सुषमा स्वराज ने नर्स रखने की बजाय 1 साल तक अस्पताल में खुद की थी सास की सेवा, जलाई थी ससुर की चिता
कानपुर। देश की पूर्व विदेश मंत्री सुषमा स्वराज कार्डिएक अरेस्ट की वजह से 67 की उम्र में इस दुनिया को अलविदा कह गई हैं। सुषमा स्वराज जिस तरह राजनीति और देश हित में कुछ भी करने को तैयार रहती थीं उसी तरह वह अपनी निजी जिंदगी में भी अपनी जिम्मेदारियों को समझती थी।
स्वराज काैशल ने बताया था कि 1993 में मेरी मां की कैंसर से मृत्यु हो गई थी। उस समय सुषमा सांसद और पूर्व शिक्षा मंत्री थीं लेकिन सुषमा ने मेरी मां की देखरेख के लिए मेडिकल अटेडेंट रखने से मना कर दिया। सुषमा करीब एक साल तक अस्पताल में रहीं और मेरी मां की अच्छे से सेवा की थी।
सुषमा स्वराज 1952-2019 : सुप्रीम कोर्ट के वकील से भारत के विदेश मंत्री तक का सफरसुषमा ने जब ससुर की चिता को दी आग स्वराज काैशल ने यह भी बताया था कि सुषमा स्वराज मेरे पिता की भी काफी लाडली थीं। मेरे पिता जी उन पर गर्व करते थे। सुषमा ने मेरे पिता की हर इच्छा का सम्मान व ख्याल रखा था। मेरे पिता की इच्छा के अनुसार सुषमा ने मेरे पिता की चिता जलाई थी। हम भी सुषमा को बहुत प्यार करते हैं।इनपुट पीटीआई Sushma Swaraj Passes Away: दिल्ली की पहली महिला सीएम के निधन पर दो दिन का राजकीय शोक, अंतिम दर्शन के लिए पहुंचे राजनेता