साइबर क्रिमिनल्स घूम रहे बेशुमार, रहें सावधान कहीं आप न हो जाएं शिकार
गैजेट्स के बारे में जानें भी
डॉ। भीमराव अंबेडकर यूनिवर्सिटी के खंदारी कैंपस के असिस्टेंट प्रो। राज कुमार यादव ने कहा कि मोबाइल में कई तरह के फंक्शन होते हैं। लेकिन हमें जानकारी सिर्फ 15-20 फंक्शन की होती है। जो साइबर शातिर होते हैं, वह इसी का फायदा उठाते हैं। उन्होंने बच्चों से कहा कि गैजेट्स का इस्तेमाल करने से पहले उसके बारे में जानें भी। उसके फंक्शन के बारे में पता करें। अगर इंटरनेट का इस्तेमाल कर रहे हैं, तो बहुत सावधान रहने की आवश्यकता है। इंटरनेट पर किसी भी अंजान मैसेज का रिप्लाई देने से बचें। कोई भी लुभावना ऑफर इंटरनेट पर आ रहा है तो सतर्क हो जाएं, हो सकता है ये साइबर शातिर ने आपको फंसाने के लिए भेजा हो। अगर कोई अंजान ई-मेल आ रहा है तो उसको इग्नोर करें। इंटरनेट की दुनिया में फें्र ड बनाते समय विशेष एहतियात बरतें। वर्कशॉप के दौरान प्रिंसिपल सुमन लता यादव, वाइस प्रिंसिपल देवोशी रूद्रा, हिमांशु शर्मा, भारतेंद्र राजपूत, अनंत मिश्रा, आभा यादव आदि मौजूद रहीं।
1. ई-मेल, सोशल मीडिया अकाउंट या अन्य किसी भी तरह की वेबसाइट पर आपका अकाउंट है तो उसे यूज करने के बाद साइन आउट जरूर करें। अक्सर अकाउंट यूज करने के बाद गैजेट्स पर लॉग आउट या साइन आउट नहीं किया जाता है.
2. किसी से भी अपने क्रेडेन्शियल डॉक्यूमेंट या इंफॉर्मेशन शेयर न करें। जैसे आधार, पैन कार्ड, फिंगर प्रिंट, सोशल मीडिया और ई-मेल अकाउंट का पासवर्ड आदि। साइबर शातिरों के हाथों ये डिटेल लगने से इनका दुरुपयोग हो सकता है. 3. अंजाने ई-मेल और सोशल मीडिया पर अंजाने मैसेज से विशेष सतर्क रहें। इन मैसेज पर क्लिक करने या रिप्लाई करने से आपका अकाउंट हैक हो सकता है। इंटरनेट दुनिया में अंजान लोगों से चैटिंग करने के दौरान अपने से जुड़ी जानकारी देने से बचें। हैकर आपके गैजेट्स और आपसे जुड़ी जानकारियों का दुरुपयोग कर सकता है. 4. आपको ये जानकारी होनी चाहिए कि वायरस और एंटी वायरस क्या होता है। कोई एक्सटरनल डिवाइस अपने गैजेट्स में यूज कर करने जा रहे हैं तो उसे पहले एंटी वायरस से स्कैन कर लें। इसके लिए जरूरी है कि आपके सिस्टम एंटी वायरस सॉफ्टवेयर इंस्टॉल हो। स्कैन के जरिए पता लगाया जा सकेगा कि कहीं डिवाइस में कोई ऐसा डाटा तो नहीं है जो गैजेट्स को नुकसान पहुंचाए। अगर किसी तरह का वायरस डिटेक्ट भी होता है तो एंटी वायरस उसको रिजॉल्व कर देता है.5. मौजूदा समय में बड़े से लेकर बच्चे तक सोशल मीडिया का इस्तेमाल कर रहे हैं। साइबर क्राइम भी सोशल मीडिया पर अधिक हो रहे हैं। यहां साइबर शातिर अपने जाल में फंसा मेंटल टॉर्चर करने के साथ सोशल मीडिया यूजर को धमकी देते हैं। उससे रुपयों की मांग करते हैं.
6. इंटरनेट वल्र्ड पर किसी भी तरह के साइबर क्राइम के खिलाफ चुप नहीं बैठें। इसकी शिकायत तत्काल प्रभाव से पुलिस से करें। पुलिस विभाग में साइबर क्राइम की पड़ताल करने के लिए एक अलग से विंग है। यहां हेल्पलाइन नंबर 1930 पर भी शिकायत की जा सकती है.------------------ आज हर कोई इंटरनेट वल्र्ड पर है। बच्चे सोशल मीडिया यूज कर रहे हैं। लेकिन वह इसका सेफ यूज करने के प्रति अवेयर नहीं है। इसके चलते कई बार साइबर शातिरों का शिकार हो जाते हैं। ऐसे में किसी भी तरह की कोई भी अप्रिय घटना होने पर तत्काल पुलिस में शिकायत करें। जिससे साइबर क्राइम करने वालों पर शिकंजा कसा जा सके।
प्रो। राज कुमार यादव, असिस्टेंट प्रोफेसर, डॉ। भीमराव अंबेडकर यूनिवर्सिटी खंदारी कैंपस
आजकल बच्चे इंटरनेट का इस्तेमाल तो कर रहे हैं, लेकिन वह साइबर की दुनिया और इससे जुड़े क्राइम को लेकर अवेयर नहीं है। इसके चलते कई बार साइबर क्राइम की घटनाएं सामने आती हैं, जिसमें बच्चों को शिकार बनाया जाता है। इस तरह की वर्कशॉप से बच्चों को इंटरनेट का इस्तेमाल करने के साथ साइबर क्राइम से बचाव की भी जानकारी मिलती है। दैनिक जागरण आईनेक्स्ट की ये बहुत ही अच्छी पहल है।
डॉ। सुमन लता यादव, प्रिंसिपल, आरएस पब्लिक स्कूल
अधिकतर बच्चे मोबाइल का यूज कर रहे हैं, लेकिन वह इसके दुष्प्रभाव से वाकिफ नहीं है। वर्कशॉप में बच्चों को इंटरनेट का सही तरीके से यूज करने के बारे में जानकारी मिली।
हिमांशु शर्मा इंटरनेट वल्र्ड की चुनौतियों और उसके समाधान से बच्चे रूबरू हुए। एक्सपर्ट की ओर से बच्चों को साइबर क्राइम से बचाव के बारे में अच्छे से बताया गया।
आभा यादव
हम मोबाइल का यूज करते हैं। लेकिन ये जानकारी नहीं थी कि साइबर शातिर हमें इस तरह भी धोखा कर सकते हैं। कई अहम जानकारियां मिलीं।
तेजिका सोशल मीडिया का इस्तेमाल इस तरह खतरनाक भी हो सकता है, ये नहीं पता था। अब इंटरनेट और सोशल मीडिया का इस्तेमाल करते समय विशेष एहतियात बरतेंगे।
शानु शर्मा किसी भी गैजेट्स पर अपने किसी भी अकाउंट के लॉगिन के साथ उसको प्रॉपर लॉगआउट भी करेंगे। जिससे साइबर शातिर से बचा जा सके।
प्रगति
ऑनलाइन गेम्स बच्चों को किस तरह नुकसान पहुंचाते हैं। इसके बारे में एक्सपट्र्स की ओर से जानकारी दी गई। पहली बार पता लगा कि साइबर शातिर ऑनलाइन गेम्स के जरिए भी शिकार बना सकते हैं।
कृष्णा
गोपाल