शहर की सड़कों पर दौड़ रहीं जेनर्म की ऐसी बसें जो अपना टाइम पूरा कर चुकीं हैं. उनको हटाया जाएगा. इनके स्थान पर इलेक्ट्रिक बसों को संचालन किया जाएगा. मौजूदा समय में जेनर्म की 73 बसें हैं. इनमें से 45 का संचालन किया जा रहा है. इनमें से 13 बसें अपना समय पूरा कर चूुकी हैं. इनको हटाया जाएगा. बता दें कि शहर में खटारा बसों के संचालन से कई घटनाएं हो चुकी हैं. अभी पिछले दिनों एक बस में धुंआ निकलने से आग लग गई थी. इससे पैसेंजर्स में अफरा-तफरी मच गई थी.

आगरा। आगरा फोर्ट डिपो के इंचार्ज आरके सिंह ने बताया कि जिन बसों की समय सीमा समाप्त हो जाती है। उनको नीलाम कर दिया जाता है। इसमें जो बड़ी बसें हैं। उनकी समय सीमा 5 लाख किमी। होती है। छोटी बसों की 3.50 लाख किमी होती है। इसके बाद ऐसी बसों को नीलाम कर दिया जाता है। उनकी फिटनेस और बीमा को रिन्यू करना बंद कर दिया जाता है। अभी 13 बसें जल्द ही अपनी समय सीमा पूरा करने जा रहीं हैं। इनको हटाया जाएगा।

अभी 18 रुटों पर हैं 32 बसें
अभी शहर में 18 रुटों पर 32 बसें संचालित की जा रहीं हैं। इनकी संख्या को जल्दी ही बढ़ाया जाएगा। वैसे आगरा को 100 में से 60 बसें प्राप्त हो चुकी हैं। इस बारे में डिपो इंचार्ज ने बताया कि इनकी संख्या को बढ़ाया जाएगा। एक दो दिन में इनकी संख्या बढ़ा दी जाएगी। नारायच में चार्जिंग स्टेशन तैयार हो चुका है। कुल 25 चार्जिंग प्वाइंट बनाए गए हैं। अभी फिलहाल 11 प्वाइंट तैयार किए जा चुके हैं। इसमें तीन को संचालित किया जा रहा है। डिपो इंचार्ज आरके सिंह ने बताया कि लाइट का कनेक्शन हो चुका है। अन्य को जल्द ही शुरु कर दिया जाएगा। इलेक्ट्रिक बस को चार्जिंग होने में 45 मिनट का समय लगता है। एक बार चार्ज होने पर 120 किमी। तक बस को संचालित किया जा सकता है।

विभिन्न डिपो में इन बसों को किया गया है चिन्हित

डिपो 10 वर्ष से अधिक वर्ष पुरानी 8 वर्षं से अधिक कुल बस
फोर्ट डिपो 18 बस
6 24 बसें
ईदगाह डिपो 44 बस 35 बस 79 बसें
फॉउन्ड्री नगर डिपो 23 बस 15 बस 38 बस
मथुरा डिपो 35 बस 17 52 बस
ताज डिपो 17 बस 25 42 बस
बाह डिपो 10 बस 13 बस 23 बस


इलेक्ट्रिक बस आने के बाद भी खटारा बसों में सफर करना पड़ रहा है। इन बसों में खतरे के साए में रहकर सफर करना पड़ता है। जल्द ही इलेक्ट्रिक बसों को सभी रुटों पर शुरु कर देना चाहिए।
अरविंद सिंह


इलेक्ट्रिक बस आने के बाद महीनों गुजर गए लेकिन अभी तक चार्जिंग स्टेशन तैयार नहीं हो सके हैं। 28 इलेक्ट्रिक बसें डिपो में खड़ी-खड़ी धूल फांक रही हैं। पैसेंजर्स खटारा बसों में जान जोखिम में डालकर सफर करने को मजबूर हैं।
हरमिन्दर सिंह

Posted By: Inextlive