'कम लफ्जों में ज्यादा समझ लो, मैं अभी मरने वाला नहीं हूं', क्या ये धमकी भरा वायरल चैट अतीक का है उठ रहे ये सवाल
प्रयागराज (ब्यूरो)। Atiq Ashraf Murder Case : गैंगस्टर बदर्स अतीक व अशरफ हत्याकांड के बाद से वायरल हो रहे इस स्क्रीन शॉट में आईडी में एमपी लिखा गया है और प्रोफाइल पिक में अतीक की किसी जनसभा को सम्बोधित करते हुए फोटो लगायी गयी है। इस चैट में तीन लोगों का जिक्र खास तौर से किया गया है। चेतावनी दी गयी है कि तीनों को पेट भर मारा जायेगा। इस चैट में कितना दम है? यह चैट वास्तव में अतीक ने ही किया है? इसे किसके नंबर पर भेजा गया? जैसे सवालों को लेकर तरह तरह के कयास लगाये जाने लगे हैं। इस पर पुलिस की तरफ से कोई कमेंट नहीं किया गया है।
सीधे-सीधे धमकी है चैट की भाषा
वायरल हुआ चैट तीन पार्ट में है। दो स्क्रीनशॉट एक दूसरे को सपोर्ट करते हैं लेकिन तीसरे चैट से स्पष्ट नहीं है कि वह सबसे पहला है या फिर सबसे आखिरी। चैट के तीसरे स्क्रीन शॉट से ही शुरुआत होने की संभावना इस आधार पर जतायी जा रही है कि यही पहला है क्योंकि इसकी शुरुआत 'मुस्लिम साहबÓ शब्द से हुई है। इसे सम्बोधन के तौर पर ही माना जा रहा है। इस चैट में लिखा गया है, पूरे इलाहाबाद में बहुतों ने हमसे फायदा उठाया है। लेकिन, सबसे ज्यादा तुम्हारे घर ने उठाया। आज ,बीप, बीप,(गालियां) हमारे खिलाफ एफआईआर लिखा रहे हैं। पुलिस की शह पर काम कर रहे हैं। पुलिस ने शक देना बंद कर, यहीं इस स्क्रीन शाट का अंत हो गया है। इसके बाद क्या लिखा है? यह पहेली है।आखिरी बार समझा रहा हूं,
एक अन्य स्क्रीन शॉट में लिखा गया है कि,आपको आखिरी बार समझा रहा हूं। बहुत जल्दी सारे हालात बदल रहे हैं। मैने सब्र कर लिया है। मेरा कोई लड़का न डॉक्टर बनेगा न वकील बनेगा। सिर्फ हिसाब होना है। ईंशाअल्लाह बहुत जल्द हिसाब शुरू कर दूंगा। जहां तक आपका घर है कोई जान मारने लायक नहीं है। लेकिन मैं एक वादा कर रहा हूं आपसे, 'अच्छे, मुस्लिम और मुस्लिम का ससुर', ये तीन लोग पेट भर मार खायेंगे। मैं आपको आखिरी बार कह रहा हूं। आप मेरे बेटे से ईडी ईडी कर रहे हैं। ईडी ने अभी आपका पैसा सीज तो किया नहीं है। बेहतर ये है कि हमारे बेटे उमर का जो हिसाब है और असद ने जो पैसा दिया है वो हमें इलेक्शन में जरूरत है। हमारी आपसे कोई दुश्मनी तो नहीं। आपके घर ने अपनी किस्मत और अक्ल से कमाया। लेकिन, हमारा जो पैसा है उसको तुरंत दे दें तो वो इस वक्त हमारे बहुत काम आयेगा और शायद आपकी तरफ से हमारा ध्यान हट जाए। कम लफ्जों में ज्यादा समझ लो, मैं अभी मरने वाला नहीं हूं। ईंशाअल्लाह एक्सरसाइज करता हूं। दौड़ता हूं। बेहतर है हमसे आकर मिल लो। मैसेज के अंत में लिखा है अतीक अहमद, साबरमती जेल अहमदाबाद।शाइस्ता के चुनाव की तैयारी कर रहा था!
यह चैट 23 जनवरी का होना बताया जा रहा है। इस वक्त अतीक अहमद गुजरात की साबरमती जेल में बंद था। उस वक्त परिस्थितियां आम तौर पर सामान्य थीं। उमेश पाल अपहरण कांड में गवाही चल रही थी। चैट में इलेक्शन शब्द का इस्तेमाल किया गया है। यह संकेत देता है कि वह शायद अपनी पत्नी शाइस्ता के मेयर का चुनाव लडऩे के लिए पैसा जुटाने के लिए ऐसा कर रहा हो। यह फैक्ट इस चैट को थोड़ा मजबूत बनाता है। कारण है कि अतीक अहमद की पत्नी अब 50 हजार की इनामी शाइस्ता परवीन ने पहले एआईएमआईएम और बाद में बहुजन समाज पार्टी के टिकट पर मेयर का चुनाव लडऩे का ऐलान किया था। इस चैट के आसपास के दिन में ही अतीक की पत्नी और बेटे सामने आये थे। प्रेस कांफ्रेंस करके उन्होंने तमाम बातें भी रखीं थी। बाद में बहुजन समाज पार्टी ने शाइस्ता को मेयर पद का अधिकृत प्रत्याशी भी घोषित कर दिया था। यानी यहां तक तो कनेक्शन बनता है कि चैट करने वाला अतीक ही हो सकता है।,तो जेल से की गई है चैटिंग
यह चैट कितना सही है? इसकी जांच भी निश्चित तौर पर शासन से गठित एसआईटी और लोकल लेवल पर गठित एसआईटी करेगी। लेकिन, इससे बड़ा सवाल यह भी निकलकर आता है कि क्या अहमदाबाद जेल की हाई सिक्योरिटी बैरक में उसे फुल इंटरनेट सुविधा के साथ मोबाइल इस्तेमाल करने की छूट मिली हुई थी। जेल प्रशासन को सेट करके वह यह काम कर रहा था या फिर इस दिन कोई ऐसा उससे मिलने गया था जिसने अपने ह्वाट्सएप पर एमपी के नाम से एकाउंट बना रखा था। या फिर इस एकाउंट का आपरेट करने वाला कोई और ही था। उसने अतीक के कहने पर ऐसा मैसेज किसी को सेंड किया। यह चैट 23 जनवरी का है तो धमकी पाने वाला खुद सामने क्यों नहीं आया? यह भी बड़ा सवाल है। इन सवालों के जवाब कम से कम मैसेज रिसीव करने वाले की तरफ से तो नहीं मिलना है। क्योंकि, ऐसा कुछ होता तो कहीं न कहीं इसके आधार पर रिपोर्ट दर्ज करा दी गयी होती। इसका खुलासा अब एसआईटी को ही करना है।चैट से उठ रहे तमाम सवालअच्छे, मुस्लिम और उसका ससुर है कौन?उसने अतीक के बेटों उमर और असद से पैसा कब और क्यों लिया था?कितना पैसा लिया था? वह लौटाने में अनाकानी क्यों कर रहा था?कौन था जिसे ईडी का छापा पडऩे और पैसा जब्त कर लिये जाने की चिंता सता रही थी