छह घंटे में देखे सिर्फ छह मरीज
प्रयागराज (ब्यूरो)। बच्चों की ओपीडी में मौजूद डॉ। यूपी पांडेय ने बताया कि आम दिनों में यहां सांस लेने की फुरसत नही होती है। रेाजाना सौ से डेढ़ सौ मरीज आते हैं। लेकिन बुधवार को महज छह मरीज ही आए। बड़ी मुश्किल से ओपीडी टाइम कट पाया। चर्म रोग विशेषज्ञ डॉ। पीके सिंह अपने पड़ोस की ओपीडी में बैठे थे। पूछने पर उन्होंने बताया कि 1 बजे तक सौ मरीज देख लिए। अब कोई नही आ रहा तो क्या करें। अक्सर उनकी ओपीडी 200 से अधिक मरीजों की होती है।
अभी अभी निकल गए साहब
सर्जरी ओपीडी में डॉ। राजकुमार का टर्न था। बुधवार को रिपोर्टर ने देखा तो वह ओपीडी में नही थे। पूछने पर बताया गया कि अभी अभी निकले हैं। 1:30 बजे तक केवल 36 मरीज आए थे। इसी तरह हड्डी रोग विशेषज्ञ डा। एआर पाल बाहर टहलते हुए मिले। बोले 32 मरीज देख लिए, अब कोई आएगा तो देखेंगे।
मरीज नही तो कैसे हो सर्जरी
अस्पताल के अधीक्षक और नेत्र रोग विशेषज्ञ डॉ। एमके अखौरी अपनी अपनी ओपीडी में बैठे थे। मरीज एक भी नही थे। बोले दो बजे तक बैठना मजबूरी है। केवल 25 मरीज मैंने देखे हैं। पूछने पर उन्होंने बताया कि मंगलवार को एक भी एडमिशन नही हुआ था। इसलएि बुधवार को एक भी सर्जरी नही हुई। गुरुवार को पांच सर्जरी होनी हैं। मोतियाबिंद के एक भी आपरेशन नही हुए।
वैसे तो एमआरआई सेंटर में सुबह से शाम तक भीड़ लगी रहती हैं लेकिन मंगलवार को एक भी एडमिशन नही होने से इस जांच का स्कोर शून्य रहा। बुधवार को यहां एक भी मरीज नही पहुंचा। यही हाल अन्य जांचों का भी रहा। पंजीकरण काउंटर पर भी सन्नाटा पसरा हुआ था। लोगों ने बातचीत में कहा कि लोगों यह नही पता कि बेली अस्पताल लेवल टू कोविड से हट गया है। अभी इसे प्रचारित होने में चार से पांच दिन का समय लग जाएगा। आमतौर पर बेली में रोजाना 2000 से 2500 मरीजों की ओपीडी होती है। बुधवार को सुविधाओं का हाल
16 लोग पहुंचे अल्ट्रासाउंड कराने
3 मरीजों ने कराया अपना सीटी स्कैन
724 ने ओपीडी के लिए बनवाया पर्चा
12 मरीजों को वार्ड में किया गया भर्ती
180 मरीजो की गई खून और अन्य जांच