इलेक्ट्रिक बसों के लिए प्रस्तावित रूट

- रेलवे स्टेशन से लाल गोपाल गंज

- पीडी पार्क से प्रतापपुर

- बैरहना से शंकरगढ़

- त्रिवेणीपुरम से पुरामुफ्ती

- रेमंड से शांतिपुरम

05 रूटों पर संचालित होंगी इलेक्ट्रिक बसें

200 जगहों पर होगा स्टापेज

यूपी के सात शहरों में चलाई जाएंगी बसें, जिले में 50 इलेक्ट्रिक बसों का किया जाना है संचालन

स्मार्ट सिटी की तरह डेवलप हो रहे प्रयागराज में जून से इलेक्ट्रिक बसों का संचालन किया जाएगा। यह बसें पांच अलग-अलग रूटों पर चलेंगी और इनके कुल मिलाकर दो सौ स्टापेज बनाए जा रहे हैं। यूपी के जिन सात शहरों को इस योजना के लिए चयनित किया गया है उनमें प्रयागराज भी शामिल है। यही कारण है कि स्मार्ट सिटी मिशन प्रालि ने इन बसों के संचालन की प्रक्रिया तेज कर दी है। बता दें कि जिले में कुल 50 इलेक्ट्रिक बसों का संचालन किया जाना है।

बन गए 15 शेल्टर, लगेगा डिस्प्ले बोर्ड

इलेक्ट्रिक बसों के पांच रूटों पर कुल 200 शेल्टर बनने हैं और इसमें से 15 बनकर तैयार हो गए हैं। यह सभी स्टेनलेस स्टील के बनाए जा रहे हैं। जून तक सभी बनकर तैयार हो जाएंगे। यहां पर सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएंगे और इनको जीपीएस से जोड़ा जाएगा। शेल्टर पर एक डिस्प्ले बोर्ड भी लगाया जाएगा जिस पर बसों के आने और जाने का टाइम दिखेगा। जीपीएस सिस्टम से जुड़ी बसों की जानकारी इस बोर्ड पर लगातार दी जाएगी।

नैनी में बन रहा चार्जिग स्टेशन

इन बसों के संचालन के लिए नैनी एरिया में स्मार्ट सिटी मिशन की ओर से चार्जिग स्टेशन बनाया जा रहा है। यहां पर रात में बसों को चार्ज किया जाएगा और सुबह से शाम तक बसों को चलाया जाएगा। इन बसों को चलाने का जिम्मा प्रयागराज सिटी ट्रांसपोर्ट सर्विसेज लिमिटेड को मिला है। इनकी ओर से एक साफ्टवेयर डेवलप किया जा रहा है। जो यह डिसाइड करेगा कि बस किस शेल्टर पर कितनी देर रुक रही है। शेल्टर के अलावा तो कहीं रूक नहीं रही हैं। अगर ऐसा हो रहा है तो इस पर रोक लगाई जाएगी।

बनेंगे स्मार्ट टॉयलेट

स्मार्ट सिटी मिशन की ओर से केवल शेल्टर ही नहीं स्मार्ट टॉयलेट भी बनवाएं जा रहे हैं। यह टॉयलेट जीपीएस से अटैच रहेगा। आपरेटर को इस टायलेट की ऑनलाइन मानीटरिंग करनी होगी। अगर यह गंदा रह जाता है तो इसकी जवाबदेही भी आपरेटर की होगी। अधिकारियों का कहना है कि सभी टॉयलेट क्वाइन पेमेंट बेस्ड होंगे। यानी सिक्का डालकर इनका यूज किया जा सकेगा।

लेट हो गया है प्रोजेक्ट

अधिकारियों का कहना है कि इलेक्ट्रिक बसों का संचालन अब तक जिले में शुरू हो जाना चाहिए था लेकिन यह लेट हो गया। यह बसें पिछले साल अक्टूबर में चलना शुरू हो जानी थी। लेकिन कोरोना संक्रमण के चलते प्रोजेक्ट डिले हो गया। फिलहाल जून तक इन बसों को चलाने की पूरी तैयारी की जा रही है।

इलेक्ट्रिक बसों के संचालन की तैयारियां तेजी से चल रही है। यह बसें पांच रूट पर चलाई जाएंगी जो फाइनल हो चुके हैं। यह बसें शेल्टर के अलावा नहीं रुकेंगी। इनकी जीपीएस बेस्ड मानीटरिंग की जाएगी।

- संजीव कुमार सिन्हा, मैनेजर, स्मार्ट सिटी मिशन लिमिटेड प्रयागराज

Posted By: Inextlive