सोशल मीडिया के आधे अधूरे ज्ञान का जवाब हैं पुस्तकें
प्रयागराज ब्यूरो । श्यामा प्रसाद मुखर्जी राजकीय महाविद्यालय के सभागार में पुस्तक प्रदर्शनी का शुभारंभ गुरुवार को हुआ। राजकमल प्रकाशन समूह द्वारा आयोजित प्रदर्शनी शुक्रवार को भी रहेगी। इनॉगरेशन इलाहाबाद यूनिवर्सिटी लाइब्रेरियन डॉ। बीके सिंह ने किया। डॉ। सिंह ने कहा कि छात्रों को प्रामाणिक ज्ञानवद्र्धक पुस्तकों को पढऩे की आदत डालनी चाहिए। यही वह तरीका है जिससे सोशल मीडिया के आधे अधूरे ज्ञान से बचा जा सकता है। उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया का आधा-अधूरा ज्ञान समाज के समक्ष एक प्रमुख चुनौती है। उन्होंने डिजिटल एडीटिंग की जरूरत पर बल दिया।पुस्तकें आज भी सच्ची मित्र
स्पेशल गेस्ट दिव्य प्रकाश ने पुस्तकों के महत्व तथा आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने कहा कि पुस्तकों के प्रति शिक्षित समाज की बढ़ती हुई रुचि इस बात का प्रमाण है कि पुस्तकों के अध्ययन से हमारी चेतना का विकास होता है। अध्यक्षता कर रही प्रभारी प्राचार्या प्रो। शिवा मित्तल ने कहा कि पुस्तकों में निहित ज्ञान के अध्ययन से ही विद्यार्थी अपने ज्ञान का संवर्धन कर सकता है। पुस्तकालय समिति की संयोजक डॉ। दीप्ति कुमार, प्रो। संघसेन सिंह, डॉ। एचसी राय, डॉ। कल्पना गुप्ता, डॉ। कमलेश रानी, डॉ। दीप्ति कुमार, प्रो। वेद प्रकाश, डॉ। दिलीप मौर्या, डॉ। हिमांशु यादव तथा भारी संख्या में प्राध्यापक तथा छात्र-छात्राएँ उपस्थित रहे। संचालन डॉ। विनय सांगुणी तथा अन्त में धन्यवाद ज्ञापन पुस्तकालयाध्यक्ष डॉ। मनीष कुमार यादव द्वारा प्रस्तुत किया गया।