त्रेतायुग में रावण वध के बाद भगवान राम के लौटने पर अयोध्यावासियों ने सरयू नदी के तट पर दीप जलाए थे वहीं आगरा नगर निगम ने पहली बार उसी परंपरा को जीवंत करते हुए मंगलवार शाम साढ़े पांच बजे यमुना किनारा आरती स्थल पर 21 हजार दीप जलाकर यमुना दिवाली महोत्सव का आगाज किया. कार्यक्रम का शुभारंभ मेयर हेमलता दिवाकर कुशवाह और नगर आयुक्त अंकित खंडेलवाल ने दीप प्रज्ज्वलन और यमुना मैया की आरती उतार कर किया. सैकड़ों लोग यमुना के पावन जल में झिलमिलाती दीपों की आभा के साक्षी बने. मंगलवार से शुरू हुआ आयोजन 31 अक्टूबर तक चलेगा.

आगरा। (ब्यूरो) त्रेतायुग में रावण वध के बाद भगवान राम के लौटने पर अयोध्यावासियों ने सरयू नदी के तट पर दीप जलाए थे, वहीं आगरा नगर निगम ने पहली बार उसी परंपरा को जीवंत करते हुए मंगलवार शाम साढ़े पांच बजे यमुना किनारा आरती स्थल पर 21 हजार दीप जलाकर यमुना दिवाली महोत्सव का आगाज किया। कार्यक्रम का शुभारंभ मेयर हेमलता दिवाकर कुशवाह और नगर आयुक्त अंकित खंडेलवाल ने दीप प्रज्ज्वलन और यमुना मैया की आरती उतार कर किया। सैकड़ों लोग यमुना के पावन जल में झिलमिलाती दीपों की आभा के साक्षी बने। मंगलवार से शुरू हुआ आयोजन 31 अक्टूबर तक चलेगा।

गंदगी रूपी बुराई को मिटाना है
इस अवसर पर मेयर ने कहा कि दीपावली का त्योहार प्रकाश का त्योहार है। यह बुराई पर अच्छाई की जीत का प्रतीक है। इसी तरह हमें अपने शहर से गंदगी रूपी बुराई का सफाया कर स्वच्छता रूपी अच्छाई को विजयी बनाना है। दीपोत्सव के इस अवसर पर हम सभी शपथ लें कि अपने आसपास गंदगी को जमा नहीं होने देंगे। स्वच्छता ही सेवा के नारे को विजयी बनाएंगे। मेयर ने कहा कि यमुना जीवनदायिनी है। हमें इसे स्वच्छ बनाए रखना है। नगर निगम द्वारा यमुना किनारे दिवाली महोत्सव इसीलिए मनाया जा रहा है कि हम सभी यमुना किनारे आएं और यमुना को स्वच्छ रखने में अपना सहयोग करें। मेयर ने कहा कि दिवाली की शॉपिंग के दौरान पॉलिथीन का उपयोग न करें, अपने घरों से कपड़े के थैले लेकर बाजार जाएं। सिंगल यूज प्लास्टिक को न कहें, यह पर्यावरण को दूषित करती है। मेयर ने दीपोत्सव के दौरान सभी शहरवासियों को नगर निगम की ओर से दीपावली की शुभकामनाएं दीं। स्वस्थ और सुरक्षित दीपावली मनाने का संदेश दिया।

बच्चों के लिए फुल एंटरटेनमेंट
नगरायुक्त अंकित खंडेलवाल ने बताया कि आयेाजन का उद्देश्य शहरवासियों को यमुना नदी से जोडऩा और अतीत की मेला तमाशे की परंपराओं को पुनर्जीवित करना है। आयोजन स्थल पर विभिन्न प्रकार के बच्चों के झूले और मनोरंजन के साधनों के अलावा खान पान की स्टॉलों पर उपलब्ध व्यंजनों का भी लुत्फ लिया जा सकता है। उन्होंने शहरवासियों से अपील करते हुए कहा कि आयोजन में भाग लेकर वे नगर निगम द्वारा शुरु की जा रही अनूठी परंपरा को आगे बढ़ाने में सहयोग दें। कार्यक्रम के दौरान जन प्रतिनिधियों के अलावा विभिन्न वार्डों के पार्षद, राजनीतिक दलों के पदाधिकारी और नगर की सहयोगी संस्थाओं के स्वयंसेवक और नगर निगम के अधिकारी व कर्मचारी भी उपस्थित रहे।

Posted By: Inextlive