हाई कोर्ट में केवल वर्चुअल प्लेटफॉर्म पर सुनवाई
प्रयागराज (ब्यूरो)। सोमवार को विरोध प्रदर्शन करने वाले अधिवक्ताओं ने लखनऊ हाई कोर्ट की व्यवस्था का जिक्र किया। विरोध प्रदर्शन में जुटे जूनियर एडवोकेट्स का कहना था कि इससे उनके सामने संकट खड़ा हो गया है। क्लाइंट उनसे फाइल लेकर दूसरे वकीलों को सौंपने की बात करने लगे हैं। इसका उन्होंने वीडियो बनाकर भी वायरल किया। इसके बाद हाई कोर्ट बार के अध्यक्ष राधाकांत ओझा एक्टिव हो गये। उनके साथ कार्यकारिणी के सदस्य भी थे। इन लोगों ने चीफ जस्टिस से बात के लिए समय लिया। चीफ जस्टिस ने बार के प्रतिनिधियों को दिन में बातचीत के लिए बुलाया था। बार के प्रतिनिधिमंडल में पांच सदस्य शामिल थे। वार्ता के दौरान अधिवक्ताओं ने प्रतिनिधिमंडल ने स्वास्थ्य सेवाओं का हवाला देते हुए वर्चुअल और फिजिकल दोनों माध्यमों से मुकदमों की सुनवाई के लिए आग्रह किया। चीफ जस्टिस ने बढ़ते कोरोना संक्रमण के मामलों को देखते हुए सिर्फ वर्चुअल सुनवाई पर सहमति जताई।
नेटवर्क व लिंक की समस्या बताई वजह
हाईकोर्ट के इस निर्णय के बाद हाईकोर्ट बार एसोसिएशन की एक आपात बैठक बुलाई गई। बैठक में सर्वसम्मति से निर्णय लिया गया कि अधिवक्ताओं की समस्या को ध्यान में रखकर वर्चुअल और फिजिकल दोनों माध्यमों से सुनवाई जरूरी है। कई अधिवक्ताओं ने कहा कि लिंक और नेटवर्क की समस्या अक्सर बनी रहती है। मुकदमों की बढ़ती संख्या को देखते हुए दोनों विकल्पों पर ध्यान दिया जाना चाहिए। कहा गया कि अगर अधिवक्ता कोविड नियमों का पालन करते हुए सुनवाई को तैयार है तो उसे अनुमति दी जानी चाहिए। इन सभी बातों पर दोबारा विचार की जरूरत है। इलाहाबाद हाईकोर्ट बार एसोसिएशन के संयुक्त सचिव प्रेस आशुतोष त्रिपाठी ने उक्त जानकारी दी है।
बैठक में अंत में निर्णय लिया गया कि जब तक दोनों माध्यमों से सुनवाई शुरू नहीं हो जाती तब तक बार एसोसिएशन में प्रतिदिन शाम को चार बजे बैठक कर इस पर समीक्षा और चर्चा की जाएगी। बैठक की अध्यक्षता अध्यक्ष राधा कांत ओझा एवं संचालन महासचिव सत्यधीर सिंह जादौन ने किया। बैठक में मनोज कुमार मिश्र वरिष्ठ उपाध्यक्ष, नीरज कुमार त्रिपाठी, सुरेंद्र नाथ मिश्र, धमेंद्र सिंह यादव, सत्यम पांडेय, श्यामा चरन त्रिपाठी उपाध्यक्षगण, संजय सिंह सोमवंशी संयुक्त सचिव, ऊष्मा मिश्रा संयुक्त सचिव, अरूण कुमार सिंह, जितेंद्र सिंह, दिलीप कुमार यादव, अनुराग शुक्ला, अभिषेक तिवारी, विक्रांत नीरज समेत तमाम कार्यकारिणी सदस्य मौजूद रहे।