तो क्या अब पाकिस्तान की संसद में बैठेगा आतंकी हाफिज सईद?
Agency: पिछले कई महीनों से पाकिस्तान में नजरबंद आतंकवादी हाफिज सईद ने अब खुद को सियासतदां के रूप में देखना चाहता है। उसकी हसरत पाक में हुकूमत स्थापित करने की हो उठी है और इसके लिए उसने बकायदा एक पार्टी का भी गठन कर लिया है। हाफिज सईद ने नए नाम से पार्टी का पंजीकरण करवाने के लिए चुनाव आयोग में अर्जी दी है। पंजीकरण करवाने के बाद चुनाव लडऩे की योजना बना रहा है। ये बात न केवल हैरान करने वाली है बल्कि काफी चिंतित करने वाली भी है। एक्सपट्र्स ने भी इस बात को लेकर कहा है कि अगर पाकिस्तानी चुनाव आयोग हाफिज के दावे को सीरियसली लेता है और उसकी पार्टी को पंजीकृत कर देता है तो इसके न केवल इंडिया बल्कि पाकिस्तान को भी बेहद कड़े परिणाम भुगतने होंगे क्योंकि एक आतंकी को इस प्रकार खुले तौर पर राजनीनिक समर्थन देकर पाकिस्तान पूरी तरह आतंकी राष्ट्र बनने की कगार पर आ जाएगा।
क्या है सईद का मौजूदा कदम?
हाफिज सईद ने अपने संगठन जमात-उद-दावा की ओर से पाकिस्तान चुनाव आयोग में मिल्ली मुस्लिम लीग के नाम से राजनीति पार्टी को मान्यता देने के लिए अर्जी दी है। पाकिस्तान में बदलते राजनीतिक हालातों के बीच नवाज शरीफ को पनामा केस के कारण अपनी कुर्सी गंवानी पड़ गई है और हाफिज सईद जानता है कि उसके लिए यह राजनीति में कदम में रखने का सबसे बेहतर मौका है। अगर चुनाव आयोग से हरी झंडी मिल जाती है तो फिर ये आतंक का आका पाकिस्तान की राजनीति में अपने पैर जमाने की कोशिश करेगा।
इस कदम के हैं क्या मायने?
हाफिज सईद को पाकिस्तान में इंडिया की खिलाफत करने, अमेरिका से बगावत करने, कश्मीर को इंडिया से आजाद करने और इस्लामिक कïट्टरपंथ को बढ़ावा देने की सबसे बुलंद आवाजों के तौर पर जाना जाता है। पाक में फलाह-ए-इंसानियत और जमात-उद-दावा संगठन की आड़ में वह लश्कर-ए-तैयबा को संचालित करता था। बकरीद पर कुर्बान होने वाले बकरों और जानवरों की खालों को लोगों से दान में लेकर और उसे बेचकर पिछले साल उसने लाखों डॉलर की फंड्स इकट्ठा की जिसे उसने इंडिया में दहशतगर्दी में लगाया। अमेरिका की सख्ती के बाद वह लगातार नजरबंद है मगर उसके षडय़ंत्र थमने का नाम नहीं ले रहे। अभी हालांकि उसने अपना एजेंडा डिक्लेयर नहीं किया है मगर साफ है कि वह पाकिस्तानी सियायत में अपनी पकड़ मजबूत करने की हसरत पाले हुए है। अब तक वह केवल पाक के विशेष तबके और कुछ हिस्सों तक ही खुद के प्रभाव को सीमित रखे हुए था मगर अब सियासत के जरिए वह पूरे पाकिस्तान पर अपनी नजर गड़ा चुका है।
पाक भी मानता है उसे खतरनाक
पाकिस्तान ने नजरबंदी की कार्रवाई अमेरिका की उस चेतावनी के बाद की गई है जिसमें अमेरिका ने कहा था कि अगर जमात-उद-दावा के खिलाफ कार्रवाई नहीं की गई तो वह पाकिस्तान पर प्रतिबंध लगा सकता है और इंडिया इसके खिलाफ लगातार कार्रवाई की मांग कर रहा है। इस बीच, कोर्ट में जब हाफिज सईद ने खुद की बेल के लिए अप्लाई किया तक पाक सरकार ने भी कोर्ट में यही दलील दी थी कि सईद की हरकतें पाकिस्तान के लिए खतरनाक हैं।