अब पैडलर नहीं कारोबारी की भूमिका में हैं महिलाएं. महिलाओं ने तैयार कर रखा है खुद का गैंग. बीते चार साल में दर्जनों महिलाएं हो चुकी हैं गिरफ्तार. निपटने के लिए महिला कांस्टेबल की ट्रेनिंग शुरू हुई.


रांची(ब्यूरो)। सिटी में में ड्रग्स के कारोबार में अब महिलाएं भी सक्रिय रूप से शामिल हो रही हैं, पहले सिर्फ ड्रग्स कुरियर के तौर पर इस्तेमाल होने वाली महिलाओं ने अब बेहद संगठित तरीके से ड्रग्स के कारोबार को चलाना भी शुरू कर दिया है। ड्रग्स के धंधे में महिलाओं की पहचान कर पाना पुलिस के लिए बेहद मुश्किल भरा काम होता है। पुलिस की इसी मुश्किल को महिला ड्रग्स पैडलर्स ने अपना हथियार बना लिया है। रांची के ड्रग्स कारोबार में महिलाओं के शामिल होने का इतिहास ज्यादा पुराना नहीं है। तीन साल पहले 2021 में एक्टर और मॉडल रही ज्योति भाराद्वाज से शुरू हुआ यह सिलसिला लगातार आगे बढ़ते रहा है। ज्योति के बाद उर्मिला, अनु, सुनीता, रिजवाना, शांति दर्जनों महिलाओं के नाम सामने आ चुके हैं। इसी महीने पुलिस ने चार और महिला ड्रग पैडलर्स को भी गिरफ्तार किया है।
भाभी से लेकर डियर गैंग तक एक्टिव


राजधानी में महिलाएं अब अलग-अलग नाम से खुद का गैंग चला रही हैं। ज्योति गैंग, भाभी गैंग, डियर गैंग्स, मुंबई माल, दिल्ली एक्सप्रेस जैसे गैंग्स बनाकर ये महिलाएं ड्रग्स का कारोबार कर रही हैं। सुखदेव नगर इलाके की रहने वाली मॉडल ज्योति लोगों को अभी याद है, ज्योति मुंबई मॉडलिंग के लिए पहुंची थी, लेकिन वहां से वह ड्रग्स पैडलर बनकर रांची लौटी। रांची में ड्रग्स बेचते हुई गिरफ्तार हुई, फिर जेल से छूटी, फिर गिरफ्तार हुई, लेकिन ज्योति ने ड्रग्स का धंधा नहीं छोड़ा। अब राजधानी की हालत यह है कि यहां दर्जनों की संख्या में ज्योति जैसी महिलाएं और लड़कियां खुद ही ड्रग्स का कारोबार करने लगी हैं। ड्रग्स का कारोबार महिलाओं के लिए बेहद आसान है, क्योंकि ड्रग्स से जुड़ी कानूनी अड़चनों की वजह से पुलिस की निगाह महिला तस्करों तक नही पहुंच पाती हैं। महिलाओं पर नहीं होता शक

कोकीन, ब्राउन शुगर, गांजा, ब्लैक स्टोन और स्मैक जैसे ड्रग्स पाउडर फॉर्म में मिलते हैं। बाजार में ड्रग्स पैडलर इन्हें छोटी-छोटी पुडिय़ा बना कर बेचते हैं। महिला ड्रग्स पैडलर्स को इन छोटी-छोटी पुडिय़ा को छिपाने में बेहद आसानी होती है। महिला ड्रग्स पैडलर्स एक बार में 50 से ज्यादा पुडिय़ा अपने शरीर में आसानी से छिपा लेती हैं, जिसके बाद वह स्कूटी या फिर कई मौकों पर पैदल ही जा कर डिलीवरी कर आती हैं और पुलिस को कोई भनक तक नहीं लगती। रांची के सीनियर एसपी चंदन कुमार सिन्हा के अनुसार, इसी साल एक दर्जन के करीब महिला तस्करों को गिरफ्तार कर जेल भेजा गया है। बुधवार को रांची पुलिस द्वारा पहली बार चार महिला ड्रग्स पैडलर्स को गिरफ्तार किया गया, जो बेहद संगठित तरीके से ब्राउन शुगर की बिक्री कर रही थीं।पुलिस की सख्ती के बाद महिलाओं को कमानभाभी गैंग की चार महिला पैडलर्स को रांची पुलिस ने बीते हफ्ते ही अरेस्ट किया है। इनके साथ दो पुरुष पैडलर भी हिरासत में लिए गए हैं। पूछताछ में भाभी गैंग की महिला तस्करों ने पुलिस के सामने कई चौंकाने वाले खुलासे किए हैं। महिला ड्रग्स पैडलर के अनुसार पहले वो ड्रग्स कुरियर के तौर पर काम किया करती थी, लेकिन इसी बीच पुलिस की ताबड़तोड़ छापेमारी की वजह से गिरोह के अधिकतर सदस्य सलाखों के पीछे पहुंच गए, जिसके बाद महिलाओं ने ही गैंग की कमान संभाल ली और खुद से ही दिल्ली और मुंबई जैसे शहरों से ड्रग्स मंगवाकर उसे पुडिय़ा बना कर बेचने लगीं।पुलिस रेस, महिला कांस्टेबल हो रहीं ट्रेंड
ड्रग्स के धंधे में महिलाओं की एंट्री के बाद अब रांची पुलिस भी रेस हो गई है। इसके लिए विभाग की ओर से महिला कांस्टेबल को ट्रेंड किया जा रहा है। एसएसपी ने बताया कि महिला कारोबारियों पर नकेल कसना जरूरी है। इसे देखते हुए ही महिला कांस्टेबल को तैयार किया जा रहा है। अब चाहे इस गिरोह में महिला हो या पुरुष हर कोई सलाखों के पीछे पहुंचेगा। महिला तस्करों से निपटने के लिए महिला कांस्टेबल की टीम को तैयार की जा रही है जो सभी संदिग्ध महिलाओं पर नजर रखेगी, और उनकी तलाशी लेगी। जो महिला ड्रग्स पैडलर्स होंगी उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई भी की जाएगी।

हाल के कुछ वर्षों में ड्रग्स कारोबार में महिलाओं का इंटरेस्ट बढ़ा है। इनसे निपटने के लिए पुलिस भी तैयारी कर रही है। ड्रग्स कारोबार में शामिल महिला हो या पुरुष सभी की जगह सलाखों के अंदर है। -चंदन सिन्हा, एसएसपी, रांची

Posted By: Inextlive