भारतीय मूल के ऋषि सुनक ब्रिटेन के नए प्रधानमंत्री चुने गए हैं। सुनक को भारत के अलावा अन्य देशों से भी बधाई मिल हैं। वहीं इस अवसर पर ब्रिटेन के किंग चार्ल्स ने प्रधानमंत्री ऋषि सुनक को दिवाली की मिठाई भेंट की है।


लंदन (एएनआई)। भारतीय मूल के ऋषि सुनक ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बने हैं। ऋषि सुनक को कंजरवेटिव पार्टी के नेता के रूप में चुन लिया गया है। वहीं इस दाैरान ब्रिटेन के किंग चार्ल्स ने सद्भावना भाव में ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक को दिवाली की मिठाई भेंट की है। द रॉयल फैमिली चैनल ने अपने ट्विटर अकाउंट पर लिखा, दोनों की मुलाकात महल के आलीशान 1844 रूम में हुई थी और एक मेज पर दीवाली की मिठाइयां थीं। सुनक के सत्ता में आने के बाद भारतीय काफी खुश है और गर्व महसूस कर रहे हैं। भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी उन्हें यूके के भारतीयों के जीवित पुल के रूप में विशेष दिवाली की शुभकामनाएं दीं। इसके साथ ही कहा कि अब हम 2030 के रोडमैप पर मिलकर काम करेंग।

ब्रिटेन के प्रधानमंत्री सुनक भारतीय मूल के
ऋषि सुनक भारतीय मूल के हैं। उनके माता-पिता 1960 के दशक में पूर्वी अफ्रीका से यूके आए थे। उनके पिता एक स्थानीय डॉक्टर थे, जबकि उनकी मां दक्षिणी इंग्लैंड में एक फार्मेसी चलाती थीं। इसी वजह से ऋषि सुनक में जनता की सेवा करने की इच्छा हुई। वह ब्रिटिश प्रधानमंत्री बनने वाले पहले हिंदू भी होंगे। सुनक ने 2020 में इतिहास रचा था जब उन्होंने यूके के चांसलर के आधिकारिक आवास 11 डाउनिंग स्ट्रीट के बाहर दिवाली की मोमबत्तियां जलाई थीं। विशिष्ट विनचेस्टर कॉलेज, ऑक्सफोर्ड और स्टैनफोर्ड विश्वविद्यालयों में अध्ययन करने के बाद, उन्हें काफी चुनौतियों का सामना करना पड़ा है। उन्होंने गोल्डमैन सैक्स सहित बैंकों और हेज फंड के लिए काम किया है।2015 में सांसद के रूप में चुने गए थे सुनकवह पहली बार 2015 में एक सांसद के रूप में चुने गए थे और थेरेसा मे की सरकार में एक कनिष्ठ मंत्री बनने से पहले दो साल बैक बेंच पर बिताए थे। जॉनसन ने सुनक को उनकी पहली प्रमुख सरकारी भूमिका दी। उन्हें 2019 में ट्रेजरी के मुख्य सचिव के रूप में नियुक्त किया और उन्हें 2020 में चांसलर के रूप में पदोन्नत किया। वह पहले व्यक्ति थे जिन्होंने ट्रस के तहत वित्तीय समस्याओं की भविष्यवाणी की थी। पिछली नेतृत्व की दौड़ के दौरान वह पूर्व पीएम के साथ भिड़ गए, उन्होंने दावा किया कि मुद्रास्फीति संकट के दौरान पैसे उधार लेने की उनकी योजना एक "स्टोरी" थी जो अर्थव्यवस्था को अराजकता में डाल देगी।

Posted By: Shweta Mishra