उद्धव ठाकरे: एक फोटोग्राफर से महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री तक का सफर
मुंबई (पीटीआई)। शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे ने गुरुवार को मुंबई के शिवाजी पार्क में महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री पद की शपथ ले ली है। इसी तरह वह महाराष्ट्र के 18वें सीएम बन गए हैं। शिवसेना के अध्यक्ष उद्धव बालासाहेब ठाकरे ने अपने जीवन की सबसे बड़ी परीक्षा का सामना किया है, जो एक वैचारिक रूप से विवादास्पद गठबंधन के नेता के रूप में है। उन्होंने राज्य में महत्वपूर्ण राजनीतिक परिवर्तनों के समय मुख्यमंत्री का कार्यभार संभाला है। बता दें कि राजनीती में आने से पहले उद्धव एक प्रोफेशनल फोटोग्राफर रह चुके हैं। उद्धव ठाकरे अपने परिवार से मुख्यमंत्री बनने वाले पहले सदस्य हैं और मनोहर जोशी व नारायण राणे के बाद शिवसेना की तरफ से महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री बनने वाले तीसरे नेता हैं। 59 वर्षीय ठाकरे एक मिलनसार और मृदुभाषी राजनीतिज्ञ माने जाते हैं।
27 जुलाई, 1960 को मुंबई में जन्मे उद्धव ठाकरे ने बालमोहन विद्यामंदिर में पढ़ाई की और बाद में जेजे स्कूल ऑफ आर्ट्स से स्नातक की पढ़ाई की, जहां फोटोग्राफी उनका मुख्य विषय था। वह एक लेखक होने के अलावा प्रोफेशनल फोटोग्राफर भी हैं, जिनका काम विभिन्न पत्रिकाओं में दिखाई देता है और कई प्रदर्शनियों में दिखाया जाता है। जनवरी 2003 में शिवसेना के अध्यक्ष नियुक्त किए जाने से पहले ठाकरे ज्यादातर अपने दिग्गज पिता बालासाहेब ठाकरे की छाया में रहे। बताया जाता है कि फोटोग्राफी के शौकीन उद्धव ने 'चौरंग' नाम की एक एडवरटाइजिंग एजेंसी की भी शुरुआत की थी। ठाकरे हवाई और वन्यजीव फोटोग्राफी में माहिर हैं। महाराष्ट्र के 18वें मुख्यमंत्री बने उद्धव ठाकरे, शिवाजी पार्क में ली शपथकिसानों को दान कर दिए 10 लाख रुपयेउद्धव के नाम पर दो फोटो बुक्स प्रकाशित हुई हैं, जिनमें राज्य के किलों पर 'महाराष्ट्र देश' (2010) और पंढरपुर वारी (पांडवपुर के मंदिर शहर के लिए तीर्थयात्रा पर) 'पहवा विठ्ठल' (2011) शामिल हैं। 'महाराष्ट्र देश' लुभावने हवाई दृश्यों से भरा हुआ है, जो महाराष्ट्र के सांस्कृतिक कपड़े, भौतिक सौंदर्य और ऐतिहासिक परिप्रेक्ष्य का एक झलक पेश करता है। कुछ साल पहले, उन्होंने अपनी तस्वीरों की एक प्रदर्शनी का आयोजन किया और उनकी बिक्री से एकत्र 10 लाख रुपये किसानों को दान कर दिए।