इस जुलाई के महीने में देश भर में 6 अरब से ज्यादा ऑनलाइन ट्रांजेक्शन हुए है। इस मौके पर प्रधानमंत्री मोदी ने देश के नागरिकों की तारीफ की। बता दें कि 2016 के बाद यह ट्रांजेक्शन की संख्या सबसे अधिक है।


नई दिल्ली (एएनआई)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जुलाई में 6 बिलियन यूपीआई लेनदेन की उपलब्धि की सराहना की और मंगलवार को केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के एक ट्वीट के जवाब में प्रधान मंत्री ने कहा कि यह एक बड़ी उपलब्धि है। यह नई तकनीकों को अपनाने और अर्थव्यवस्था को बढ़ाने के लिए भारत के लोगों के सामूहिक संकल्प को इंगित करता है। डिजिटल भुगतान कोविड-19 महामारी के दौरान विशेष रूप से सहायक था। प्लेटफॉर्म का संचालन करने वाले नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (एनपीसीआई) द्वारा जारी आंकड़ों के मुताबिक, यूपीआई ने 6.28 अरब लेनदेन की राशि 10.62 लाख करोड़ रुपये बताई। महीने-दर-महीने लेनदेन की मात्रा 7.16 प्रतिशत और मूल्य में 4.76 प्रतिशत की वृद्धि हुई। साल-दर-साल लेनदेन की मात्रा लगभग दोगुनी हो गई, जबकि लेनदेन का मूल्य 75 प्रतिशत बढ़ा।डिजिटल भुगतान में हो रही वृद्धी
मार्च 2022 में इलेक्ट्रॉनिक्स और आईटी मंत्रालय ने सूचित किया कि वित्तीय क्षेत्र और अर्थव्यवस्था को डिजिटल बनाने की भारत सरकार की रणनीति के एक हिस्से के रूप में पिछले कुछ वर्षों में डिजिटल भुगतान लेनदेन में लगातार वृद्धि हो रही है। पिछले चार वर्षों में डिजिटल भुगतान लेनदेन वित्त वर्ष 2018-19 में 3,134 करोड़ रुपये से बढ़कर वित्त वर्ष 2020-21 में 5,554 करोड़ रुपये हो गया है। वित्तीय वर्ष 2021-22 के दौरान 28 फरवरी, 2022 तक कुल 7422 करोड़ डिजिटल लेनदेन दर्ज किए गए।भीम यूपीआई रहा पंसदीदा मोडभारत इंटरफेस फॉर मनी-यूनिफाइड पेमेंट्स इंटरफेस (BHIM-UPI) नागरिकों के पसंदीदा भुगतान मोड के रूप में उभरा है। भीम यूपीआई ने 28 फरवरी 2022 तक 8.27 लाख करोड़ रुपये के मूल्य के साथ 452.75 करोड़ डिजिटल भुगतान लेनदेन का रिकॉर्ड हासिल किया है। इसके अलावा आरबीआई ने डिजिटल भुगतान बहु-कारक प्रमाणीकरण के माध्यम से सक्षम हैं। मल्टी फैक्टर आथंटीफिकेशन का मुख्य उद्देश्य भुगतान डेटा की गोपनीयता की रक्षा करना और साथ ही आरई पर लक्षित विभिन्न साइबर-हमला तंत्र, जैसे फिशिंग, कीलॉगिंग, स्पाइवेयर / मैलवेयर और अन्य इंटरनेट-आधारित धोखाधड़ी का मुकाबला करके डिजिटल भुगतान में विश्वास बढ़ाना है। इसके साथ ही ग्राहकों और व्यक्तियों की साइबर वित्तीय धोखाधड़ी से संबंधित शिकायतों को समयबद्ध तरीके से दूर करने के लिए सरकार और आरबीआई द्वारा एक मजबूत शिकायत निवारण तंत्र स्थापित किया गया है।

Posted By: Kanpur Desk