सिटी के तमाम अस्पतालों में खाली हुए ऑक्सीजन और आईसीयू बेड

शहर के कोरोना अस्पतालों में एक सप्ताह पहले तक पैर रखने की जगह नहीं थी, अब उन्हीं अस्प्तालों में ऑक्सीजन और आईसीयू बेड खाली पडे हैं। संक्रमण की दर कम होने से सीरियस मरीज भी कम हो गए हैं। ऐसे में जो मरीज आ रहे हैं उनको आसानी से भर्ती किया जा रहा है। संक्रमण की दर घटती रही तो जल्द ही प्राइवेट कोविड अस्पतालों को बंद भी करना पड़ सकता है। यह पुन: नार्मल स्थिति में आ जाएंगे। स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों का कहना है कि एक सप्ताह पहले जो मरीज भर्ती हुए थे वह अभी अंडर ट्रीटमेंट हैं ओर उनको ठीक होने में अभी चार से पांच दिन का समय लग सकता है।

खाली पड़े हैं 769 बेड

शहर में 19 कोरोना अस्पताल हैं और इनमें लेवल टू और लेवल थ्री के सीरियस मरीजों को भर्ती किया जा रहा है। इनमें लंग्स इंफेक्शन के मरीजों को भर्ती किया जाता है। इन अस्पतालों में कुल 2400 बेड हैं। इनमें से 769 बेड इस समय खाली पड़े हैं। इनमें कई बेड ऑक्सीजन युक्त और कुछ बेड वेंटीलेटर और बाईपैप के भी हैं। यानी गंभीर मरीजों को भर्ती होने में अब कोई परेशानी नहीं होगी। अधिकारियों का कहना है कि शुरुआत में जब रोजाना 2400 से अधिक मरीज आ रहे थे तब ये बेड की संख्या कम पड़ जा रही थी।

अस्पताल का नाम खाली बेड की संख्या

यूनाइटेड 90

शंभूनाथ 45

श्री साईनाथ वात्सल्य कोविड अस्पताल 8

नारायण स्वरूप- 6

यश अस्तपाल- 12

वातसल्य अस्प्ताल- 3

सृजन अस्पताल- 4

आशा अस्पताल- 8

प्राची अस्पताल- 9

विनीता अस्पताल- 16

फीनिक्स अस्पताल- 3

ओझा अस्पताल- 4

मां शारदा अस्पताल- 3

बेली अस्पताल- 32

रेलवे अस्पताल- 38

कालिंदीपुरम अस्पताल- 470

नाजरेथ- 18

अब चाहिए नार्मल बेड

बहुत से ऐसे मरीज है जो कोरोना निगेटिव हो चुके हैं , लेकिन अब उनको पोस्ट कोविड ट्रीटमेंट की जरूरत है। इन मरीजों के लंग्स में संक्रमण की वजह से काफी समस्या हो चुकी है। इसलिए परिजन उन्हें भर्ती कराने के लिए नार्मल अस्पतालों में बेड तलाश रहे हैं। शहर में ऐसे मरीजों की संख्या ठीक ठाक है। एक्सपर्ट का कहना है कि प्रयागराज में कोरोना अपने पीक से नीचे आ रहा है और ऐसे में अब कोरोना मरीजों को बेड की समस्या नही होगी।

मरीजों की संख्या कम हो गई और ऐसे में कई कोरोना अस्पतालों में बेड खाली हो रहे हैं। जिनको चाहिए वह आसानी से भर्ती हो रहे है। संक्रमण और नीचे आएगा तो कई अस्पतालों को बंद भी करना पड़ सकता है।

डॉ ऋषि सहाय

नोडल कोविड 19 प्रयागराज

Posted By: Inextlive