम पंचायत अधिकारी व समाज कल्याण पर्यवेक्षक की पुनर्परीक्षा के पहले दिन की पहली पाली में आर्य कन्या इंटर कालेज में जौनपुर के जफराबाद के नाथूपुर के सभाजीत यादव को इलेक्ट्रानिक डिवाइस से नकल करते पकड़ा गया। केंद्र व्यवस्थापक प्रधानाचार्य रीता वर्मा ने बताया कि शक होने पर पुलिसकर्मियों ने अभ्यर्थी की जांच की तो उसके पास इलेक्ट्रानिक डिवाइस (ईयर बड्स) मिला। सीओ सिटी परमानंद कुशवाहा ने बताया कि परीक्षार्थी के पास से ईयर बड्स मिला है। यह सिम से संचालित मास्टर कार्ड की सहायता से कनेक्ट था। सिम कार्ड एक्टिव होने के बाद मास्टर कार्ड में सरसराहट की आवाज हुई तो नकलची पकड़ा गया।
अलीगढ़ में 24 हजार से अधिक परीक्षार्थी बैठे। 26 केंद्रों पर दो पालियों में परीक्षा हुई। एडीएम सिटी अमित कुमार भट्ट ने बताया कि सुबह की पाली में एक और दोपहर की पाली में दस नकलची पकड़े गए हैं। बांदा में सोमवार को दोनों पालियों में पांच मुन्ना भाई पकड़े गए। इनके खिलाफ कोतवाली में एफआइआर दर्ज कराई गई है। इनमें राजादेवी डिग्री कालेज में बक्सर (बिहार) निवासी अमित पटेल की जगह यहीं का रीतेश कुमार, विद्यावती निगम मेमोरियल स्कूल में फाफामऊ (प्रयागराज) के विकास यादव की जगह राजेंद्र कुमार, आर्यकन्या इंटर कालेज में रंजन गुप्ता की जगह सनत कुमार निवासी प्रयागराज, डीआर पब्लिक स्कूल में तेजा का पुरवा (मऊआइमा) प्रयागराज परीक्षा देते पकड़े गए हैं। परीक्षा में 14736 में 10064 परीक्षार्थी अनुपस्थित रहे।
गोंडा में ग्राम विकास अधिकारी की परीक्षा में दूसरे की जगह परीक्षा देते मुन्नाभाई पकड़ा गया। परीक्षा देने वाला युवक कुशीनगर का है। मुन्नाभाई एम्स इंटरनेशनल स्कूल में परीक्षा दे रहा था। पुलिस ने बायोमेट्रिक से जांच पड़ताल की। गौतमबुद्ध नगर के ग्रेटर नोएडा में चार मुन्ना भाई पकड़े गए। इनके साथ ही एक अभ्यर्थी कान में ब्लूटूथ डिवाइस लगाकर परीक्षा दे रहा था। प्रयागराज में सोमवार को दूसरी पाली में संदिग्ध अभ्यर्थी पकड़ लिया गया।