'स्त्री' हॉरर कॉमेडी मूवी रिव्यू: ये तो निकली सुपर स्त्री
कहानी :
चंदेरी के एक खंडर में है एक औरत का भूत जो मेल चोवनिस्ट मर्दों को...
समीक्षा :
भाई राज और DK अगर इतनी बढ़िया राइटिंग आप करने में सक्षम हैं तो काश आप जेंटलमैन में भी इस्तेमाल कर लेते तो मैं तभी आपका फैन हो जाता। फिल्म बहुत ही बढ़िया लिखी है। यही कारन है कि स्त्री फिल्म आपको एनग्रोस करके रखती है। कॉमिक और हॉरर सीन के बीच के ट्रांजीशन भी काफी अच्छे लिखे हैं। डायलॉग भी क्रिस्प हैं। फिल्म निर्देशन के लिहाज से भी बहुत कलीन डिरेक्टेड है। फिल्म की सिनेमाटोग्राफी और एडिटिंग भी अच्छी है। अगर टॉपिक के हिसाब से भी देखा जाए तो ये सही मायनों में एक बेहतरीन फेमिनिस्ट फिल्म है। बहुत सारे छोटे बड़े समाजिक मुद्दों के बारे में बात की गई है और यही इस फिल्म के फेमिनिस्ट होने का सबूत है कि इसे मर्द और औरत दोनों ही, एक नजर और नजरिये से देखा जा सकता है। यह मूवी एक सत्य घटना पर आधारित बताई जा रही है उससे इंट्रस्ट और भी बिल्ड अप हो जाता है।
अदाकारी :
राजकुमार राव, भाई तुम दिल खुश कर देते हो जब इस फ्लेवर के रोल्स में नजर आते हो। राजकुमार इस फिल्म के मेन अट्रैक्शन हैं। श्रद्धा कपूर जिहोने हमें हसीना पारकर में हमें डराया था वो इस फिल्म में बढ़िया काम करती दिखाई दी हैं। थोड़ा एक्सेंट पे और ...खैर जाने दीजिए। जब दिल खुश है तो क्यों ज्यादा मीन मेख निकाला जाए।