250 घरों पर मंडराया डेंगू-मलेरिया का खतरा
बाढ़ ग्रस्त एरिया में स्वास्थ्य विभाग का ध्यान अधिक
रोजाना कराई जा रही एंटी लार्वा और फागिंग, अब डेंगू के मरीजों की जिले में संख्या हुई 26 इस बार आई बाढ़ के बारे कछार में डेंगू और मलेरिया का खतरा बढ़ गया है। खासकर जहां पर बाढ़ का पानी लौटने के बाद गंदगी और जलभराव की समस्या बनी हुई है। इन एरिया में एहतियात नही बरती गई तो मच्छर जनित रोगों से प्रभावितों की संख्या बढ़ सकती है। यही कारण है कि स्वास्थ्य विभाग ने कछार एरिया में ढाई सौ ऐसे घरों को चिंहित किया है जिन पर मच्छरों का प्रकोप हो सकता है। इसलिए इनमें प्रतिदिन फागिंग और एंटी लार्वा स्प्रे कराया जा रहा है। डेंगू की चेन तोड़ने की कवायदमलेरिया विभाग का कहना है कि अगर कछार एरियामें फोकस नही किया गया तो डेंगू और मलेरिया की स्थिति विस्फोटक हो सकती है। क्योंकि एक से दूसरे घर में मरीज सामने आने के बाद बीमारी की चेन बन जाती है और फिर इसे तोड़ना मुश्किल हो जाता है। इसलिए बाढ़ ग्रस्त एरिया के अधिक संवेदनशील मकानों के आसपास रोजाना दवा का छिड़काव कराने से यहां लार्वा को पनपने ही नही दिया जाएगा।
गोविंदपुर और चिल्ला में फोकसवहीं कछार के अलावा गोविंदपुर और चिल्ला एरिया में स्वास्थ्य विभाग अधिक फोकस कर रहा है। जानकारी के गोविंदपुर में अब तक चार डेंगू मरीज मिल चुके हैं जो सबसे ज्यादा है। वहीं चिल्ला में केवल एक मरीज सामने आया है। अब तक जिले में कुल 26 डेंगू के मरीज सामने आए हैं। अगर अभी रोक नही लगाई गई तो सितंबर में कई मामले सामेन आ सकते हैं।
प्राइवेट में करना होगा फोकस एक ओर स्वास्थ्य विभाग महज 26 डेंगू के मामले बता रहा है तो दूसरी ओर प्राइवेट अस्पतालों में प्लेटलेट्स की मांग बढ़ रही है। ऐसे में स्वास्थ्य विभाग को इन अस्पतालों का सर्वे कराना होगा जिससे पता चलेगा कि एक्चुअल स्थिति क्या है। ऐसा तो नही कि अधिकारी नंबर गेम में परेशान रहें और दूसरी ओर मरीजों की संख्या डेंजर लाइन क्रास कर जाए। फ्रिज के पीछे भी एक बार देख लेंडेंगू के कुछ मामलों में कूलर या गमले में ठहरे साफ पानी में लार्वा पाए गए हैं। वही अधिकारियों का कहना है कि लोगों फ्रिज के पीछे भी एक बार चेक कर लेना चाहिए। यहां भी लार्वा पनप सकते हैं। क्योंकि यह पानी लोगों को नजर नही आता है लेकिन साफ होने की वजह से डेंगू का मच्छर यहां पर अपने अंडे दे देता है।
हमारी टीमें शहर के कछार एरिया में अधिक फोकस कर रही हैं। इसके अलावा गोविंदपुर और चिल्ला में भी दवा का छिड़ुकाव और सर्वे कराया गया। चिल्ला में अधिकतर वायरल फीवर के मरीज मिले हैं। लोगों को घर में पानी एकत्र नही होने देने के लिए अवेयर किया जा रहा है। डॉ। नानक सरन सीएमओ प्रयागराज