बर्लुस्कोनी इटली की संसद से निलंबित
20 वर्षों तक इटली की राजनीति पर दबदबा रखने वाले बर्लुस्कोनी पर अब गिरफ़्तारी का ख़तरा मँडरा रहा है.क्योंकि संसद से निलंबित होने के बाद मुक़दमा चलाए जाने से ख़िलाफ़ उन्हें जो संरक्षण मिला हुआ था, वो नहीं मिल पाएगा.दूसरी ओर बर्लुस्कोनी ने कहा कि ये लोकतंत्र के लिए 'शोक का दिन' है.वादासीनेट में मतदान से पहले उन्होंने राजनीति में बने रहने का वादा किया था और कहा था कि वे इटली की भलाई के नाम पर संघर्ष करने के लिए अपनी पार्टी फ़ोर्ज़ा इटालिया का नेतृत्व करते रहेंगे.रोम में अपने निवास के बाहर समर्थकों को संबोधित करते हुए बर्लुस्कोनी ने कहा, "कोई भी राजनेता को इस तरह का मुक़दमा नहीं झेलना पड़ा है, जैसा मैंने झेला है."77 वर्षीय पूर्व प्रधानमंत्री ने कहा कि वे संसद के बाहर अपना संघर्ष जारी रखेंगे.
बर्लुस्कोनी के मुद्दे पर सीनेट में हुई बहस काफ़ी गरमा-गरम रही और एक बार तो दो विपक्षी सदस्य धक्का-मुक्की पर उतर आए.इस मतदान के साथ ही उस प्रक्रिया का अंत हो गया है, जो ये तय करती है कि बर्लुस्कोनी अब छह साल तक किसी चुनाव में हिस्सा नहीं ले पाएँगे.
रोम से बीबीसी संवाददाता एलेन जॉन्स्टन का कहना है कि बहुत ही शर्मनाक परिस्थितियों में बर्लुस्कोनी को संसद से हटना पड़ा है. दरअसल उन्हें ये कह दिया गया है दोषी करार दिए गए अपराधी की तरह अब वे सार्वजनिक पद के लिए उपयुक्त नहीं हैं.सज़ासीनेट में बर्लुस्कोनी समर्थकों की कई चुनौतियों को ख़ारिज कर दिया गया. उसके बाद सीनेट के स्पीकर ने तीन बार देश के प्रधानमंत्री रह चुके बर्लुस्कोनी को अयोग्य घोषित कर दिया.स्पीकर पिएट्रो ग्रासो ने कहा, "चुनाव की समिति का निष्कर्ष मंज़ूर कर लिया गया है और सीनेटर सिल्वियो बर्लुस्कोनी के चुनाव को ख़ारिज किया जाता है."बर्लुस्कोनी को अक्तूबर 2012 में कर घोटाले के लिए दोषी ठहराया गया था. मामला उनकी कंपनी मीडियासेट की ओर से अमरीकी फिल्म के टीवी राइट्स ख़रीदने का था.इस फ़ैसले को इस साल अगस्त में बरकरार रखा गया.अपने उम्र के कारण अब बर्लुस्कोनी को एक साल की सज़ा काटनी पड़ सकती है. संभवत: उन्हें घर में ही नज़रबंद रखा जा सकता है या फिर सामुदायिक सेवा में लगाया जा सकता है.