बारिश ने सड़क को बना दिया तालाब. नगर निगम की तैयारी की खुली पोल. कीचड़ गंदगी और बदबू से नारकीय हुुआ जनजीवन. सफाई अभियान 3.0 चला रहा था नगर निगम.


रांची (ब्यूरो)। मानसून की पहली बारिश ने एक बार फिर रांची नगर निगम के सभी दावों और कार्यों की पोल खोलकर रख दी है। महज आधे घंटे की बारिश ने सड़क को तालाब बना दिया। राजधानी का यह नजारा नगर निगम के कार्य को दर्शाता है। बार-बार आगाह करने के बाद भी नगर निगम कान में तेल डाले सोया रहा है। सफाई के नाम पर निगम के अधिकारियों ने कई बार मीटिंग की। लेकिन बंद कमरे में हुई इस मीटिंग के सभी निर्णय भी कमरे में रह गए। सफाई के नाम पर सिर्फ खानापूर्ति की गई। मंगलवार को हुई आधे घंटे की बारिश ने रातू रोड, सेवा सदन रोड, अपर बाजार, डोरंडा, चुटिया समेत अन्य इलाकों की तस्वीर बदल दी। नगर निगम ने मानसून से पहले सफाई अभियान चलाया था। सभी वार्ड के नालों की सफाई के लिए अभियान 3.0 की शुरुआत की गई थी। लेकिन इसका फायदा कुछ नहीं दिखा। अभी मानसून की शुरुआत है। अब हर दिन लोगों को जलजमाव, कीचड़ और गंदगी से दो-चार होने की आदत डालनी पडेगी। सड़क पर बह रहा गंदा पानी


राजधानी के नालों की स्थिति इतनी ज्यादा खराब है कि नाले का गंदा पानी नाले में न बहकर सड़क पर बह रहा है। इसकी वजह है नाले की नियमित सफाई ना होना। सिटी के सभी 53 वार्डों में सालों भर यह शिकायत आती रहती है कि क्षेत्र में नाले की सफाई नहीं हो रही है। नाला जाम हो चुका है। लेकिन नगर निगम के अधिकारी कर्मचारी बेपरवाह बने रहते हैं, जिसका खामियाजा हर बार बारिश में आम जनता को भुगतना पड़ता है। कुछ देर की बारिश से सड़कें जलमग्न हो जाती हैं। नालियों का गंदा पानी सड़क पर बहने लगता है। कई इलाकों में तो नाली का पानी घर और दुकान में भी घुसने लगता है। अपर बाजार के कई लोगों ने बताया कि आधे घंटे की बारिश में ही घर और दुकानों में गंदा पानी घुसने लगा। जब पूरे दिन बारिश होगी, तो हालत क्या होगी, यह सोचकर ही चिंता बढ़ जाती है। नारकीय हालत

बारिश थमने के बाद राजधानी की हालत नारकीय हो जाती है। हर तरफ गंदगी, बदबू और कचरे का अंबार लग जाता है। दुकान और मकान के बाहर भी गंदगी जमा हो जाती है। पैदल चलने वाले लोगों को काफी मुसीबतें होती हैं। अपर बाजार इलाके की स्थिति सबसे ज्यादा दयनीय हो जाती है। गंदगी और बदबू के कारण यहां चलना भी मुश्किल होता है। इस बारिश में भी यहां ऐसा ही नजारा दिखा। इसके अलावा मेन रोड, कचहरी, ओल्ड एचबी रोड, लालपुर, कोकर, डिप्टी पाड़ा समेत कई जगहों पर सड़क पर जलजमाव की स्थिति देखी गई। एक फीट तक पानी सड़क पर जमा हो गया। इससे निकलने में कई घंटे का वक्त लग गया। हरमू रोड में शनि मंदिर के पास से मुक्तिधाम तक सड़क के एक भाग में नालियों का गंदा पानी काफी देर तक बहता रहा। इससे जाम की स्थिति उत्पन्न हो गई।स्टेशन के पास भी नरक

किसी भी शहर का रेलवे स्टेशन या बस स्टैंड वहां की पहचान होते हैं। बाहर से आने वाले यात्रियों को सबसे पहले यही स्थान प्रभावित करती है। लेकिन राजधानी रांची के रेलवे स्टेशन के आस-पास की स्थिति इतनी ज्यादा खराब है कि यहां से यात्रियों को नाक पर रूमाल रखकर गुजरना पड़ता है। बड़े-बड़े नालों को खोदकर ऐसे ही छोड़ दिया गया है। बारिश के बाद यहां चलने लायक जगह नहीं थी। जलजमाव के कारण लोगों को गड्ढे का भी अंदाजा नहीं लगता, जिससे कई लोग यहां गिर भी चुके हैं। रेलवे स्टेशन के अलावा सरकारी बस स्टैंड, कांटाटोली और आईटीआई बस स्टैंड की भी स्थिति सही नहीं है। नालों की सफाई नहीं होने और कचरे का उठाव नहीं होने की वजह से यहां अक्सर गंदगी का आलम रहता है। यदि नगर निगम ने व्यवस्था दुरुस्त नहीं की तो हर बारिश में लोगों को परेशानी झेलनी पड़ेगी। बेतरतीब नालियां बढ़ा रही हैं परेशानी शहर में बनी नालियां कहीं ऊंची तो कहीं नीची हैं। इससे पानी का बहाव सही तरीके से नहीं हो पाता है। हल्की बारिश में भी पानी सड़क पर जमा हो जाता है। करोड़ों रुपए खर्च कर नाली का निर्माण किया गया है। रही सही कसर नाले की जाम वाली स्थिति पूरी कर देती है। हर महीने नगर निगम नाले की सफाई के लिए लाखों रुपए खर्च करता है। इस बार भी मानसून से पहले नालों की सफाई में करीब 800 सफाई कर्मी लगाने का दावा किया गया था। लेकिन बारिश शुरू होते ही निगम के हर दावों की पोल खोल देता है।

Posted By: Inextlive