प्रतापपुर विधानसभा की विधायक विजमा यादव के बेटे को जान से मारने की धमकी दी गई है. रजिस्टर्ड डाक से उनके घर धमकी भरा लेटर पहुंचा तो परिवार खौफजदा हो गया. विधायक में भी अशोभनीय शब्दों के प्रयोग किए गए हैं. धमकी भरा पत्र घर पहुंचने पर पूरा परिवार सहम गया. बगैर देर किए विधायक द्वारा मामले की तहरीर कैंट थाने में दी गई. उनकी तहरीर पर पुलिस ने अज्ञात के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है. पुलिस द्वारा प्रकरण की जांच शुरू कर दी गई है. विधायक विजमा यादव के पति स्व. जवाहर यादव की वर्ष 1996 में गोली मार कर हत्या कर दी गई थी. मामले के आरोपितों को कोर्ट द्वारा आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई है.


प्रयागराज (ब्‍यूरो)। विधायक विजमा यादव कैंट थाना क्षेत्र के अशोक नगर में रहती हैं। यहां उनका निजी आवास है। पुलिस को दी गई तहरीर में विधायक ने बताया है कि 13 अगस्त 1996 में उनके पति जवाहर यादव की हत्या कर दी गई थी। यह घटना शहर के सबसे पॉश एरिया सिविल लाइंस में हुई थी। पति की हत्या के अभियुक्तों को कोर्ट द्वारा आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। अभियुक्त नैनी सेंट्रल जेल में सजा भुगत रहे हैं। उन्होंने कहा है कि 19 जुलाई 2022 को उनके अशोक नगर स्थित आवास पर एक रजिस्टर्ड डाक से लेटर पहुंचा। लेटर को रिसीव कर देखा गया तो पूरा परिवार सहम गया। घर भेजा गया वह पत्र धमकियों से भरा हुआ है। उसमें विधायक विजमा यादव पर अशोभनीय शब्दों का प्रयोग किया गया है। इतना ही नहीं उन पर पुलिस अधिकारियों से झगड़ा करने के भी आरोप लगाए गए हैं। जिसे उन्होंने दी गई तहरीर में झूठा आरोप बताया गया है। कहा है कि पुलिस अफसरों को पति स्व। जवाहर यादव की हत्या से पूर्व भी धमकी के सम्बंध में प्रार्थना पत्र दिए गए थे। कोई कार्रवाई नहीं होने से उनके पति की हत्या हो गई थी। कहा है कि लेटर में उनके पति की हत्या में दण्डित अभियुक्तगणों के नैनी जेल में रहते बेटे की हत्या कराने की धमकी दी गई थी। उन्होंने पुलिस को बताया कि घर भेजे गए धमकी भरे लेटर में नैनी जेल में अधीक्षक द्वारा अनुचित लाभ लिए अभियुक्त के पक्ष में मेडिकल रिपोर्ट लगाने का जिक्र है। विधायक विजमा यादव द्वारा दी गई इस तहरीर को पुलिस अफसरों द्वारा गंभीरता से लिया गया। तत्काल कैंट थाने में लेटर भेजने वाले अज्ञात व्यक्ति के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर पुलिस जांच में जुट गई है।

विधायक द्वारा दी गई तहरीर पर कैंट थाने में मुकदमा दर्ज किया गया है। गंभीरता पूर्वक जांच की जा रही है। रजिस्टर्ड डाक से लेटर उनके घर किसने भेजा यह पता लगाया जा रहा है।अभिषेक भारती, सीओ सिविल लाइंस

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